विविध
सितंबर 2024
- 16 Oct 2024
- 20 min read
PRS के प्रमुख हाइलाइट्स:
- राजनीति और शासन
- चाइल्ड पोर्नोग्राफी को ब्राउज करना या संग्रहीत करना अपराध
- बॉम्बे हाईकोर्ट द्वारा IT नियम 2023 को रद्द
- 23वाँ विधि आयोग गठित
- आयुष्मान भारत का विस्तार
- विपणन प्रथाओं के लिये समान संहिता जारी
- नाबालिगों के लिये पेंशन योजना
- आदिवासी विकास योजना
- अर्थव्यवस्था
- सेबी ने बोर्ड बैठक में विभिन्न निर्णयों को मंज़ूरी दी
- पीएम ई-ड्राइव योजना
- प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना-IV के कार्यान्वयन को मंज़ूरी
- उर्वरकों पर पोषक तत्त्व आधारित सब्सिडी दरों को मंज़ूरी
- कीमतों में अस्थिरता को रोकने के लिये योजनाओं को जारी रखने को मंज़ूरी
- पर्यावरण
- मिशन मौसम को मंज़ूरी
- बायो-राइड योजना
राजनीति और शासन
चाइल्ड पोर्नोग्राफी को ब्राउज करना या संग्रहीत करना अपराध
- यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (POCSO) अधिनियम, 2012 निम्नलिखित शर्तों के तहत अश्लील सामग्री के भंडारण या कब्जे को अपराध मानता है:
- साझा करने या प्रेषित करने के इरादे से।
- प्रदर्शित करने के लिये (जब तक कि रिपोर्टिंग के उद्देश्य से न हो)।
- वाणिज्यिक प्रयोजनों के लिये।
- सर्वोच्च न्यायालय ने मद्रास उच्च न्यायालय के उस फैसले को खारिज कर दिया जिसमें कहा गया था कि केवल कब्जा करना अपराध नहीं है, क्योंकि इसमें साझा करने का कोई इरादा नहीं होता है।
- इसमें कहा गया है कि साझा करने से पहले कब्ज़ा करना पहला कदम है। इसे मिटाने या रिपोर्ट न करने से इरादे का संकेत मिलता है।
- न्यायालय ने संसद और केंद्र सरकार को कुछ सुझाव भी दिये। इनमें शामिल हैं:
- पोक्सो अधिनियम, 2012 में 'चाइल्ड पोर्नोग्राफी' शब्द के स्थान पर 'बाल यौन शोषण एवं दुर्व्यवहार सामग्री' शब्द प्रतिस्थापित किया गया ।
- स्वास्थ्य और यौन शिक्षा के लिये एक व्यापक कार्यक्रम तैयार करने हेतु एक समिति का गठन करना ।
- पोक्सो अधिनियम, 2012 के अंतर्गत शिकायत दर्ज करने के लिये एक ऑनलाइन पोर्टल बनाना।
बॉम्बे हाईकोर्ट द्वारा IT नियम 2023 को रद्द
- बॉम्बे उच्च न्यायालय ने सूचना प्रौद्योगिकी (मध्यवर्ती दिशा-निर्देश और डिजिटल मीडिया आचार संहिता) नियम, 2021 में 2023 के संशोधन को रद्द कर दिया।
- न्यायालय ने माना कि संशोधित नियम संविधान के अनुच्छेद 19 के तहत भाषण और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता के अधिकार का उल्लंघन करते हैं ।
- इस अधिकार पर लगाया गया कोई भी प्रतिबंध उचित होना चाहिये तथा संविधान के तहत प्रदत्त प्रतिबंधों के अनुरूप होना चाहिये।
- न्यायालय ने आगे कहा कि चूंकि फैक्ट चेक यूनिट (Fact Check Unit- FCU) की नियुक्ति कार्यपालिका द्वारा की जाएगी, इसलिये केंद्र सरकार यह तय करने में अंतिम रूप से सक्षम होगी कि क्या झूठा या भ्रामक है, जो कि प्राकृतिक न्याय के सिद्धांत का उल्लंघन है।
- इसके अतिरिक्त, न्यायालय ने पाया कि 'झूठी या भ्रामक' शब्द अस्पष्ट और अतिव्यापक है, क्योंकि ऐसी वस्तुओं की पहचान करने के लिये कोई दिशा-निर्देश नहीं हैं।
- न्यायालय ने यह भी कहा कि यह संशोधन सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 के दायरे से बाहर है और इसलिये यह इस अधिनियम के नियमों का हिस्सा नहीं हो सकता।
23वाँ विधि आयोग गठित
- विधि एवं न्याय मंत्रालय ने भारत के 23वें विधि आयोग का गठन किया।
- 23वें विधि आयोग का कार्यकाल 1 सितंबर, 2024 से 31 अगस्त, 2027 तक रहेगा।
- हालाँकि अध्यक्ष और सदस्यों की नियुक्ति अभी तक नहीं की गई है।
आयुष्मान भारत का विस्तार
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (Ayushman Bharat Pradhan Mantri Jan Arogya Yojana- AB PMJAY)) का विस्तार 70 वर्ष और उससे अधिक आयु के सभी नागरिकों तक करने को मंज़ूरी दे दी है ।
- इस योजना के अंतर्गत पहले से ही कवर किये गये वरिष्ठ नागरिकों को व्यक्तिगत रूप से स्वास्थ्य बीमा के रूप में अतिरिक्त पाँच लाख रुपए मिलेंगे।
- योजना के विस्तार से 4.5 करोड़ परिवारों (छह करोड़ वरिष्ठ नागरिक) को बीमा कवरेज मिलेगा ।
- इसमें वे वरिष्ठ नागरिक भी शामिल होंगे जो पहले से ही अन्य सार्वजनिक एवं निजी बीमा योजनाओं का लाभ उठा रहे हैं।
विपणन प्रथाओं के लिये समान संहिता जारी
- फार्मास्यूटिकल्स विभाग ने चिकित्सा उपकरणों में विपणन प्रथाओं के लिये समान संहिता, 2024 जारी की ।
- यह संहिता देश में चिकित्सा उपकरणों की ब्रांडिंग और प्रचार को नियंत्रित करती है।
प्रमुख विशेषताएँ:
- दावे: चिकित्सा उपकरण कंपनियों द्वारा चिकित्सा उपकरण की उपयोगिता के संबंध में किये गए दावे नवीनतम साक्ष्य पर आधारित होने चाहिये।
- प्रचार: किसी भी प्रचार सामग्री में निम्नलिखित विवरण शामिल होने चाहिये:
- चिकित्सा उपकरण का जेनेरिक/ब्रांड नाम।
- निर्माता/आयातकर्त्ता का नाम/पता तथा विपणक का व्यवसायिक नाम/पता।
- आचार समिति: सभी भारतीय चिकित्सा उपकरण संघों में चिकित्सा उपकरणों में विपणन प्रथाओं के लिये एक आचार समिति की स्थापना की जानी चाहिये ।
- यह संहिता के अनुपालन से संबंधित शिकायतों का समाधान करेगी। समिति को शिकायत प्राप्त होने के 90 दिनों के भीतर आदेश पारित करना चाहिये।
- समिति के निर्णय के विरुद्ध 15 दिनों के भीतर औषधि विभाग के सचिव की अध्यक्षता वाली शीर्ष समिति के समक्ष अपील की जा सकती है।
नाबालिगों के लिये पेंशन योजना
- वित्त मंत्रालय ने नाबालिगों के लिये राष्ट्रीय पेंशन प्रणाली (National Pension System- NPS) वात्सल्य योजना की घोषणा की।
प्रमुख विशेषताएँ:
- इसका विनियमन एवं प्रशासन भारतीय पेंशन निधि विनियामक प्राधिकरण (Pension Fund Regulatory Authority of India- PFRDA) द्वारा किया जाएगा।
- 18 वर्ष तक की आयु के सभी नाबालिग नागरिक खाता खोल सकते हैं।
- खाता खोलने के लिये न्यूनतम 1,000 रुपये का योगदान आवश्यक होगा।
- इसके बाद खाते में न्यूनतम 1,000 रुपये प्रति वर्ष का अंशदान जमा किया जा सकेगा।
- यह खाता नाबालिग के नाम पर खोला जाएगा तथा वयस्क होने तक उसका प्रबंधन उसके अभिभावक द्वारा किया जाएगा।
- 18 वर्ष की आयु पूरी होने पर NPS वात्सल्य खाता NPS के अंतर्गत नियमित खाते में परिवर्तित हो जाएगा।
आदिवासी विकास योजना
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने प्रधानमंत्री जनजातीय उन्नत ग्राम अभियान को मंज़ूरी दे दी।
- इस कार्यक्रम का उद्देश्य सामाजिक बुनियादी ढाँचे, स्वास्थ्य, शिक्षा और आजीविका जैसे प्रमुख क्षेत्रों में अंतराल को दूर करके आदिवासी समुदायों का उत्थान करना है ।
- इसमें 25 हस्तक्षेप शामिल हैं जिन्हें संबंधित क्षेत्रों को नियंत्रित करने वाले मंत्रालयों द्वारा कार्यान्वित किया जाएगा।
- यह कार्यक्रम लगभग 63,000 गाँवों को कवर करेगा और इसका लक्ष्य लगभग पाँच करोड़ आदिवासी लोगों को लाभान्वित करना है।
- लक्ष्य हैं:
- सक्षम बुनियादी ढाँचे का निर्माण।
- कौशल विकास और स्वरोज़गार को बढ़ावा देना।
- गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और किफायती स्वास्थ्य सेवा तक पहुँच में सुधार।
- कार्यक्रम के अंतर्गत कुछ पहलों में 1000 जनजातीय गृह प्रवास, 22 लाख वन अधिकार धारकों के लिये स्थायी आजीविका, जनजातीय और सरकारी आवासीय विद्यालयों में बुनियादी ढाँचे में सुधार, सिकलसेल रोग का किफायती प्रबंधन तथा जनजातीय उत्पादों को बढ़ावा देने के लिये 100 बहुउद्देशीय विपणन केंद्र शामिल हैं।
अर्थव्यवस्था
सेबी ने बोर्ड बैठक में विभिन्न निर्णयों को मंज़ूरी दी
- भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (Securities and Exchange Board of India- SEBI) ने अपनी बैठक में विभिन्न निर्णयों को मंज़ूरी दी।
- सेम-डे सेटलमेंट: सेबी ने प्रतिभूतियों के लिये वैकल्पिक उसी दिन निपटान चक्र का दायरा बढ़ा दिया है। सेम-डे सेटलमेंट मौजूदा अगले दिन (T+1) निपटान चक्र के साथ-साथ मौजूद रहेगा।
- नए म्यूचुअल फंड उत्पाद को मंज़ूरी: इसका उद्देश्य पोर्टफोलियो निर्माण में अधिक लचीलापन प्रदान करके म्यूचुअल फंड और पोर्टफोलियो प्रबंधन सेवाओं के बीच की खाई को पाटना है ।
- इसमें किसी एक परिसंपत्ति प्रबंधन कंपनी द्वारा प्रस्तुत उत्पादों में प्रति निवेशक न्यूनतम निवेश सीमा 10 लाख रुपए होगी।
- निष्क्रिय म्यूचुअल फंड के लिये नियामक ढाँचा: सेबी ने निष्क्रिय रूप से प्रबंधित म्यूचुअल फंड के लिये एक नए नियामक ढाँचे को भी मंज़ूरी दी।
- सतत् वित्त के लिये निधि: सेबी ने उन साधनों के दायरे का विस्तार करने का निर्णय लिया है जिनका उपयोग कॉर्पोरेट द्वारा सतत् वित्त के लिये निधि जुटाने के लिये किया जा सकता है।
- यह सामाजिक बॉण्ड, स्थिरता बॉण्ड और स्थिरता-जुड़े बॉण्ड जारी करने के लिये रूपरेखा निर्दिष्ट करेगा ।
पीएम ई-ड्राइव योजना
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने देश में इलेक्ट्रिक मोबिलिटी को बढ़ावा देने के लिये 'पीएम इलेक्ट्रिक ड्राइव रिवोल्यूशन इन इनोवेटिव व्हीकल एन्हांसमेंट' योजना (‘PM Electric Drive Revolution in Innovative Vehicle Enhancement’ scheme- PM E-DRIVE) को मंज़ूरी दी।
प्रमुख विशेषताएँ:
- ई-वाउचर: उपभोक्ताओं को इलेक्ट्रिक वाहन खरीदते समय ई-वाउचर प्रदान किए जाएंगे।
- इन वाउचर का उपयोग डीलरशिप से वाहन की खरीद मूल्य पर सब्सिडी प्राप्त करने के लिये किया जा सकता है।
- इलेक्ट्रिक एम्बुलेंस, ट्रक और बसों के लिये आवंटन: इलेक्ट्रिक एम्बुलेंस और ट्रकों की तैनाती के लिये योजना के तहत धन आवंटित किया गया है ।
- उन राज्यों को प्राथमिकता दी जाएगी जो अधिकृत स्क्रैपिंग केंद्रों पर मौजूदा बसों को स्क्रैप करने के बाद इलेक्ट्रिक बसें खरीदेंगे।
- सार्वजनिक चार्जिंग स्टेशनों की स्थापना: उच्च EV उपयोग वाले शहरों में सार्वजनिक चार्जिंग स्टेशन स्थापित किए जाएंगे।
- परीक्षण एजेंसियों का उन्नयन: भारी उद्योग मंत्रालय के अंतर्गत इलेक्ट्रिक वाहन परीक्षण एजेंसियों का इस योजना के तहत आधुनिकीकरण किया जाएगा।
प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना-IV के कार्यान्वयन को मंज़ूरी
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 2024-25 और 2028-29 के बीच प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना-IV (Pradhan Mantri Gram Sadak Yojana IV- PMGSY IV) के कार्यान्वयन को मंज़ूरी दी।
- इस चरण के अंतर्गत 62,500 किलोमीटर बारहमासी सड़कों के निर्माण के लिये वित्तीय सहायता प्रदान की जाएगी, जो 25,000 असंबद्ध बस्तियों को जोड़ेगी।
- इसमें निम्नलिखित से अधिक जनसंख्या वाली बस्तियाँ शामिल होंगी:
- मैदानी क्षेत्रों में 500
- पूर्वोत्तर एवं पहाड़ी राज्यों में 250
- वामपंथी उग्रवाद से प्रभावित ज़िलों में 100
- PMGSY-IV को पाँच वर्षों के लिये कुल 70,125 करोड़ रुपए का परिव्यय प्राप्त होगा, जिसे केंद्र और राज्य 70:30 के अनुपात में वहन करेंगे।
उर्वरकों पर पोषक तत्त्व आधारित सब्सिडी दरों को मंज़ूरी
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने रबी सीजन 2024 (अक्तूबर 2024 से मार्च 2025) के लिये फॉस्फेटिक और पोटासिक उर्वरकों के लिये पोषक तत्त्व आधारित सब्सिडी दरों को मंज़ूरी दी।
- सब्सिडी के लिये बजटीय आवश्यकता लगभग 24,476 करोड़ रुपये होने का अनुमान है।
कीमतों में अस्थिरता को रोकने के लिये योजनाओं को जारी रखने को मंज़ूरी
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने प्रधानमंत्री अन्नदाता आय संरक्षण अभियान (Pradhan Mantri Annadata Aay Sanrakshan Abhiyan- PM-AASHA) के तहत योजनाओं को जारी रखने की मंज़ूरी दे दी।
इन योजनाओं में शामिल हैं:
- मूल्य समर्थन योजना
- मूल्य स्थिरीकरण कोष
- मूल्य न्यूनता भुगतान योजना
- बाज़ार हस्तक्षेप योजना
- इन योजनाओं का उद्देश्य किसानों को लाभकारी मूल्य उपलब्ध कराना तथा उपभोक्ताओं के लिये आवश्यक वस्तुओं की कीमतों में अस्थिरता को नियंत्रित करना है।
- अधिसूचित दलहनों, तिलहनों और खोपरा के लिये मूल्य समर्थन योजना के अंतर्गत, केंद्र ने वर्ष 2024-25 से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर राष्ट्रीय उत्पादन का 25% खरीदने का निर्णय लिया है।
- राज्यों को अधिसूचित तिलहनों के लिये मूल्य घाटा भुगतान योजना को लागू करने के लिये प्रोत्साहित करने के लिये केंद्र ने राज्य तिलहन उत्पादन के 25% से 40% तक योजना का कवरेज बढ़ाकर समर्थन बढ़ा दिया है।
- बाज़ार हस्तक्षेप योजना के अंतर्गत प्याज और टमाटर जैसी शीघ्र खराब होने वाली बागवानी फसलों के लिये समर्थन राशि को उत्पादन के 20% से बढ़ाकर 25% कर दिया गया है।
पर्यावरण
मिशन मौसम को मंज़ूरी
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने देश में मौसम और जलवायु संबंधी अनुसंधान और सेवाओं में सुधार के लिये मिशन मौसम को मंज़ूरी दी।
- इसका उद्देश्य मौसम निगरानी, मॉडलिंग, पूर्वानुमान और प्रबंधन में अनुसंधान और विकास को समर्थन देना है।
- इससे चरम मौसम की घटनाओं और जलवायु परिवर्तन के प्रभाव से निपटने में मदद मिलेगी ।
- यह कार्यक्रम मौसम अनुसंधान और पूर्वानुमान में प्रौद्योगिकियों के उपयोग को सुगम बनाएगा। इनमें निम्नलिखित का उपयोग शामिल होगा:
- कृत्रिम बुद्धिमत्ता और मशीन लर्निंग।
- अगली पीढ़ी के रडार और उपग्रह प्रणालियाँ।
- उच्च प्रदर्शन वाले सुपर कंप्यूटर।
- पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय के अंतर्गत तीन संस्थान इस मिशन के कार्यान्वयन के लिये ज़िम्मेदार होंगे। ये हैं:
- भारतीय मौसम विभाग
- भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान
- राष्ट्रीय मध्यम अवधि मौसम पूर्वानुमान केंद्र
बायो-राइड योजना
- केंद्रीय मंत्रिमंडल ने जैव प्रौद्योगिकी विभाग की दो प्रमुख योजनाओं को एक योजना के रूप में विलय कर जारी रखने को मंज़ूरी दे दी है, जिनका नाम 'जैव प्रौद्योगिकी अनुसंधान नवाचार और उद्यमिता विकास' (Biotechnology Research Innovation and Entrepreneurship Development’- Bio-RIDE) है।
- इस योजना का उद्देश्य निम्नलिखित के माध्यम से जैव-उद्यमिता और उन्नत अनुसंधान को बढ़ावा देना है:
- अनुदान और प्रोत्साहन
- शिक्षा-उद्योग सहयोग
- अतिरिक्त-दीवार वित्तपोषण
- क्षमता निर्माण
- योजना का एक नया घटक बायोमैन्युफैक्चरिंग और बायोफाउंड्री पर भी ध्यान केंद्रित करेगा।
- इस घटक के अंतर्गत स्वदेशी समाधानों को बढ़ावा दिया जाएगा:
- स्वास्थ्य सेवा परिणाम
- कृषि उत्पादकता
- जैव अर्थव्यवस्था की स्थिति
- जैव-ईंधन, फार्मास्यूटिकल्स और जैव-प्लास्टिक जैसे जैव-आधारित उत्पादों का व्यावसायीकरण