PMKSY का वाटरशेड विकास घटक 2.0 | 14 Jan 2025
स्रोत: पी.आई.बी.
चर्चा में क्यों?
ग्रामीण विकास मंत्रालय ने प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना (PMKSY-WDC 2.0) के वाटरशेड विकास घटक 2.0 के अंतर्गत 10 सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाले राज्यों में 56 नई वाटरशेड विकास परियोजनाओं को स्वीकृति दी है।
- इन 10 राज्यों में राजस्थान, मध्य प्रदेश, कर्नाटक, ओडिशा, तमिलनाडु, असम, नागालैंड, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और सिक्किम शामिल हैं, जिनकी लगभग 2.8 लाख हेक्टेयर बंजर भूमि को कवर किया गया है।
नोट: वर्ष 2021-22 में PMKSY-WDC 2.0 के तहत लगभग 50 लाख हेक्टेयर क्षेत्र को कवर करने वाली 1150 परियोजनाओं को मंज़ूरी दी गई।
PMKSY 2.0 का वाटरशेड विकास घटक क्या है?
- PMKSY-WDC 2.0: यह जल और मृदा संसाधनों के संरक्षण के क्रम में PMKSY पहल का एक उप-घटक है।
- पृष्ठभूमि: यह योजना वर्ष 2009-10 में एकीकृत वाटरशेड प्रबंधन कार्यक्रम (IWMP) के रूप में शुरू हुई तथा वर्ष 2015-16 में इसे PMKSY के वाटरशेड विकास घटक (PMKSY-WDC) के साथ विलय कर दिया गया।
- PMKSY-WDC 2.0 को वर्ष 2021-2026 के लिये विस्तारित लक्ष्यों एवं संशोधित दिशानिर्देशों के साथ शुरू किया गया।
- उद्देश्य: एकीकृत वाटरशेड प्रबंधन के माध्यम से वर्षा सिंचित एवं निम्नीकृत भूमि की उत्पादकता बढ़ाना।
- आजीविका तथा जलग्रहण स्थिरता के लिये सामुदायिक संस्थाओं को मज़बूत बनाना।
- पारस्परिक शिक्षा एवं प्रोत्साहन के माध्यम से वाटरशेड परियोजना की दक्षता को बढ़ावा देना।
- लक्ष्य: इस योजना का लक्ष्य वर्ष 2021-2026 के बीच 49.50 लाख हेक्टेयर बंजर भूमि को कवर करना।
- इसमें स्प्रिंगशेड के पुनरुद्धार को एक नवीन गतिविधि के रूप में शामिल करना।
- दृष्टिकोण (अगली पीढ़ी पर ध्यान): मात्रा की अपेक्षा जल उत्पादकता पर बल देना और उन्हें अपनाना।
- फसल विविधीकरण और बागवानी, मत्स्य पालन, मधुमक्खी पालन और पशुपालन जैसी एकीकृत कृषि प्रणालियों को बढ़ावा देना।
PMKSY क्या है?
- जल शक्ति मंत्रालय द्वारा वर्ष 2015-16 में आरंभ की गई PMKSY का उद्देश्य कृषि योग्य जल की पहुँच में सुधार करना, सिंचित क्षेत्रों का विस्तार करना, जल उपयोग दक्षता को बढ़ाना और स्थायी जल संरक्षण को बढ़ावा देना है।
- यह एक केंद्र प्रायोजित योजना है, जिसमें केंद्र-राज्य का भाग 75:25 है तथा पूर्वोत्तर एवं पहाड़ी राज्यों के लिये यह 90:10 है।
- घटक: इसमें दो प्रमुख घटक शामिल हैं, जिनका कार्यान्वयन जल शक्ति मंत्रालय द्वारा किया जा रहा है।
- PMKSY में दो अन्य घटक भी शामिल हैं जिनका कार्यान्वयन अन्य मंत्रालयों द्वारा किया जा रहा है:
- कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय द्वारा पर ड्रॉप मोर क्रॉप (PDMC)
- ग्रामीण विकास मंत्रालय द्वारा PMKSY का वाटरशेड विकास घटक (WDC)।
UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न (PYQ)प्रिलिम्सप्रश्न: मध्यकालीन भारत के आर्थिक इतिहास के संदर्भ में 'अरघट्टा' शब्द का तात्पर्य है (2016) (a) बंधुआ मजदूरी उत्तर: (c) प्रश्न. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिये: (2015) 1- त्वरित सिंचाई लाभ कार्यक्रम 1996-97 में गरीब किसानों को ऋण सहायता उपलब्ध कराने के लिये आरंभ किया गया था। उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं? (a) केवल 1 उत्तर: (b) |