प्रिलिम्स फैक्ट्स (29 Feb, 2024)



बिटकॉइन हाॅल्विंग

स्रोत: द हिंदू

अप्रैल 2024 में, प्रत्याशित बिटकॉइन (BTC) हाॅल्विंग की संभावना है, जिसका क्रिप्टोकरेंसी के बाज़ार मूल्य पर संभावित गहरा प्रभाव पड़ेगा।

बिटकॉइन हाॅल्विंग क्या है?

  • परिचय:
    • बिटकॉइन हाॅल्विंग में बिटकॉइन माइनर्स को दिये जाने वाले इनाम को आधा कर दिया जाता है, जिसका अर्थ है कि लेन-देन को सत्यापित करने के लिये माइनर्स को 50% कम बिटकॉइन प्राप्त होते हैं।
    • जब तक नेटवर्क द्वारा 21 मिलियन बिटकॉइन की अधिकतम आपूर्ति उत्पन्न नहीं हो जाती, तब तक लगभग हर चार वर्ष में प्रत्येक 210,000 ब्लॉकों में एक बार बिटकॉइन हाॅल्विंग होने वाली है।
    • बिटकॉइन हाॅल्विंग व्यापारियों के लिये महत्त्वपूर्ण घटना है क्योंकि वे नेटवर्क द्वारा उत्पन्न होने वाले नए बिटकॉइन की संख्या को कम करते हैं। इससे नए कॉइन की आपूर्ति सीमित हो जाती है, इसलिये यदि मांग तेज़ रही तो कीमतें बढ़ सकती हैं।

  • प्रभाव:
    • बिटकॉइन हाॅल्विंग से नए बिटकॉइन बनने की दर कम हो जाती है, जिससे उपलब्ध आपूर्ति कम हो जाती है। बढ़ती मांग के कारण यह कमी समय के साथ कीमतों को बढ़ा देती है।
    • इसके तुरंत बाद बिटकॉइन माइनिंग कम लाभदायक हो जाता है क्योंकि माइनर्स को लेन-देन को मान्य करने के लिये आधा इनाम मिलता है। इससे खनन उद्योग में एकीकरण हो सकता है और संभावित रूप से कम कुशल माइनर्स को बाहर निकाला जा सकता है

बिटकॉइन क्या है?

  • परिचय:
    • बिटकॉइन एक प्रकार की डिजिटल मुद्रा है जो किसी को भी त्वरित भुगतान करने में सक्षम बनाती है। बिटकॉइन को वर्ष 2009 में पेश किया गया था। बिटकॉइन एक ओपन-सोर्स प्रोटोकॉल पर आधारित है और इसे किसी केंद्रीय प्राधिकरण द्वारा जारी नहीं किया जाता है।
  • पृष्ठभूमि:
    • बिटकॉइन की स्थापना और उत्पत्ति के संबंध में जानकारी स्पष्ट नहीं है। कुछ मतों के अनुसार सातोशी नाकामोतो नामक एक व्यक्ति अथवा लोगों के समूह ने वर्ष 2008 के वित्तीय संकट के बाद एक लेखांकन प्रणाली की संकल्पना की थी।
  • उपयोग:
    • मूल रूप से बिटकॉइन का उद्देश्य वैध/कागज़ी मुद्रा का विकल्प प्रदान करना तथा दो शामिल पक्षों के बीच प्रत्यक्ष विनिमय का एक सार्वभौमिक रूप से स्वीकृत माध्यम बनना था।
  • बिटकॉइन का रिकॉर्ड:
    • अभी तक किये गए लेन-देन/संव्यवहार का संपूर्ण डेटा सार्वजनिक रूप से उपलब्ध चालू/खुले बही-खाते में समाहित हैं किंतु यह डेटा अज्ञात और एन्क्रिप्टेड रूप में उपलब्ध है जिसे ब्लॉकचेन कहा जाता है।
      • किये गए लेन-देन को बिटकॉइन की उप-इकाइयों में दर्शाया जा सकता है।
        • सातोशी बिटकॉइन का सबसे छोटा अंश संदर्भित करता है।
  • ब्लॉकचेन प्रौद्योगिकी:
    • ब्लॉकचेन का आशय साझा किये गए तथा अपरिवर्तनीय बहीखाता से है जो व्यापार नेटवर्क में लेन-देन को रिकॉर्ड करने और परिसंपत्तियों को ट्रैक करने की प्रक्रिया को सुविधाजनक बनाता है।
      • कोई परिसंपत्ति मूर्त (घर, कार, नकदी, ज़मीन) अथवा अमूर्त (बौद्धिक संपदा, पेटेंट, कॉपीराइट, ब्रांडिंग) हो सकती है।
    • ब्लॉकचेन प्रौद्योगिकी को समझने के लिये एक सरल सादृश्य Google Doc है।
    • जब कोई दस्तावेज़ (Doc) तैयार करता है और उसे लोगों के समूह के साथ साझा करता है तो दस्तावेज़ को कॉपी अथवा स्थानांतरित करने के बजाय वितरित किया जाता है।
    • यह एक विकेंद्रीकृत वितरण शृंखला का निर्माण करता है जो सभी को एक ही समय में दस्तावेज़ तक पहुँच प्रदान करता है।

भारत और क्रिप्टोकरेंसी

  • भारत में क्रिप्टोकरेंसी वर्चुअल डिजिटल एसेट्स श्रेणी में आती है और कराधान के अधीन है।
    • क्रिप्टोक्यूरेंसी ट्रेडिंग से उत्पन्न मुनाफे पर अतिरिक्त 4% उपकर (केंद्रीय बजट 2022-23) के साथ 30% की दर से कर लगाया जाता है।
  • वर्ष 2022 में, RBI ने अपनी स्वयं की सेंट्रल बैंक डिजिटल करेंसी लॉन्च की, जिसे ई-रुपी (e-Rupee) के नाम से जाना जाता है, जो ब्लॉकचेन तकनीक पर आधारित है।

UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न

Q.1 "ब्लॉकचेन तकनीकी" के संदर्भ में, निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिये: (2020)

  1. यह एक सार्वजनिक खाता है जिसका हर कोई निरीक्षण कर सकता है, परंतु जिसे कोई भी एक उपभोक्ता नियंत्रित नहीं करता।
  2. ब्लॉकचेन की संरचना और अभिकल्प ऐसा है कि इसका समूचा डेटा केवल क्रिप्टोकरेंसी के विषय में है।
  3. ब्लॉकचेन आधारभूत वैशिष्ट्यों पर आधारित अनुप्रयोगों को बिना किसी व्यक्ति की अनुमति के विकसित किया जा सकता है।

उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं?

(a) केवल 1
(b) केवल 1 और 2
(c) केवल 2
(d) केवल 1 और 3

उत्तर: (d)


लार्ज लैंग्वेज मॉडल

स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस 

उन्नत कृत्रिम बुद्धिमत्ता के युग में, लार्ज लैंग्वेज मॉडल के उद्भव ने कंप्यूटर के मनुष्यों के साथ इंटरैक्शन, उनकी भाषा समझने और भाषा को संसाधित करने की पद्धति में क्रांति ला दी है। आभासी संवाद को उन्नत करने से लेकर रचनात्मक कार्यों को सशक्त बनाने तक, LLM ने AI प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में एक नई सीमा का मार्ग प्रशस्त किया है।

लार्ज लैंग्वेज मॉडल (LLM) क्या हैं?

  • परिभाषा: 
    • LLMs सामान्य प्रयोजन भाषा मॉडल हैं जो टेक्स्ट क्लासिफिकेशन, प्रश्नोत्तर और टेक्स्ट जनरेशन जैसी सामान्य भाषा समस्याओं को हल करने में सक्षम हैं।
    • इन मॉडलों को मानव भाषा के भीतर पैटर्न, संरचनाओं और संबंधों को समझने के लिये बड़े पैमाने पर डेटासेट पर ट्रेन अर्थात् प्रशिक्षित किया जाता है।
  • लार्ज लैंग्वेज मॉडल (LLM) के प्रकार 
    • आर्किटेक्चर पर आधारित:
      • ऑटोरेग्रेसिव मॉडल: पूर्व शब्दों के आधार पर अनुक्रम में आगामी शब्द का प्रेडिक्शन/पूर्वानुमान करना। उदाहरण: GPT-3
      • ट्रांसफॉर्मर-आधारित मॉडल: भाषा प्रसंस्करण के लिये एक विशिष्ट कृत्रिम न्यूरल नेटवर्क आर्किटेक्चर का प्रयोग करना। उदाहरण: LaMDA, जेमिनी (जिसे पहले Bard के रूप में जाना जाता था)। एनकोडर-डिकोडर मॉडल: इनपुट टेक्स्ट को एक रिप्रजेंटेशन में एनकोड कर पुनः इसे किसी अन्य भाषा या प्रारूप में डीकोड करना।
    • ट्रेनिंग डेटा पर आधारित:
      • पूर्व-प्रशिक्षित और फाइन-ट्यून किये गए मॉडल: विशेष डेटासेट पर फाइन-ट्यूनिंग के माध्यम से विशिष्ट कार्यों के अनुरूप रूपांतरण करना।
      • मल्टी-लैंग्वेज मॉडल: कई भाषाओं में टेक्स्ट को समझने और उत्पन्न करने में सक्षम।
      • डोमेन-विशिष्ट मॉडल: कानूनी, वित्त या स्वास्थ्य देखभाल जैसे विशिष्ट डोमेन से संबंधित डेटा के आधार पर प्रशिक्षित।
    • आकार और उपलब्धता के आधार पर:
      • आकार: बड़े मॉडलों को अधिक कंप्यूटेशनल संसाधनों की आवश्यकता होती है लेकिन वे बेहतर प्रदर्शन प्रदान करते हैं।
      • उपलब्धता: ओपन-सोर्स मॉडल सार्वजनिक उपलब्ध हैं, जबकि क्लोज-सोर्स मॉडल स्वामित्व के अधीन हैं।
  • LLM के परिचालन तंत्र:
    • अपने मूल में LLM पूर्ववर्ती पाठ में दिये गए शब्दों या अनुक्रमों की संभावना का पूर्वानुमान करने के लिये गहन शिक्षण तकनीकों का उपयोग करते हैं।
      • LLM इनपुट संकेतों के आधार पर अगले शब्द या अनुक्रम का पूर्वानुमान करने के लिये डेटा में पैटर्न और संबंधों का विश्लेषण करते हैं, जैसे मनुष्य भाषा को कैसे समझते हैं।
      • LLM आम तौर पर प्रासंगिक समझ के लिये ध्यान तंत्र के साथ जेनरेटर प्री-ट्रेंड ट्रांसफार्मर (GPT) जैसे ट्रांसफॉर्मर मॉडल पर विश्वास करते हैं।
  • LLM  के अनुप्रयोग:
    • LLM कहानियों से लेकर कविता और गीतों तक मानव-जैसी विषय वस्तु उत्पन्न करते हैं तथा आभासी सहायक के रूप में कार्य करते हैं, जो विपणन रणनीतियों के लिये महत्त्वपूर्ण भावना विश्लेषण, अनुवाद एवं पाठ सारांश में उत्कृष्ट हैं।
  • LLM  के लाभ:
    • LLM पैटर्न को सामान्य बनाने के लिये अपने व्यापक प्रशिक्षण डेटा का लाभ उठाते हुए, विभिन्न कार्यों और डोमेन को अनुकूलित कर सकते हैं।
    • सामान्य भाषा प्रशिक्षण डेटासेट से सीखने की उनकी क्षमता के कारण, वे सीमित डोमेन-विशिष्ट डेटा के साथ भी अच्छा प्रदर्शन कर सकते हैं।
    • जैसे-जैसे अधिक डेटा और पैरामीटर जोड़े जाते हैं, LLM लगातार अपने प्रदर्शन को बढ़ाते हैं, जिससे वे विकसित AI परिदृश्य में मूल्यवान परिसंपत्‍ति बन जाते हैं।

लार्ज एक्शन मॉडल (LAM) क्या हैं?

  • LAM विशिष्ट AI मॉडल होते हैं जो टेक्स्ट को समझने और परिणाम उत्पन्न करने के अतिरिक्त विशिष्ट कार्यों अथवा क्रियाओं के अनुक्रम को निष्पादित करने के लिये बनाए जाते हैं।
    • LAM मानव विचारों को समझ सकते हैं और इस समझ को कार्रवाई योग्य चरणों में परिवर्तित कर सकते हैं। LAM को दोहराए जाने वाले कार्यों में मदद करने के लिये डिज़ाइन किया गया है।
  • इन्हें टेक्स्ट, छवि अथवा डेटा के अन्य रूप जैसे इनपुट के आधार पर कार्यों को निष्पादित करने के लिये डिज़ाइन किया गया है।
  • LAM का उपयोग विभिन्न अनुप्रयोगों, जैसे- वर्चुअल असिस्टेंट, रोबोटिक सिस्टम, स्वचालित ग्राहक सेवा इत्यादि में किया जा सकता है।
  • LAM का उदाहरण: रैबिटr1
  • इन मॉडलों को डेटासेट पर प्रशिक्षित किया जाता है जिसमें दिये गए संदर्भों के आधार पर कार्य करने का तरीका सीखने के लिये भाषाई जानकारी और क्रिया-उन्मुख डेटा दोनों शामिल होते हैं।

  UPSC सिविल सेवा परीक्षा, वित्त वर्ष के प्रश्न  

प्रिलिम्स:

प्रश्न. विकास की वर्तमान स्थिति में, कृत्रिम बुद्धिमत्ता (Artificial Intelligence), निम्नलिखित में से किस कार्य को प्रभावी रूप से कर सकती है? (2020)

  1. औद्योगिक इकाइयों में विद्युत की खपत कम करना 
  2. सार्थक लघु कहानियों और गीतों की रचना  
  3. रोगों का निदान 
  4. टेक्स्ट से स्पीच (Text-to-Speech) में परिवर्तन 
  5. विद्युत ऊर्जा का बेतार संचरण

नीचे दिये गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिये:

(a) केवल 1, 2, 3 और 5
(b) केवल 1, 3 और 4
(c) केवल 2, 4 और 5
(d) 1, 2, 3, 4 और 5

उत्तर: (b)


प्रश्न. "चौथी औद्योगिक क्रांति (डिजिटल क्रांति) के प्रादुर्भाव ने ई-गवर्नेंस को सरकार का अविभाज्य अंग बनाने में पहल की है"। विवेचन कीजिये। (2020)


अत्यंत उच्च निवल मूल्य वाले व्यक्ति

स्रोत: हिंदुस्तान टाइम्स

नाइट फ्रैंक की 'द वेल्थ रिपोर्ट 2024' के अनुसार, भारत में अत्यंत उच्च निवल मूल्य वाले व्यक्तियों (UHNWI) की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है, जो वर्ष 2023 में 13,263 व्यक्तियों तक पहुँच गई और साथ ही वर्ष 2028 तक लगभग 20,000 तक की वृद्धि का अनुमान है।

  • UHNWI, ऐसे व्यक्ति हैं जिनकी कुल संपत्ति 30 मिलियन अमेरिकी डॉलर या उससे अधिक है।
    • भारत में UHNWI जनसंख्या में वर्ष 2023 में 6.1% की वृद्धि देखी गई, जिसके वर्ष 2028 तक 50% बढ़ने का अनुमान है, जो धन संचय में सकारात्मक प्रवृत्ति को दर्शाता है।
  • वैश्विक स्तर पर वर्ष 2028 तक धनी व्यक्तियों की संख्या 28.1% बढ़कर 8,02,891 होने की आशा है।
    • तुर्की, 9.7% वार्षिक विस्तार के साथ UHNWI वृद्धि में अग्रणी है, इसके बाद अमेरिका, दक्षिण कोरिया तथा स्विट्ज़रलैंड हैं।

SWAYAM प्लस प्लेटफॉर्म

स्रोत: पी आई. बी.

हाल ही में केंद्रीय शिक्षा, कौशल और उद्यमिता विकास मंत्री द्वारा नई दिल्ली में SWAYAM प्लस प्लेटफॉर्म का उद्घाटन किया गया।

  • बड़ी संख्या में शिक्षार्थियों के लिये शैक्षिक अवसर प्रदान करने वाला व्यापक ओपन ऑनलाइन कोर्स प्लेटफॉर्म SWAYAM वर्ष 2017 में शिक्षा मंत्रालय द्वारा लॉन्च किया गया था।
  • NEP-2020 के अनुरूप, SWAYAM प्लस अब रोज़गार क्षमता को बढ़ावा देने के लिये उद्योग-प्रासंगिक पाठ्यक्रम प्रदान करता है, जिसमें बहुभाषी विषय वस्तु, AI मार्गदर्शन, क्रेडिट रिकग्निशन और रोज़गार के मार्ग जैसी सुविधाएँ शामिल हैं, जो L&T, माइक्रोसॉफ्ट, CISCO जैसी और भी अन्य कंपनियों के सहयोग से विकसित की गई हैं।
    • SWAYAM प्लस मुख्य रूप से निम्नलिखित उद्देश्य प्राप्त करने पर केंद्रित है:
      • एक ऐसे पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण जो शिक्षार्थियों, पाठ्यक्रम प्रदाताओं, उद्योग, शिक्षा जगत और रणनीतिक भागीदारों के लिये पेशेवर व करियर विकास का समर्थन करता है।
      • एक ऐसी प्रणाली लागू करना जो शीर्ष उद्योग और शैक्षणिक भागीदारों से उच्च गुणवत्ता वाले प्रमाण-पत्रों एवं टेक्स्ट को स्वीकार करती हो।
      • स्थानीय भाषा संसाधनों के साथ विभिन्न विषयों में रोज़गार-केंद्रित पाठ्यक्रम प्रदान करके, देश भर में, विशेष रूप से टियर 2 और 3 कस्बों तथा ग्रामीण क्षेत्रों में व्यापक शिक्षार्थी आधार तक पहुँचना।

और पढ़ें: SWAYAM और SWAYAM प्रभा


हंगरी द्वारा स्वीडन की नाटो सदस्यता का अनुसमर्थन

स्रोत: द हिंदू 

हंगरी की संसद ने उत्तर अटलांटिक संधि संगठन में शामिल होने के लिये स्वीडन की दावेदारी को मंज़ूरी देने के लिये मतदान किया, जिससे वह गठबंधन में शामिल होने वाला 32वाँ देश बन गया।

  • नाटो, एक महत्त्वपूर्ण ट्रान्साटलांटिक सैन्य और राजनीतिक गठबंधन है जो गठबंधन में शामिल सदस्य देशों के लिये सामूहिक सुरक्षा सुनिश्चित करता है। इसका गठन प्रमुख रूप से यूरोप और उत्तरी अमेरिका के 12 देशों द्वारा किया गया था। यह अंतर्राष्ट्रीय स्थिरता में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
  • NATO का मुख्यालय ब्रसेल्स, बेल्जियम में बुलेवार्ड लियोपोल्ड-III में स्थित है।
  • नाटो के गठबंधन:
    • यूरो-अटलांटिक पार्टनरशिप काउंसिल
    • भूमध्यसागरीय वार्ता: यह एक साझेदारी मंच है, जिसका उद्देश्य नाटो के भूमध्य और उत्तरी अफ्रीकी पड़ोस में सुरक्षा तथा स्थिरता में योगदान करना है एवं भाग लेने वाले देशों व नाटो सहयोगियों के बीच अच्छे संबंधों और समझ को बढ़ावा देना है। 
    • इस्तांबुल सहयोग पहल (ICI): इसका उद्देश्य व्यापक मध्य पूर्व क्षेत्र में गैर-नाटो देशों को नाटो के साथ सहयोग करने का अवसर प्रदान कर दीर्घकालिक वैश्विक और क्षेत्रीय सुरक्षा में योगदान करना है। 
  • "नाटो प्लस" का आशय नाटो और अमेरिका के पाँच संधि सहयोगियों द्वारा स्थापित सुरक्षा व्यवस्था से है जिनमें ऑस्ट्रेलिया, न्यूज़ीलैंड, जापान, इज़रायल और दक्षिण कोरिया शामिल हैं जिसका उद्देश्य सदस्यों के रूप में वैश्विक रक्षा सहयोग को बढ़ाना तथा चीनी कम्युनिस्ट पार्टी से रणनीतिक प्रतिस्पर्द्धा करना है। 
    • नाटो प्लस नाटो के अंतर्गत आधिकारिक तौर पर मान्यता प्राप्त अथवा स्थापित अवधारणा नहीं है।

और पढ़ें…उत्तर अटलांटिक संधि संगठन


होमोसेप एटम

स्रोत: पी. आई. बी.

सोलिनास नामक स्टार्टअप द्वारा विकसित होमोसेप एटम (Homosep Atom), भारत का पहला सेप्टिक टैंक/मैनहोल सफाई करने वाला रोबोट है, जो देश भर में स्वच्छता प्रयासों में क्रांति ला रहा है, मैनुअल स्कैवेंजिंग को एक व्यापक रोबोटिक समाधान के साथ बदल रहा है और स्वच्छ भारत अभियान को बढ़ावा दे रहा है।

  • यह बहुक्रियाशील क्षमताओं के साथ सीवर सफाई को सुव्यवस्थित करता है, लागत पर अंकुश लगाता है और भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों में रुकावटों को कम करते हुए रोबोटिक स्वच्छता को बढ़ावा देता है।
    • बड़े परिसरों और व्यक्तिगत आवासों तक अपनी पहुँच बढ़ाते हुए, इसने श्रमिकों की सुरक्षा और दक्षता को प्राथमिकता देते हुए नगरपालिका अपशिष्ट प्रबंधन को बढ़ाया है।
  • सोलिनास, IIT मद्रास का एक डीप-टेक स्टार्टअप, जल-सीवर पाइपलाइनों के लिये अग्रणी लघु रोबोट, विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग-प्रौद्योगिकी बिज़नेस इनक्यूबेटर (DST-TBI) द्वारा सहायता प्राप्त, संदूषण चुनौतियों, जलवायु तकनीकी समाधान तथा सतत् जल प्रबंधन हेतु AI-आधारित पाइपलाइन निदान को संबोधित करते हैं।
  • DST-टेक्नोलॉजी बिज़नेस इन्क्यूबेटर्स (TBI) को सफल उद्यमों में ज्ञान आधारित नवीन स्टार्ट-अप का समर्थन और पोषण करने के लिये निधि कार्यक्रम के तहत शैक्षणिक, तकनीकी तथा अनुसंधान एवं विकास संस्थानों में स्थापित किया गया है।

और पढ़ें: मैनुअल स्कैवेंजिंग