नोएडा शाखा पर IAS GS फाउंडेशन का नया बैच 16 जनवरी से शुरू :   अभी कॉल करें
ध्यान दें:



डेली अपडेट्स

प्रारंभिक परीक्षा

तमिलनाडु में हाथियों का अवैध शिकार

  • 12 Apr 2025
  • 7 min read

स्रोत: द हिंदू

चर्चा में क्यों?

तमिलनाडु में हाल ही में हुई हाथियों के अवैध शिकार की घटना ने वन्यजीव अपराध के पुनः उभरने की चिंता को फिर से जन्म दे दिया है, जो जंगली हाथियों के अस्तित्व के लिये एक खतरा बन गया है।

हाथियों के बारे में मुख्य तथ्य क्या हैं?

  • परिचय: 
    • हाथी भारत का एक राष्ट्रीय धरोहर पशु है।
    • वे मातृसत्तात्मक हैं, तथा मादाओं के नेतृत्व में समूहों में रहते हैं।
    • वन पारिस्थितिकी तंत्र के संतुलन और स्वास्थ्य को बनाए रखने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाने के कारण इन्हें "कीस्टोन प्रजाति" माना जाता है।
      • पारिस्थितिकी तंत्र इंजीनियर के रूप में, हाथी बीज प्रकीर्णन (Seed Dispersa) को सुगम बनाते हैं और अन्य प्रजातियों के लिये जल स्रोतों तक पहुँच बनाते हैं।
  • प्रजातियाँ:
  • भारत में जनसंख्या:
    • भारतीय हाथी एशियाई हाथियों की एक उप-प्रजाति है जो भारतीय उपमहाद्वीप के मूल निवासी हैं और सभी एशियाई हाथियों का लगभग 60% प्रतिनिधित्व करते हैं।
    • वर्ष 2017 में की गई हाथी जनगणना के अनुसार, भारत में लगभग 29,964 हाथी हैं।
    • कर्नाटक में हाथियों की संख्या सर्वाधिक थी, उसके बाद असम और केरल का स्थान था।
  • खतरा:
  • संरक्षण की स्थिति:
  • संबंधित पहल:
    • भारत:
      • प्रोजेक्ट एलीफेंट: भारत द्वारा हाथियों और उनके प्राकृतिक पर्यावासों की सुरक्षा के उद्देश्य से वर्ष 1992 में इसका शुभारंभ किया गया।
      • हाथी रिज़र्व एवं गलियारे: वर्तमान में देश में 33 हाथी रिज़र्व और 150 हाथी गलियारे हैं।
      • प्रोजेक्ट RE-HAB: इसका उद्देश्य हाथी और मानव के बीच होने वाले संघर्ष और साथ ही प्रतिकारात्मक घात की संभावनों को कम करने के उद्देश्य से मधुमक्खी का बाड़ संस्थापित कर हाथी-मानव संघर्ष की रोकथाम करना है।
    • वैश्विक:
      • विश्व हाथी दिवस: हाथियों की सुरक्षा और संरक्षण की तत्काल आवश्यकता के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिये यह दिवस प्रतिवर्ष 12 अगस्त को मनाया जाता है।
      • हाथियों की अवैध हत्या की निगरानी (MIKE) कार्यक्रम: यह एक अंतर्राष्ट्रीय पहल है जिसके अंतर्गत एशिया और अफ्रीका में संरक्षण प्रयासों का समर्थन करने के लिये हाथियों की मृत्यु दर की प्रवृत्तियों को ट्रैक किया जाता है।

एशियाई और अफ्रीकी हाथियों में अंतर:

विशेषता

एशियाई हाथी 

अफ्रीकी हाथी 

भौगोलिक सीमा

दक्षिण एवं दक्षिण-पूर्व एशिया के 13 देश (भारत, श्रीलंका, म्याँमार आदि सहित)

उप-सहारा अफ्रीका (सवाना और वर्षावन)

आकार

आकार में छोटा तथा आनुपातिक रूप से अधिक छोटे कर्ण

आकार में अपेक्षाकृत बड़ा (पृथ्वी पर सबसे बड़ा स्थलीय प्राणी)

दाँत

अधिकांश नरों के दंत होते हैं; मादा हाथी प्रायः या तो दंतरहित होती हैं या उनके अपेक्षाकृत छोटे दंत होते हैं

नर और मादा दोनों के बड़े  आकार के दंत होते हैं

सूँड़/ट्रंक 

उनकी सूँड़ के सिरे पर केवल एक उँगली के समान प्रवर्द्ध होता है

उनकी सूँड़ के सिरे पर दो उँगलियों के समान प्रवर्द्ध होता है

त्वचा की बनावट

चिकनी, अल्प गुलाबी वर्ण की चित्ती (डिपिगमेंटेशन) हो सकती हैं

झुर्रीदार त्वचा जो नमी को धारित रखती है (शुष्क जलवायु के प्रति अनुकूलन)

संरक्षण स्थिति (IUCN)

संकटापन्न 

अफ्रीकी वन हाथी: गंभीर रूप से संकटापन्न 

अफ्रीकी सवाना हाथी: संकटापन्न 

नोट: हाथी रिज़र्वों के लिये विधिक संरक्षण का अभाव है, जब तक कि वे मौजूदा रिज़र्व वनों या संरक्षित क्षेत्रों के अंतर्गत न आते हों।

 UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न 

प्रश्न. भारतीय हाथियों के संदर्भ में निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिये: (2020)

  1. हाथियों के समूह का नेतृत्व मादा करती है। 
  2. हाथी की अधिकतम गर्भावधि 22 माह तक हो सकती है।  
  3. सामान्यत: हाथी में 40 वर्ष की आयु तक ही बच्चे पैदा करने की क्षमता होती है।  
  4. भारत के राज्यों में हाथियों की सर्वाधिक संख्या केरल में है।

उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं?

(a) केवल 1 और 2
(b) केवल 2 और 4
(c) केवल 3
(d) केवल 1, 3 और 4

उत्तर: (a)

close
एसएमएस अलर्ट
Share Page
images-2
images-2