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भारतीय अर्थव्यवस्था

वर्ल्ड इकोनाॅमिक आउटलुक: IMF

  • 14 Oct 2023
  • 11 min read

प्रिलिम्स के लिये:

वर्ल्ड इकोनाॅमिक आउटलुक, अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF), यूक्रेन पर रूस का आक्रमण, मुद्रास्फीति, विश्व बैंक (WB)।

मेन्स के लिये:

वर्ल्ड इकोनाॅमिक आउटलुक, प्रमुख अंतर्राष्ट्रीय संस्थाएँ, एजेंसियाँ एवं अन्य संरचनाएँ, जनादेश आदि।

स्रोत:इकोनाॅमिक टाइम्स

चर्चा में क्यों?

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) द्वारा वर्ल्ड इकोनाॅमिक आउटलुक, 2023 जारी किया गया है। जिसका शीर्षक ‘नेविगेटिंग ग्लोबल डाइवर्जेंस’ है। जिसके अनुसार भारतीय अर्थव्यवस्था में पहले के अनुमान से अधिक तीव्रता से वृद्धि होगी।

वर्ल्ड इकोनाॅमिक आउटलुक की मुख्य विशेषताएँ:

  • वैश्विक विकास पूर्वानुमान:
    • IMF का अनुमान है कि वर्ष 2023 में 3% वैश्विक GDP (सकल घरेलू उत्पाद) की वृद्धि होगी, जो उसके द्वारा जुलाई 2023 की पूर्वानुमानित वैश्विक GDP के समान है।
    • हालाँकि वर्ष 2024 के लिये वैश्विक GDP वृद्धि में जुलाई के पूर्वानुमान से 10 आधार अंक की कमी देखी गई है तथा यह घटकर 2.9% हो गई है।
  • चीनी अर्थव्यवस्था का पूर्वानुमान:
    • चीनी अर्थव्यवस्था के वर्ष 2023 में 5% की दर से बढ़ने की उम्मीद है जो वर्ष 2022 में इसकी 3% की वृद्धि से अधिक है।
    • चीन की वर्ष 2023 और वर्ष 2024 की वृद्धि के लिये IMF का अक्तूबर का पूर्वानुमान उसके जुलाई के अनुमान से 20 एवं 30 आधार अंक कम है, जो यह दर्शाता है कि विश्व की दूसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था को अपनी स्थिति कायम रखने में मुश्किल का सामना करना पड़ सकता है।
  • मुद्रास्फीति और मौद्रिक नीति:
    • IMF का अनुमान है कि वर्ष 2024 में वैश्विक मुद्रास्फीति 5.8% की दर से बढ़ेगी, जो तीन महीनों के अनुमानित 5.2% दर की वृद्धि से तीव्र/अधिक है तथा ये अनुमान सप्ताहांत की घटनाओं और उनके परिणामों का ब्यौरा नहीं देते हैं।
  • चिंताएँ और जोखिम:
    • मुद्रास्फीति से निपटने के लिये केंद्रीय बैंकों द्वारा लागू की गई सख्त मौद्रिक नीतियों के कारण, जो वर्ष 2022 में बढ़कर 8.7% हो गई तथा यूक्रेन पर रूस के आक्रमण, महामारी और आपूर्ति शृंखला व्यवधानों के परिणामस्वरुप असमान वसूली के कारण, विकास पिछड़ गया है।
  • अनिश्चितताएँ और नकारात्मक जोखिम:
    • निवेश महामारी-पूर्व स्तर से कम है, जो उच्च ब्याज दरों और सख्त ऋण शर्तों से प्रभावित है।
    • IMF देशों को भविष्य के जोखिमों से बचाव के लिये राजकोषीय बफर का पुनर्निर्माण करने की सलाह देता है।
    • वैश्विक विकास दर के 2% से नीचे गिरने की संभावना लगभग 15% है, जिसमें वर्ष 2024 के लिये ऊँचाई पर पहुँचने तुलना में गिरने का जोखिम अधिक है।

भारत से संबंधित निष्कर्ष:

  • सत्र 2023-24 के लिये भारत की GDP 6.3% होगी, जो जुलाई 2023 से 20 आधार अंक की वृद्धि है।
  • भारत के लिये IMF का सत्र 2023-24 का विकास पूर्वानुमान अब लगभग वही है जो विश्व बैंक (WB) ने अपने भारत विकास अपडेट में अनुमान लगाया था।
  • भारत के सत्र 2024-25 की GDP वृद्धि का अनुमान 6.3% दर पर अपरिवर्तित है।
  • जून 2023 में समाप्त तिमाही में 7.8% की मज़बूत वृद्धि के बावजूद IMF ने सत्र 2023-24 के लिये भारत के सकल घरेलू उत्पाद के विकास में वृद्धि का अनुमान का अनुमान लगाया है, वार्षिक वृद्धि का आँकड़ा अभी भी RBI की मौद्रिक नीति समिति की 6.5% दर के अनुमान से कम है।

प्रमुख सिफारिशें:

  • आर्थिक विकास को बढ़ावा देने के लिये व्यावसायिक निवेश को प्रोत्साहित करने की आवश्यकता है, जैसा कि अमेरिका में देखा गया है, जहाँ सुदृढ़ व्यावसायिक निवेश ने उन्नत विकास पूर्वानुमान में योगदान दिया है।
  • प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं में आर्थिक विचलन, विशेष रूप से यूरोज़ोन में बारीकी से निगरानी की जानी चाहिये और कुछ क्षेत्रों में संकुचन या धीमी वृद्धि का कारण बनने वाले कारकों पर ध्यान देने की आवश्यकता है।
  • मुद्रास्फीति और मौद्रिक नीति के प्रबंधन में सावधानी बरतना। IMF ने इस बात पर ज़ोर दिया कि मुद्रास्फीति को नियंत्रित करने और आर्थिक स्थिरता बनाए रखने के लिये विश्व स्तर पर समकालिक केंद्रीय बैंकों के साथ सख्ती बरतना आवश्यक है।

अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (International Monetary Fund- IMF):

  • IMF एक अंतर्राष्ट्रीय संगठन है जो वैश्विक आर्थिक विकास और वित्तीय स्थिरता को बढ़ावा देता है, अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को प्रोत्साहित करता है तथा गरीबी को कम करने में सहायता करता है।
    • इसकी स्थापना वर्ष 1945 में ब्रेटन वुड्स सम्मेलन से की गई थी।
  • IMF का प्राथमिक उद्देश्य अंतर्राष्ट्रीय मौद्रिक प्रणाली की स्थिरता सुनिश्चित करना है, यह विनिमय दरों और अंतर्राष्ट्रीय भुगतान की प्रणाली है जो देशों (और उनके नागरिकों) को एक-दूसरे के साथ लेन-देन करने में सक्षम बनाती है।
    • अंततः यह उन देशों की सरकारों के लिये अंतिम उपाय का ऋणदाता बन गया, जिन्हें गंभीर मुद्रा संकट से जूझना पड़ा।
  • IMF द्वारा रिपोर्ट:
    • वैश्विक वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट।
    • वर्ल्ड इकोनॉमिक आउटलुक
      • यह सामान्यतः अप्रैल और अक्तूबर के महीनों में वर्ष में दो बार प्रकाशित किया जाता है।

  UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्न  

प्रिलिम्स:

प्रश्न. "रैपिड फाइनेंसिंग इंस्ट्रूमेंट" और "रैपिड क्रेडिट सुविधा" निम्नलिखित में से किसके द्वारा उधार देने के प्रावधानों से संबंधित हैं? (2022)

(a) एशियाई विकास बैंक
(b) अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष
(c) संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण कार्यक्रम वित्त पहल
(d) विश्व बैंक

उत्तर: (b)

व्याख्या:

  • रैपिड फाइनेंसिंग इंस्ट्रूमेंट(RFI) त्वरित वित्तीय सहायता प्रदान करता है, यह भुगतान संतुलन आवश्यकताओं का सामना करने वाले सभी सदस्य देशों के लिये उपलब्ध है। RFI को सदस्य देशों की विभिन्न आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये तथा वित्तीय सहायता को अधिक लचीला बनाने हेतु IMF को एक व्यापक सुधार के हिस्से के रूप में बनाया गया था। रैपिड फाइनेंसिंग इंस्ट्रूमेंट IMF की पूर्ववर्ती आपातकालीन सहायता नीति की जगह लेता है और इसका उपयोग विभिन्न परिस्थितियों में किया जा सकता है।
  • रैपिड क्रेडिट सुविधा (RCF) कम आय वाले देशों (LIC) की बिना किसी पूर्व शर्त के तत्काल भुगतान संतुलन (BoP) आवश्यकताओं की पूर्ति करता है, जहाँ एक पूर्ण आर्थिक कार्यक्रम की न तो आवश्यकता है और न ही यह व्यवहार्य है। RCF की स्थापना एक व्यापक सुधार के हिस्से के रूप में की गई थी ताकि वित्तीय सहायता को अधिक लचीला और संकट के समय LIC की विविध ज़रूरतों के अनुरूप बेहतर बनाया जा सके।
  • RCF के तहत तीन क्षेत्र हैं: (i) घरेलू अस्थिरता, आपात स्थिति जैसे स्रोतों की एक विस्तृत शृंखला के कारण तत्काल BoP ज़रूरतों के लिये एक "रेगुलर विंडो", (ii) अचानक, बहिर्जात झटके के कारण तत्काल BoP ज़रूरतों के लिये एक "एक्सोजेनस शॉक विंडो" और (iii) प्राकृतिक आपदाओं के कारण तत्काल BoP ज़रूरतों के लिये एक "लार्ज नेचुरल डिज़ास्टर विंडो" जहाँ क्षति सकल घरेलू उत्पाद के 20% के बराबर या उससे अधिक होने का अनुमान है।

प्रश्न. “स्वर्ण ट्रान्श” (रिज़र्व ट्रान्श) निर्दिष्ट करता है: (2020)

(a) विश्व बैंक की एक ऋण व्यवस्था
(b) केंद्रीय बैंक की किसी एक क्रिया को
(c) WTO द्वारा इसके सदस्यों को प्रदत्त एक साख प्रणाली को
(d) IMF द्वारा इसके सदस्यों को प्रदत्त एक साख प्रणाली को

उत्तर: (d)

प्रश्न. 'वैश्विक वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट' (2016) किसके द्वारा तैयार की जाती है?

(a) यूरोपीय केंद्रीय बैंक
(b) अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष
(c) पुनर्निर्माण और विकास के लिये अंतर्राष्ट्रीय बैंक
(d) आर्थिक सहयोग और विकास संगठन

उत्तर: (b)

मेन्स:

प्रश्न: विश्व बैंक और IMF, जिन्हें सामूहिक रूप से ब्रेटन वुड्स की जुडवाँ संस्था के रूप में जाना जाता है, विश्व की आर्थिक एवं वित्तीय व्यवस्था की संरचना का समर्थन करने वाले दो अंतर-सरकारी स्तंभ हैं। विश्व बैंक और IMF कई सामान्य विशेषताओं को प्रदर्शित करते हैं, फिर भी उनकी भूमिका, कार्य एवं अधिदेश स्पष्ट रूप से भिन्न हैं। व्याख्या कीजिये। ( 2013)

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