IT हार्डवेयर के लिये उन्नत उत्पादन आधारित प्रोत्साहन योजना | 19 May 2023
प्रिलिम्स के लिये:उत्पादन आधारित प्रोत्साहन योजना (PLI), कंपाउंडेड एनुअल ग्रोथ रेट (CAGR), केंद्रीय बजट 2021-22 मेन्स के लिये:PLI के लिये घोषित क्षेत्र, भारत में इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण का विकास |
चर्चा में क्यों?
हाल ही में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारत में IT हार्डवेयर निर्माण के लिये उन्नत उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (Production Linked Incentive- PLI) योजना को मंज़ूरी दी है।
- यह निर्णय भारत के इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण उद्योग में हुई महत्त्वपूर्ण वृद्धि के बाद लिया गया है, जहाँ देश ने उत्पादन में 105 बिलियन अमेरिकी डाॅलर के आँकड़े को पार कर एक प्रमुख उपलब्धि हासिल की है।
IT हार्डवेयर के लिये अद्यतन PLI योजना संबंधी मुख्य विशेषताएँ:
- IT हार्डवेयर हेतु PLI योजना में वृद्धि:
- IT हार्डवेयर हेतु PLI योजना को पहली बार मार्च 2021 में अधिसूचित किया गया था। यह योजना पात्र फर्मों के घरेलू विनिर्माण में वृद्धिशील निवेश के लिये 4% तक की प्रोत्साहन राशि का योगदान करती है।
- इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय (MeitY) ने कहा कि अद्यतन योजना में प्रोत्साहन को बढ़ाकर 5% कर दिया गया है।
- इसके अतिरिक्त घरेलू रूप से उत्पादित घटकों के उपयोग के लिये एक ‘अतिरिक्त वैकल्पिक प्रोत्साहन’ पेश किया गया है।
- संशोधित बजट परिव्यय और अवधि:
- IT हार्डवेयर के लिये अद्यतन PLI योजना हेतु 17,000 करोड़ रुपए के बजटीय परिव्यय की मंज़ूरी दी गई है। इस योजना का कार्यकाल 6 वर्ष का होगा, जो कंपनियों को भारत में स्थापना, परिचालन और विस्तार करने हेतु दीर्घावधि प्रोत्साहन प्रदान करेगा।
- भारत में इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण का विकास:
- पिछले आठ वर्षों में भारत में इलेक्ट्रॉनिक्स विनिर्माण क्षेत्र ने 17% की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (CAGR) दर्ज की है।
- भारत ने वर्ष 2023 में 11 बिलियन अमेरिकी डॉलर मूल्य के मोबाइल फोन निर्यात कर विश्व स्तर पर दूसरे सबसे बड़े मोबाइल हैंडसेट निर्माता के रूप में अपनी स्थिति मज़बूत की है, जबकि पहला स्थान चीन का है।
उत्पादन आधारित प्रोत्साहन योजना:
- परिचय:
- उत्पादन आधारित प्रोत्साहन (PLI) योजना 'आत्मनिर्भर भारत अभियान' (आत्मनिर्भर भारत) पहल के तत्त्वावधान में शुरू किये गए सुधारों की सूची में नवीनतम संकलन है।
- PLI योजना की रणनीति आधार वर्ष की तुलना में भारत में निर्मित उत्पादों की वृद्धिशील बिक्री पर कंपनियों को प्रोत्साहन प्रदान करना है।
- यह योजना विदेशी कंपनियों को भारत में इकाइयाँ स्थापित करने के लिये भी आमंत्रित करती है।
- उद्देश्य:
- इस योजना का उद्देश्य घरेलू विनिर्माण को वैश्विक स्तर पर प्रतिस्पर्द्धी बनाकर विनिर्माण के क्षेत्र में भारत को विश्व में अग्रणी बनाना है।
- इन्हें विशेष रूप से रणनीतिक क्षेत्रों में घरेलू विनिर्माण को बढ़ावा देने, सस्ते आयात पर अंकुश लगाने और आयात बिलों को कम करने, घरेलू रूप से विनिर्मित वस्तुओं की लागत प्रतिस्पर्द्धात्मकता में सुधार करने तथा घरेलू क्षमता एवं निर्यात बढ़ाने के लिये डिज़ाइन किया गया है।
- PLI के लिये घोषित क्षेत्र:
- केंद्रीय बजट वर्ष 2021-22 में 14 प्रमुख क्षेत्रों में PLI योजनाओं के लिये 1.97 लाख करोड़ रुपए के परिव्यय की घोषणा की गई है, जिन्हें राजस्व और रोज़गार सृजन की क्षमता के आधार पर चुना गया है।
- ये 14 क्षेत्र हैं- मोबाइल विनिर्माण, चिकित्सा उपकरणों का निर्माण, ऑटोमोबाइल और ऑटो घटक, फार्मास्यूटिकल्स, दवाएँ, विशेषतः इस्पात, दूरसंचार और नेटवर्किंग उत्पाद, इलेक्ट्रॉनिक उत्पाद, वाइट गुड्स (ACs and LEDs), खाद्य उत्पाद, कपड़ा उत्पाद, सौर पीवी मॉड्यूल, उन्नत रसायन सेल (ACC) बैटरी तथा ड्रोन और ड्रोन घटक।
- केंद्रीय बजट वर्ष 2021-22 में 14 प्रमुख क्षेत्रों में PLI योजनाओं के लिये 1.97 लाख करोड़ रुपए के परिव्यय की घोषणा की गई है, जिन्हें राजस्व और रोज़गार सृजन की क्षमता के आधार पर चुना गया है।