प्रारंभिक परीक्षा
राष्ट्रीय खेल पुरस्कार 2021
हाल ही में युवा कार्यक्रम और खेल मंत्रालय द्वारा राष्ट्रीय खेल पुरस्कार 2021 की घोषणा की गई।
- भारत के राष्ट्रीय खेल पुरस्कारों में केंद्र सरकार द्वारा भारत के खिलाड़ियों को दिये जाने वाले छह अलग-अलग पुरस्कार शामिल हैं।
प्रमुख बिंदु
- परिचय:
- मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार:
- इस पुरस्कार को पहले राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार के रूप में जाना जाता था, यह भारत में किसी खिलाड़ी को दिया जाने वाला सर्वोच्च खेल सम्मान है और इसे वर्ष 1991-92 में स्थापित किया गया था।
- यह विगत चार वर्ष की अवधि में किसी खिलाड़ी द्वारा खेल के क्षेत्र में शानदार एवं सबसे उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिये दिया जाने वाला सर्वोच्च खेल पुरस्कार है।
- इस पुरस्कार में एक पदक, एक प्रमाण पत्र और 25 लाख रुपए का नकद पुरस्कार शामिल है।
- अर्जुन पुरस्कार:
- इसे वर्ष 1961 में भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय खेल आयोजनों में उत्कृष्ट उपलब्धि को मान्यता देने के लिये स्थापित किया गया था।
- यह विगत चार वर्षों की अवधि में अच्छे प्रदर्शन और नेतृत्व, खेल भावना एवं अनुशासन की भावना बनाए रखने वाले खिलाडियों को दिया जाता है।
- इस पुरस्कार के विजेता को 15 लाख रुपए का नकद पुरस्कार, अर्जुन की एक कांस्य प्रतिमा और एक प्रमाण/सम्मान पत्र प्रदान किया जाता है।
- द्रोणाचार्य पुरस्कार:
- इसे वर्ष 1985 में भारत सरकार द्वारा खेलों में उत्कृष्ट प्रशिक्षण को मान्यता देने के लिये स्थापित किया गया था।
- यह कोचों को सुसंगत आधार पर उत्कृष्ट और मेधावी कार्य करने और खिलाड़ियों को अंतर्राष्ट्रीय आयोजनों में उत्कृष्ट स्थान प्राप्त करने में सक्षम बनाने के लिये दिया जाता है।
- इसमें 15 लाख रुपए का नकद पुरस्कार, द्रोणाचार्य की एक कांस्य प्रतिमा और प्रमाण/सम्मान पत्र प्रदान किया जाता है।
- ध्यानचंद पुरस्कार:
- इस पुरस्कार की शुरुआत वर्ष 2002 में हुई थी। इस पुरस्कार के विजेता को ध्यानचंद की एक प्रतिमा, एक प्रमाण पत्र, औपचारिक पोशाक और 10 लाख रुपए का नकद पुरस्कार दिया जाता है।
- यह उन खिलाड़ियों को सम्मानित करने के लिये दिया जाता है जिन्होंने अपने प्रदर्शन से खेल में योगदान दिया है और सेवानिवृत्ति के बाद भी खेल आयोजनों को बढ़ावा देने में योगदान देना जारी रखा है।
- मौलाना अबुल कलाम आज़ाद ट्राफी:
- इसकी स्थापना वर्ष 1956-57 में हुई थी।
- यह विश्वविद्यालय स्तर के खेल प्रदर्शन के लिये दी जाती है।
- यह विगत एक वर्ष की अवधि में 'अंतर-विश्वविद्यालयी टूर्नामेंटों में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन' करने वाले विश्वविद्यालय को दी जाती है।
- राष्ट्रीय खेल प्रोत्साहन पुरस्कार:
- इसकी स्थापना वर्ष 2009 में हुई थी।
- यह उन कॉरपोरेट संस्थाओं (निजी और सार्वजनिक दोनों क्षेत्रों में), खेल नियंत्रण बोर्डों, राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर खेल निकायों सहित गैर-सरकारी संगठनों को दिया जाता है जिन्होंने खेलों के प्रोत्साहन और विकास के क्षेत्र में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
- मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार:
- खेलों के विकास के लिये सरकार की प्रमुख पहलें:
- खेलो इंडिया योजना।
- राष्ट्रीय खेल विकास कोष।
- राष्ट्रीय खेल प्रतिभा प्रतियोगिता (NSTC) योजना।
- भारतीय खेल प्राधिकरण प्रशिक्षण केंद्र योजना (STC)।
- विशेष क्षेत्र खेल (SAG) योजना।
प्रारंभिक परीक्षा
मोल्नुपिरवीर : कोविड -19 हेतु एक औषधि
हाल ही में एक ओरल ड्रग मोल्नुपिरवीर (Molnupiravir) के तीसरे चरण के परीक्षण में दावा किया गया है कि यह कोविड-19 रोगियों में अस्पताल में भर्ती होने के जोखिम को 50 फीसदी तक कम कर सकती है।
- भारत में ऑप्टिमस ग्रुप ने हाल ही में तीसरे चरण के क्लिनिकल परीक्षणों के परिणामों की घोषणा की, जिसमें पाया गया कि 91.5% रोगियों ने आरटी-पीसीआर (रिवर्स ट्रांसक्रिप्शन पोलीमरेज़ चेन रिएक्शन) का परीक्षण किया, जो नकारात्मक था।
प्रमुख बिंदु
- मोल्नुपिरवीर:
- यह व्यापक स्पेक्ट्रम एंटीवायरल दवाओं के एक वर्ग से संबंधित है जिसे न्यूक्लियोसाइड एनालॉग्स (Nucleoside Analogues) कहा जाता है।
- वे वायरल आरएनए (राइबोन्यूक्लिक एसिड) पोलीमरेज़ के कार्य में हस्तक्षेप करते हैं - जो एंजाइम होते हैं जिनसे संक्रमित कोशिकाओं में नए वायरल आरएनए बनते हैं।
- आरएनए राइबोन्यूक्लियोटाइड्स का एक बहुलक और एक महत्त्वपूर्ण जैविक मैक्रोमोलेक्यूल है जो सभी जैविक कोशिकाओं में मौजूद होता है।
- यह मुख्य रूप से प्रोटीन के संश्लेषण में शामिल होता है, जो डीऑक्सीराइबोन्यूक्लिक एसिड (डीएनए) से संदेशवाहक निर्देशों को ले जाता है, जिसमें स्वयं जीवन के विकास और रखरखाव के लिये आवश्यक आनुवंशिक निर्देश होते हैं।
- यह वायरस को अपने स्वयं के आरएनए की प्रतिलिपि बनाते समय त्रुटियों को उत्पन्न करने का काम करता है, जो उत्परिवर्तन को उजागर कर प्रतिकृति को रोकता है।
- शुरू में इन्फ्लूएंज़ा वायरस के लिये एक दवा के रूप में इसका आविष्कार किया गया था।
- क्रियाविधि:
- ये औषधि मानव कोशिकाओं के अंदर वायरस की प्रतिकृति की प्रक्रिया को रोकने का काम करती हैं।
- एक वायरस एक जैविक एजेंट होता है जो एक मेज़बान सेल के अंदर आत्म-प्रतिकृति बना सकता है। वायरस द्वारा संक्रमित कोशिकाएँ असाधारण दर पर मूल वायरस की हज़ारों नई क्लोनिंग तैयार कर सकती हैं।
- यह महत्त्वपूर्ण एंजाइमों को बदल देता है जो मानव शरीर की कोशिकाओं में प्रतिकृति हेतु वायरस के लिये आवश्यक होते है।
- अभी तक औषधि के लिये आपातकालीन उपयोग प्राधिकरण की प्रतीक्षा की जा रही है, लेकिन वर्तमान में 5 दिनों के अंतराल पर दवा की एक खुराक ली जा सकती है।
विविध
Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 05 नवंबर, 2021
बुकर पुरस्कार
दक्षिण अफ्रीका के उपन्यासकार डेमोन गैलगट को उनके उपन्यास ‘द प्रॉमिस’ के लिये वर्ष 2021 के ‘बुकर पुरस्कार’ से सम्मानित किया गया। ज्ञात हो कि डेमोन गैलगट को वर्ष 2003 और वर्ष 2010 में भी इस पुरस्कार के लिये नामित किया गया था। डेमोन गैलगट वर्ष 1999 के बाद दक्षिण अफ्रीका से यह पुरस्कार जीतने वाले पहले विजेता हैं। डेमोन गैलगट का उपन्यास ‘द प्रॉमिस’ एक श्वेत अफ्रीकी परिवार की कहानी है, जिन्होंने अपनी अश्वेत घरेलू सहायक को घर देने का वादा किया है। बुकर पुरस्कार अंग्रेज़ी साहित्य का सबसे प्रतिष्ठित पुरस्कार है, जो कि सर्वोत्तम अंग्रेज़ी उपन्यास को दिया जाता है, जिसका प्रकाशन यूनाइटेड किंगडम (UK) या आयरलैंड में होता है। इस पुरस्कार की शुरुआत वर्ष 1969 में अंग्रेज़ी में प्रकाशित उपन्यासों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से की गई थी। इस पुरस्कार के तहत विजेताओं को 50 हज़ार पाउंड की राशि प्रदान की जाती है। बीते वर्ष स्कॉटलैंड के लेखक डगलस स्टुअर्ट को उनके पहले उपन्यास ‘शुग्गी बैन’ के लिये बुकर पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
विश्व सुनामी जागरूकता दिवस
अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रत्येक वर्ष 5 नवंबर को ‘विश्व सुनामी जागरूकता दिवस’ का आयोजन किया जाता है, जिसका उद्देश्य आम लोगों को सुनामी जैसी घातक आपदा के बारे में जागरूक करना है। संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट के मुताबिक, इस घातक आपदा के कारण पिछली एक सदी में लाखों लोगों की मृत्यु हुई है। संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, ‘सुनामी’ (Tsunami) शब्द की उत्पत्ति जापान से हुई है, जहाँ ‘सु’ (Tsu) शब्द का अर्थ है ‘बंदरगाह’ (Harbour) और ‘नामी’ (Nami) का अर्थ है ‘लहर’ (Waves)। प्रायः तीव्र भूकंप के दौरान समुद्री प्लेट कई मीटर तक खिसक जाती है, फलस्वरूप समुद्री सतह पर ज़बरदस्त उथल-पुथल मचती है और इस कारण सागर की सतह पर जल बड़ी-बड़ी लहरों के रूप में उठता है। यद्यपि महासागरों में ये बहुत कम ऊँचाई की होती हैं, किंतु जैसे-जैसे ये किनारों की ओर बढ़ती हैं तो इनकी ऊँचाई और तीव्रता बढ़ती जाती है। यही तीव्र और ऊँची लहरें धरातल पर सुनामी कहलाती हैं। वर्ष 2004 में हिंद महासागर में आई सबसे घातक सुनामी के बाद संयुक्त राष्ट्र महासभा ने प्रत्येक वर्ष 5 नवंबर को विश्व सुनामी जागरूकता दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया था।
'जनसेवक' योजना और 'जनस्पंदन' प्लेटफॉर्म
कर्नाटक के मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने हाल ही में नागरिकों को तकरीबन 58 सरकारी सेवाओं तक पहुँच प्रदान करने हेतु 'जनसेवक' नामक योजना की शुरुआत की है। पहले चरण के दौरान यह योजना बंगलूरू के सभी 198 नगरपालिका वार्डों में लागू की जाएगी। इस योजना के माध्यम से सरकार का लक्ष्य आम लोगों को घर पर ही सरकारी सेवाएँ प्रदान करना है। कार्यक्रम के तहत जाति प्रमाण पत्र, संपत्ति खाता प्रमाण पत्र, वृद्धावस्था और विधवा पेंशन योजना जैसी विभिन्न सेवाएँ प्रदान की जाएंगी। इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री ने 'जनस्पंदन' नामक एक एकीकृत लोक शिकायत निवारण प्रणाली भी शुरू की है। इस प्रणाली के माध्यम से सरकार द्वारा नागरिकों को किसी भी सरकारी योजना या सेवा की शिकायत करने के लिये एक वन-स्टॉप प्लेटफॉर्म प्रदान किया जाएगा।
आकाश कुमार
भारतीय मुक्केबाज़ आकाश कुमार (54 किग्रा) ने एआईबीए पुरुष विश्व मुक्केबाज़ी चैंपियनशिप में ‘कांस्य पदक’ जीता है। गौरतलब है कि ‘इंटरनेशनल बॉक्सिंग एसोसिएशन’ द्वारा आयोजित इस चैंपियनशिप को दुनिया की सबसे बड़ी मुक्केबाज़ी स्पर्द्धाओं में से एक माना जाता है, जिसमें भारत ने अब तक कुल छह पदक जीते हैं, इसमें अमित पंघाल (2019 में रजत), विजेंदर सिंह (2009 में कांस्य), विकास कृष्ण (2011 में कांस्य), शिव थापा (2015 में कांस्य), गौरव बिधूड़ी (2017 में कांस्य) और मनीष कौशिक (2019 में कांस्य) शामिल हैं। गौरतलब है कि ‘एआईबीए पुरुष विश्व मुक्केबाज़ी चैंपियनशिप’ अंतर्राष्ट्रीय मुक्केबाज़ी संघ (AIBA) द्वारा आयोजित द्विवार्षिक मुक्केबाज़ी प्रतियोगिता है। इस चैंपियनशिप का आयोजन पहली बार वर्ष 1974 में हवाना, क्यूबा में किया गया था।