हरियाणा Switch to English
हरियाणा की पहली 'ड्रोन दीदी'
चर्चा में क्यों?
हाल ही में शर्मिला और हिमांशी, हरियाणा की पहली 'ड्रोन दीदी' बनी हैं। वे कृषि में अपने योगदान के माध्यम से ग्रामीण समुदायों को सशक्त बनाते हुए अन्य महिलाओं और लड़कियों को प्रेरित करते हैं।
मुख्य बिंदु:
- विकसित भारत संकल्प यात्रा की महिला लाभार्थियों के साथ बातचीत के बाद 30 नवंबर, 2023 को प्रधानमंत्री द्वारा ड्रोन दीदी पहल शुरू की गई थी।
- इसका लक्ष्य अगले दो वर्षों में 15,000 महिला स्वयं सहायता समूहों को कृषि उद्देश्यों के लिये किसानों को किराए पर देने हेतु ड्रोन प्रदान करना है।
- पहल के तहत महिला लाभार्थियों को ड्रोन पायलट बनने के लिये प्रशिक्षित किया जाता है।
- प्रशिक्षित महिला ड्रोन पायलट किसानों को उर्वरक छिड़काव, बीज बोने और फसल की निगरानी जैसे विभिन्न कृषि कार्यों में सहायता करेंगी। इससे ग्रामीण महिलाओं को अपने कौशल का उपयोग करके आय उत्पन्न करने में सहायता मिलेगी।
- इस पहल का उद्देश्य भारतीय कृषि पद्धतियों को आधुनिक बनाना और ग्रामीण महिलाओं को अत्याधुनिक तकनीक उपलब्ध कराकर उत्पादकता बढ़ाना है।
- यह योजना 15,000 महिला SHG को कवर करेगी, जिन्हें केंद्र की दीनदयाल अंत्योदय योजना के तहत गठित 89 लाख SHG में से पहचाना जाएगा और उन्हें एक स्थायी व्यवसाय मॉडल तथा आजीविका सहायता प्रदान की जाएगी।
- केंद्र प्रत्येक SHG को ड्रोन की लागत के लिये 80% या अधिकतम 8 लाख रुपए तक सब्सिडी प्रदान करेगा। इससे उन्हें प्रति व्यक्ति लगभग 1 लाख रुपए की अतिरिक्त आय होने की उम्मीद है।
स्वयं सहायता समूह (SHG)
- स्वयं सहायता समूह (SHG) कुछ ऐसे लोगों का एक अनौपचारिक संघ होता है जो अपने रहन-सहन की परिस्थितियों में सुधार करने के लिये स्वेच्छा से एक साथ आते हैं।
- भारत में SHG की उत्पत्ति का पता वर्ष 1970 में स्व-रोज़गार महिला संघ (SEWA) के गठन से लगाया जा सकता है।
- वर्ष 1992 में राष्ट्रीय कृषि और ग्रामीण विकास बैंक द्वारा शुरू की गई SHG बैंक लिंकेज परियोजना विश्व की सबसे बड़ी माइक्रोफाइनेंस परियोजना बन गई है।
- नाबार्ड ने RBI के साथ मिलकर वर्ष 1993 से SHG को बैंकों में बचत खाता रखने की अनुमति दी। इस कार्रवाई से SHG को काफी बढ़ावा मिला और SHG-बैंक लिंकेज कार्यक्रम का मार्ग प्रशस्त हुआ।
- वर्ष 1999 में, भारत सरकार ने SHG के गठन और कौशल के माध्यम से ग्रामीण क्षेत्रों में स्वरोज़गार को बढ़ावा देने के लिये स्वर्ण जयंती ग्राम स्वरोज़गार योजना (SGSY) की शुरुआत की।
- यह कार्यक्रम वर्ष 2011 में एक राष्ट्रीय आंदोलन के रूप में विकसित हुआ और राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (NRLM) विश्व का सबसे बड़ा गरीबी उन्मूलन कार्यक्रम बन गया।
- आज, राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन (SRLM) 29 राज्यों और 5 केंद्रशासित प्रदेशों (दिल्ली और चंडीगढ़ को छोड़कर) में चालू हैं।
- NRLM ने गरीबों को वित्तीय साक्षरता, बैंक खाता, बचत, ऋण, बीमा, प्रेषण, पेंशन और वित्तीय सेवाओं पर परामर्श जैसी किफायती लागत प्रभावी विश्वसनीय वित्तीय सेवाओं तक सार्वभौमिक पहुँच की सुविधा प्रदान की।
दीनदयाल अंत्योदय योजना-राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (NRLM)
- यह वर्ष 2011 में ग्रामीण विकास मंत्रालय (MoRD) द्वारा शुरू किया गया एक केंद्र प्रायोजित कार्यक्रम है।
- मिशन का उद्देश्य ग्रामीण गरीबों के लिये कुशल और प्रभावी संस्थागत मंच तैयार करना है, जिससे उन्हें स्थायी आजीविका वृद्धि तथा वित्तीय सेवाओं तक बेहतर पहुँच के माध्यम से घरेलू आय बढ़ाने में सक्षम बनाया जा सके।
- यह सबसे गरीब और सबसे कमज़ोर समुदायों को लक्षित करने तथा उनके वित्तीय समावेशन पर विशेष ज़ोर देता है।
- यह पंचायती राज संस्थानों (PRI) और समुदाय आधारित संगठनों (CBO) के बीच पारस्परिक रूप से लाभप्रद कामकाजी संबंधों व परामर्श हेतु औपचारिक मंच प्रदान करता है।
हरियाणा Switch to English
प्रधानमंत्री ने हरियाणा में द्वारका एक्सप्रेसवे का उद्घाटन किया
चर्चा में क्यों?
हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने द्वारका एक्सप्रेसवे के पहले 8-लेन खंड के हरियाणा खंड का उद्घाटन किया।
मुख्य बिंदु:
- 4,100 करोड़ रुपए की लागत से पूरा हुआ यह नवनिर्मित 19 किमी. लंबा हिस्सा, राष्ट्रीय राजमार्ग (NH)- 48 पर यातायात प्रवाह को बढ़ाने तथा भीड़भाड़ को कम करने के लिये डिज़ाइन किया गया है, जो दिल्ली और गुरुग्राम के बीच सुगम कनेक्टिविटी प्रदान करता है।
- उद्घाटन खंड में दिल्ली-हरियाणा सीमा से बसई रेल-ओवर-ब्रिज (ROB) तक 10.2 किमी. की दूरी और बसई ROB से खेड़की दौला तक 8.7 किमी. का अतिरिक्त खंड शामिल है।
- यह सड़क मार्ग दिल्ली में इंदिरा गांधी अंतर्राष्ट्रीय (IGI) हवाई अड्डे और गुरुग्राम बाईपास के बीच सीधा लिंक स्थापित करता है।
- द्वारका एक्सप्रेसवे के बारे में मुख्य बातें:
- 9,000 करोड़ रुपए के बजट से डिज़ाइन किया गया द्वारका एक्सप्रेसवे चार भागों में विभाजित है।
- गुरुग्राम में तीसरा और चौथा खंड है, जो लगभग 19 किमी. को कवर करता है, जबकि पहले दो खंड, कुल 10 किमी. दिल्ली में स्थित हैं।
- यह पूरी तरह से एक्सेस-नियंत्रित ग्रेड-पृथक 14-लेन एक्सप्रेसवे के रूप में खड़ा है, जो देश में एक अग्रणी पहल का प्रतीक है।
- भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण के अनुसार पूरी परियोजना अगस्त 2024 तक समाप्त होने वाली है।
भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (NHAI)
- NHAI की स्थापना NHAI अधिनियम, 1988 के तहत की गई थी। यह सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय के प्रशासनिक नियंत्रण में है।
- इसे राष्ट्रीय राजमार्ग विकास परियोजना (NHDP) के साथ-साथ विकास, रखरखाव और प्रबंधन के लिये अन्य छोटी परियोजनाओं को सौंपा गया है।
- राष्ट्रीय राजमार्ग विकास परियोजना (NHDP) भारत में प्रमुख राजमार्गों को उच्च स्तर पर उन्नत, पुनर्व्यवस्थित और चौड़ा करने की एक परियोजना है। यह परियोजना वर्ष 1998 में शुरू की गई थी।
- NHAI का प्रमुख दृष्टिकोण वैश्विक मानकों के अनुसार, राष्ट्रीय राजमार्ग नेटवर्क की व्यवस्था एवं अनुरक्षण के लिये राष्ट्र की आवश्यकता तथा भारत सरकार द्वारा निर्धारित महत्त्वपूर्ण नीतिगत ढाँचे के अंतर्गत अत्यंत समयबद्व व लागत प्रभावी तरीके से प्रयोक्तता की आशाओं को पूरा करना और इस तरह लोगों की आर्थिक समृद्धि एवं उनके जीवन स्तर को उन्नत करना है।
झारखंड Switch to English
झारखंड को तीसरी वंदे भारत एक्सप्रेस मिली
चर्चा में क्यों?
हाल ही में पीएम ने तीसरी वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन का उद्घाटन किया, जो झारखंड की राजधानी रांची और उत्तर प्रदेश के वाराणसी के बीच संचालित होगी।
मुख्य बिंदु:
- देश भर में कई अन्य रेलवे परियोजनाओं के अनावरण के साथ-साथ पीएम ने अहमदाबाद से सेमी-हाई-स्पीड ट्रेन को हरी झंडी दिखाई।
- राज्यपाल के अनुसार रांची स्टेशन के सौंदर्यीकरण और विभिन्न सुविधाओं की स्थापना के लिये राज्य में 350 करोड़ रुपए की परियोजनाएँ चल रही हैं।
- राज्य की पहली वंदे भारत एक्सप्रेस रांची-पटना रूट पर शुरू हुई, जिसे 27 जून, 2023 को हरी झंडी दिखाई गई।
- रांची और हावड़ा के बीच दूसरी वंदे भारत एक्सप्रेस को 24 सितंबर 2023 को शुरू किया गया।
- पीएम ने रांची-बोंडामुंडा रेलवे लाइन का भी उद्घाटन किया और रांची, हटिया, गोविंदपुर रोड, इटकी, मुरी, पिस्का, सिल्ली, टांगरबासुली, तातीसिलवाई स्टेशनों, बरकाकाना, रांची रोड एवं प्रधानखंता स्टेशनों पर 'एक स्टेशन एक उत्पाद' योजना के तहत स्टॉलों का भी उद्घाटन किया।
‘एक स्टेशन एक उत्पाद’ योजना
- यह रेल मंत्रालय के अधीन भारतीय रेलवे की एक पहल है।
- इसे 25 मार्च, 2022 को 'वोकल फॉर लोकल' को बढ़ावा देने के दृष्टिकोण से लॉन्च किया गया था।
- यह स्थानीय लोगों को देश भर में स्वदेशी उत्पाद बेचने के लिये विशिष्ट रूप से डिज़ाइन किये गए बिक्री आउटलेट प्रदान करता है।
- यह योजना नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ डिज़ाइन, अहमदाबाद द्वारा डिज़ाइन की गई है।
- इसका उद्देश्य प्रत्येक रेलवे स्टेशन को एक प्रचार केंद्र के रूप में बनाना और स्थानीय एवं स्वदेशी विनिर्माण उत्पादों का प्रदर्शन करना है।
वंदे भारत ट्रेन
- यह एक स्वदेशी रूप से डिज़ाइन और निर्मित सेमी हाई स्पीड, स्व-चालित ट्रेन है जिसे राजधानी ट्रेनों की शुरुआत के बाद से गति एवं यात्री सुविधा के मामले में भारतीय रेलवे के लिये अगली बड़ी उपलब्धि माना जाता है।
- पहली वंदे भारत का निर्माण इंटीग्रल कोच फैक्ट्री ((ICF), चेन्नई द्वारा 'मेक इन इंडिया' कार्यक्रम के तहत लगभग 100 करोड़ रुपए की लागत से किया गया था।
- वंदे भारत अलग-अलग इंजनों द्वारा खींचे जाने वाले यात्री डिब्बों की पारंपरिक प्रणालियों की तुलना में ट्रेन सेट तकनीक को अपनाने का भारत का पहला प्रयास था।
- ट्रेन सेट कॉन्फ़िगरेशन, हालाँकि जटिल है, तेज़ है, रखरखाव में आसान है, कम ऊर्जा की खपत करता है और ट्रेन संचालन में अधिक लचीला है।
बिहार Switch to English
बिहार में नई वंदे भारत एक्सप्रेस
चर्चा में क्यों?
हाल ही में प्रधानमंत्री ने दो नई वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनों के साथ राज्य में कई रेलवे परियोजनाओं का अनावरण किया।
मुख्य बिंदु:
- ये अहमदाबाद से वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से पीएम द्वारा अनावरण की गई 85,000 करोड़ रुपए की परियोजनाओं में से एक थीं।
- दो नई वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेनें पटना-गोमती नगर और पटना-न्यू जलपाईगुड़ी रूट पर संचालित की जाएंगी।
- पटना-गोमती नगर वंदे भारत का पड़ाव वाराणसी और अयोध्या धाम के तीर्थ नगरों में होगा, जबकि तीसरी वंदे भारत, जिसे भी हरी झंडी दिखाई गई, रांची से वाराणसी के रास्ते में गया में रुकेगी।
- पीएम ने नरकटियागंज में वाशिंग पिट सह कोचिंग कॉम्प्लेक्स का शिलान्यास किया।
- उन्होंने उद्घाटन किया:
- ईस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर का न्यू चिरैला पौथु-न्यू सोन नगर-न्यू दीन दयाल उपाध्याय (DDU) खंड।
- गति शक्ति कार्गो टर्मिनल, पटना और दरभंगा में जन औषधि दवा भंडार, आरा तथा मुजफ्फरपुर में गुड्स शेड एवं वाशिंग पिट लाइनें।
- 'एक स्टेशन एक उत्पाद योजना' आउटलेट जो स्थानीय छोटे किसानों और कारीगरों को बढ़ावा देंगे।
उत्तराखंड Switch to English
उत्तराखंड ने रोज़गारोन्मुख उद्योगों के लिये सब्सिडी की घोषणा की
चर्चा में क्यों?
हाल ही में उत्तराखंड सरकार ने राज्य भर में अस्पताल, स्कूल, होटल, फिल्म सिटी जैसे रोज़गारोन्मुखी उद्योग स्थापित करने के लिये 100 करोड़ रुपए तक की सब्सिडी देने का फैसला किया।
मुख्य बिंदु:
- सूत्रों के अनुसार, पहाड़ी इलाकों में निवेश की न्यूनतम सीमा 50 करोड़ रुपए और मैदानी इलाकों के लिये 100 करोड़ रुपए रखी गई है।
- इस नीति के तहत स्थापित होने वाले औद्योगिक संस्थानों को कुल लागत का 25% या अधिकतम 100 करोड़ रुपए की सब्सिडी दी जाएगी।
- प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद सब्सिडी पाँच चरणों में दी जाएगी।
- यह नीति राज्य में 31 दिसंबर 2030 तक लागू रहेगी।
- अटल आयुष्मान योजना के तहत डायलिसिस का लाभ लेने पर 100% चिकित्सा प्रतिपूर्ति को स्वीकृति दी गई है।
- कैबिनेट ने हर्रावाला में कैंसर अस्पताल और मातृ-शिशु चिकित्सा संस्थान को पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) के माध्यम से संचालित करने की भी स्वीकृति दे दी है।
- उच्च शिक्षा विभाग के अंतर्गत पीएचडी करने वाले 100 मेधावी विद्यार्थियों को 5000 रुपए प्रतिमाह छात्रवृत्ति प्रदान करने की स्वीकृति दी गई है।
आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री-जन आरोग्य योजना (AB PM-JAY)
- यह पूरी तरह से सरकार द्वारा वित्तपोषित विश्व की सबसे बड़ी स्वास्थ्य बीमा योजना है।
- इसे फरवरी 2018 में लॉन्च किया गया, यह माध्यमिक देखभाल और तृतीयक देखभाल के लिये प्रति परिवार 5 लाख रुपए की बीमा राशि प्रदान करती है।
- स्वास्थ्य लाभ पैकेज में सर्जरी, चिकित्सा और डे केयर उपचार, दवाओं तथा निदान की लागत शामिल है।
राजस्थान Switch to English
तेजस राजस्थान में जैसलमेर के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया
चर्चा में क्यों?
हाल ही में एक हल्का लड़ाकू विमान तेजस एक ऑपरेशनल ट्रेनिंग सॉर्टी के दौरान राजस्थान के जैसलमेर के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया। स्वदेश निर्मित जेट से जुड़ी यह पहली ऐसी घटना है।
- पायलट को सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया और कोई हताहत नहीं हुआ।
मुख्य बिंदु:
- दुर्घटना पोखरण रेगिस्तान से लगभग 100 किमी. दूर हुई, जहाँ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और शीर्ष सैन्य अधिकारियों की उपस्थिति में एक मेगा युद्ध खेल 'भारत शक्ति' चल रहा था।
- सैन्य सूत्रों ने संकेत दिया कि तेजस जेट को इस अभ्यास का हिस्सा बनना था।
- तेजस विमान हवाई युद्ध और आक्रामक हवाई सहायता मिशनों के लिये एक शक्तिशाली मंच है, जबकि टोही तथा जहाज़-रोधी अभियान इसकी माध्यमिक भूमिकाएँ हैं।
- इसका निर्माण सरकारी एयरोस्पेस दिग्गज हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) द्वारा किया गया है।
- फरवरी 2021 में, रक्षा मंत्रालय ने भारतीय वायु सेना के लिये 83 तेजस MK-1A जेट की खरीद हेतु हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड के साथ 48,000 करोड़ रुपए का सौदा किया।
भारत शक्ति
- यह सेना, वायु सेना और नौसेना की मारक क्षमता का प्रदर्शन करने वाला एक महत्त्वपूर्ण त्रि-सेवा अभ्यास है।
- पोखरण फील्ड फायरिंग रेंज में भारत-शक्ति नाम के अभ्यास में।
- इस अभ्यास में केवल स्वदेशी रूप से विकसित हथियार प्लेटफॉर्म और सिस्टम शामिल हैं।
- अभ्यास में CDS जनरल अनिल चौहान समेत तीनों सेनाओं के शीर्ष अधिकारी शामिल हुए।
- इस अभ्यास के दौरान आत्मनिर्भर भारत की संकल्पना देखने को मिली।
हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL)
- यह एक भारतीय सार्वजनिक क्षेत्र की एयरोस्पेस और रक्षा कंपनी है, जिसका मुख्यालय बैंगलोर में है।
- 23 दिसंबर 1940 को स्थापित, HAL विश्व के सबसे पुराने, सबसे बड़े एयरोस्पेस और रक्षा निर्माताओं में से एक है।
- यह रक्षा मंत्रालय के प्रबंधन के तहत शासित होता है।
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