रिवर डॉल्फिन के लिये वैश्विक घोषणा | 06 Nov 2023
स्रोत: वर्ल्ड वाइड फंड
हाल ही में 11 एशियाई और दक्षिण अमेरिकी देशों ने विश्व की रिवर डॉल्फिन की छह जीवित प्रजातियों को विलुप्त होने से बचाने के लिये बोगोटा, कोलंबिया में एक ऐतिहासिक समझौते पर हस्ताक्षर किये।
- 1980 के दशक के बाद से रिवर डॉल्फिन की संख्या में आश्चर्यजनक रूप से 73% की गिरावट आई है, यह ऐतिहासिक समझौता इस गंभीर स्थिति के खिलाफ लड़ाई में आशा की एक किरण का प्रदान करता है।
रिवर डॉल्फिन के लिये वैश्विक घोषणा:
- परिचय:
- रिवर डॉल्फिन के लिये वैश्विक घोषणा का उद्देश्य सभी रिवर डॉल्फिन प्रजातियों की गिरावट को रोकना और ठोस प्रयासों के माध्यम से सबसे कमज़ोर आबादी को मज़बूत करना है।
- यह घोषणा गिलनेट को खत्म करने, प्रदूषण को कम करने, अनुसंधान पहल का विस्तार करने और रिवर डॉल्फिन प्रजातियों की सुरक्षा हेतु संरक्षित क्षेत्र बनाने जैसे उपायों की रूपरेखा तैयार करने में सहायता करती है।
- इस घोषणा को अपनाने वाले देशों में शामिल हैं: बांग्लादेश, बोलीविया, ब्राज़ील, कंबोडिया, कोलंबिया, इक्वाडोर, भारत, नेपाल, पाकिस्तान, पेरू और वेनेज़ुएला।
- इंडोनेशिया में क्षेत्रीय सरकार का एक प्रतिनिधि भी है जिसके पास महाकम नदी की ज़िम्मेदारी है।
- रिवर डॉल्फिन के लिये वैश्विक घोषणा का उद्देश्य सभी रिवर डॉल्फिन प्रजातियों की गिरावट को रोकना और ठोस प्रयासों के माध्यम से सबसे कमज़ोर आबादी को मज़बूत करना है।
- मूलभूत स्तंभ:
- रिवर डॉल्फिन के लिये वैश्विक घोषणा के आठ मूलभूत स्तंभों में संरक्षित क्षेत्रों का एक नेटवर्क स्थापित करना, नदी डॉल्फिन साइट प्रबंधन में सुधार, अनुसंधान और निगरानी प्रयासों का विस्तार, स्थानीय समुदायों एवं व्यक्तियों को शामिल करना, अस्थिर मत्स्यन प्रथाओं को खत्म करना, जल की गुणवत्ता व मात्रा में वृद्धि को बढ़ावा देना शामिल है। विश्व रिवर डॉल्फिन दिवस 24 अक्तूबर को डॉल्फिन के बारे में जागरूकता और संसाधन आवंटन एवं भागीदारी बढ़ाने के लिये मनाया जाता है।
रिवर डॉल्फिन से जुड़े मुख्य तथ्य:
- परिचय:
- रिवर डॉल्फिन मीठे जल के केटासियन (Cetaceans) का एक समूह है जो एशिया और दक्षिण अमेरिका में विभिन्न नदी प्रणालियों में पाए जाते हैं।
- छह जीवित रिवर डॉल्फिन प्रजातियों में शामिल हैं: अमेज़न, गंगा, सिंधु, इरावदी, तुकुक्सी, और यांग्त्ज़ी फिनलेस पॉरपॉइज़।
- चीनी नदी डॉल्फिन को 2007 में 'संभवतः विलुप्त' माना गया था।
- IUCN की रेड लिस्ट के अनुसार, यांग्त्ज़ी फिनलेस पॉरपॉइज़ को गंभीर रूप से संकटग्रस्त जलीय जीव के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
- अमेज़न, गंगा, सिंधु, इरावदी और तुकुक्सी को संकटग्रस्त जलीय जीवों के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
नोट: यांग्त्ज़ी फिनलेस पॉरपॉइज़ विश्व की एकमात्र मीठे जल की पॉरपॉइज़ है, किंतु इसे 'रिवर डॉल्फिन्स ' नाम के तहत अन्य मीठे जल के केटासियन (Cetaceans) के अंतर्गत शामिल किया गया है।
- अमेज़न रिवर डॉल्फिन, जिसे पिंक रिवर डॉल्फिन अथवा बोटो के नाम से भी जाना जाता है, सबसे बड़ी रिवर डॉल्फिन है।
- रिवर डॉल्फिन्स द्वारा सामना की जाने वाली चुनौतियाँ:
- रिवर डॉल्फिन्स को विभिन्न कारकों से खतरा है, जिनमें मत्स्यपालन की अस्थिर प्रथाएँ, जलविद्युत बाँध निर्माण, विभिन्न उद्योगों, कृषि और खनन से प्रदूषण, साथ ही निवास स्थान का ह्रास शामिल है।
- इसके अतिरिक्त अमेज़न की सूखाग्रस्त लेक टेफे में हाल ही में 150 से अधिक रिवर डॉल्फिन की दुखद मौत जलवायु परिवर्तन से इन जलीय जीवों के अस्तित्व पर बढ़ते खतरे को उजागर करती है।
- सफल संरक्षण प्रयास:
- उदाहरण के लिये संयुक्त संरक्षण कार्रवाई के परिणामस्वरूप पाकिस्तान में सिंधु नदी डॉल्फिन की संख्या बढ़कर दोगुनी हो गई है।
- इसके अतिरिक्त सुरक्षात्मक उपायों के चलते यांग्त्ज़ी फिनलेस पॉरपॉइज़ की संख्या में 23% की वृद्धि दर्ज की गई।
- सिंधु और यांग्त्ज़ी जैसी सघन आबादी वाली नदी-घाटियों में संरक्षण प्रयासों को सफलता मिली है।
- इसके अलावा विश्व वन्यजीव कोष की इलेक्ट्रॉनिक पिंगर परियोजना के तहत इंडोनेशिया की महाकम नदी में 80 डॉल्फिन को गिल जाल से मुक्त कराया गया।
UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्नप्रश्न. निम्नलिखित में से कौन-सा भारत का राष्ट्रीय जलीय जीव है? (2015) (a) लवणीय जल का मगरमच्छ उत्तर: (c) |