राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत पहल | 10 Aug 2023
प्रिलिम्स के लिये:राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020, परख, पीएम-श्री, नेशनल क्रेडिट फ्रेमवर्क, निपुण भारत मिशन, अकादमिक और अनुसंधान सहयोग संवर्द्धन योजना मेन्स के लिये:राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 की मुख्य विशेषताएँ |
चर्चा में क्यों?
- हाल ही में शिक्षा राज्य मंत्री ने भारत में शिक्षा क्षेत्र में बदलाव के लिये राष्ट्रीय शिक्षा नीति (National Education Policy- NEP) 2020 के तहत की गई पहलों पर लोकसभा में महत्त्वपूर्ण जानकारी प्रदान की।
राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020:
- परिचय:
- NEP 2020 का लक्ष्य "भारत को एक वैश्विक ज्ञान महाशक्ति (Global Knowledge Superpower)" बनाना है। स्वतंत्रता के बाद से यह भारत के शिक्षा ढाँचे में तीसरा बड़ा सुधार है।
- पहले की दो शिक्षा नीतियाँ वर्ष 1968 और 1986 में लाई गई थीं।
- NEP 2020 का लक्ष्य "भारत को एक वैश्विक ज्ञान महाशक्ति (Global Knowledge Superpower)" बनाना है। स्वतंत्रता के बाद से यह भारत के शिक्षा ढाँचे में तीसरा बड़ा सुधार है।
- मुख्य विशेषताएँ:
- प्री-प्राइमरी स्कूल से कक्षा 12 तक स्कूली शिक्षा के सभी स्तरों पर सार्वभौमिक पहुँच सुनिश्चित करना।
- 3-6 वर्ष के बीच के सभी बच्चों के लिये गुणवत्तापूर्ण प्रारंभिक बचपन की देखभाल और शिक्षा सुनिश्चित करना।
- नई पाठ्यचर्या और शैक्षणिक संरचना (5+3+3+4) क्रमशः 3-8, 8-11, 11-14 एवं 14-18 वर्ष के आयु समूहों से सुमेलित है।
- इसमें स्कूली शिक्षा के चार चरण शामिल हैं: मूलभूत चरण (5 वर्ष), प्रारंभिक चरण (3 वर्ष), मध्य चरण (3 वर्ष) और माध्यमिक चरण (4 वर्ष)।
- कला तथा विज्ञान के बीच, पाठ्यचर्या व पाठ्येतर गतिविधियों के बीच, व्यावसायिक और शैक्षणिक धाराओं के बीच कोई सख्त अलगाव नहीं।
- बहुभाषावाद और भारतीय भाषाओं को बढ़ावा देने पर ज़ोर।
- एक नए राष्ट्रीय मूल्यांकन केंद्र, परख (प्रदर्शन मूल्यांकन, समीक्षा एवं समग्र विकास के लिये ज्ञान का विश्लेषण) की स्थापना।
- वंचित क्षेत्रों और समूहों के लिये एक भिन्न लैंगिक समावेशन निधि और विशेष शिक्षा क्षेत्र।
NEP 2020 के तहत प्रमुख पहलें:
- उभरते भारत के लिये PM स्कूल (SHRI): PM-SHRI योजना का उद्देश्य न्यायसंगत, समावेशी और मनोरंजक स्कूली वातावरण में उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा प्रदान करना है।
- यह देश भर में 14500 से अधिक स्कूलों के उन्नयन और विकास के लिये सितंबर 2022 में शुरू की गई एक केंद्र प्रायोजित योजना है।
- पीएम-श्री पहल के तहत स्कूलों को अपग्रेड करने के लिये 630 करोड़ रुपए आवंटित किये गए हैं।
- निपुण भारत: ‘बेहतर समझ और संख्यात्मक ज्ञान के साथ पढ़ाई में प्रवीणता के लिये राष्ट्रीय पहल- निपुण’ (National Initiative for Proficiency in Reading with Understanding and Numeracy- NIPUN) भारत मिशन का दृष्टिकोण मूलभूत साक्षरता तथा संख्यात्मकता के सार्वभौमिक अधिग्रहण को सुनिश्चित करने हेतु एक सक्षम वातावरण बनाना है ताकि प्रत्येक बच्चा वर्ष 2026-27 तक ग्रेड 3 के अंत तक पढ़ने, लिखने और संख्यात्मकता में वांछित सीखने की दक्षता हासिल कर सके।
- पीएम ई-विद्या: इस पहल का उद्देश्य दीक्षा जैसे विभिन्न ई-लर्निंग प्लेटफॉर्म प्रदान करके और देश भर के छात्रों को ई-पुस्तकें तथा ई-सामग्री प्रदान कर ऑनलाइन शिक्षा एवं डिजिटल शिक्षण को बढ़ावा देना है।
- NCF FS और जादुई पिटारा: 3 से 8 वर्ष की आयु के बच्चों हेतु खेल-आधारित अध्ययन की शिक्षण सामग्री हेतु मूलभूत चरण के लिये राष्ट्रीय पाठ्यचर्या की रूपरेखा (National Curriculum Framework for Foundational Stag- NCF FS) और जादुई पिटारा शुरू की गई है।
- निष्ठा: 'नेशनल इनीसिएटिव फॉर स्कूल हेड्स एंड टीचर्स होलीस्टिक एडवांसमेंट’ अर्थात् निष्ठा (National Initiative for School Heads and Teachers Holistic Advancement- NISHTHA) भारत में शिक्षकों और स्कूल प्रधानाचार्यों के लिये एक क्षमता-निर्माण कार्यक्रम है।
- नेशनल डिजिटल एजुकेशन आर्किटेक्चर (NDEAR): यह वास्तुशिल्प संबंधी ब्लूप्रिंट है, जो शिक्षा से संबंधित डिजिटल प्रौद्योगिकी-आधारित अनुप्रयोगों को सक्षम बनाने हेतु मार्गदर्शक सिद्धांतों का एक सेट तैयार करता है।
- शैक्षणिक रूपरेखा: क्रेडिट हस्तांतरण और शैक्षणिक लचीलेपन की सुविधा के लिये राष्ट्रीय क्रेडिट फ्रेमवर्क (NCrF) तथा राष्ट्रीय उच्च शिक्षा योग्यता फ्रेमवर्क (NHEQF) की शुरुआत।
- शिक्षा क्षेत्र में निवेश में वृद्धि: इस नीति के अनुसार, केंद्र सरकार और राज्य सरकारों दोनों को शिक्षा क्षेत्र के लिये सकल घरेलू उत्पाद का संयुक्त रूप से 6% आवंटित करना होगा।
- इस विज़न को ध्यान में रखते हुए शिक्षा मंत्रालय ने वर्ष 2020-21 के बजट की तुलना में 13.68% की वृद्धि के साथ वर्ष 2023-24 के लिये 1,12,899 करोड़ रुपए का बजट रखा है।
- अंतर्राष्ट्रीय परिसर/कैंपस और साझेदारी: राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 भारतीय विश्वविद्यालयों को विदेशों में परिसर स्थापित करने और विदेशी संस्थानों को भारत में संचालन के लिये आमंत्रित करने में सहायता करती है।
- ज़ांज़ीबार और अबू धाबी में IIT परिसरों की स्थापना के लिये समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये गए हैं, जो भारत की वैश्विक शैक्षिक पहुँच को दर्शाता है।
- गिफ्ट सिटी (GIFT City) में शैक्षिक नवाचार:
- NEP 2020 का नवाचारी दृष्टिकोण गुजरात के गिफ्ट सिटी में लागू किया गया है, जहाँ विश्व स्तरीय विदेशी विश्वविद्यालयों और संस्थानों को विशेष पाठ्यक्रम प्रदान करने की अनुमति प्राप्त है।
- घरेलू नियमों से मुक्त इस कदम का उद्देश्य वित्तीय सेवाओं और प्रौद्योगिकी के लिये उच्च-स्तरीय मानव संसाधनों का विकास करना है।
- NEP 2020 का नवाचारी दृष्टिकोण गुजरात के गिफ्ट सिटी में लागू किया गया है, जहाँ विश्व स्तरीय विदेशी विश्वविद्यालयों और संस्थानों को विशेष पाठ्यक्रम प्रदान करने की अनुमति प्राप्त है।
अन्य संबद्ध पहलें:
- विश्व स्तरीय संस्थान योजना: वर्ष 2017 में शुरू की गई विश्व स्तरीय संस्थान योजना का उद्देश्य किफायती, शीर्ष पायदान के शैक्षणिक और अनुसंधान केंद्रों का निर्माण करना है।
- यह योजना अकादमिक उत्कृष्टता को बढ़ावा देने के लिये "प्रतिष्ठित संस्थानों" (Institutions of Eminence- IoEs) को नामित करती है।
- अभी तक में आठ सार्वजनिक और चार निजी समेत 12 संस्थानों को चिह्नित किया गया है, जो विश्व स्तरीय शिक्षा प्रदान करने की भारत की प्रतिबद्धता का एक प्रमाण है।
- अकादमिक नेटवर्क के लिये वैश्विक पहल (Global Initiative for Academic Network- GIAN) और SPARC: GIAN भारत के शैक्षणिक संसाधनों को बेहतर बनाने के लिये भारतीय मूल के वैज्ञानिकों एवं उद्यमियों सहित अन्य वैज्ञानिकों व उद्यमियों की विशेषज्ञता का उपयोग करने पर केंद्रित है।
- अकादमिक और अनुसंधान सहयोग को बढ़ावा देने हेतु योजना (Scheme for Promotion of Academic and Research Collaboration- SPARC) भारतीय और विदेशी संस्थानों के बीच सहयोग को बढ़ावा देकर अनुसंधान पारिस्थितिकी तंत्र को बेहतर बनाने का प्रयास करती है।
- ये पहलें अनुसंधान की गुणवत्ता में वृद्धि करने और ज्ञान के आदान-प्रदान को बढ़ावा देने में अहम भूमिका निभाती हैं।
UPSC सिविल सेवा परीक्षा, विगत वर्ष के प्रश्नप्रिलिम्स:प्रश्न. संविधान के निम्नलिखित में से किस प्रावधान का भारत की शिक्षा पर प्रभाव पड़ता है? (2012)
नीचे दिये गए कूट का प्रयोग कर सही उत्तर चुनिये: (a) केवल 1 और 2 उत्तर- (d) मेन्स:प्रश्न. भारत में डिजिटल पहल ने किस प्रकार से देश की शिक्षा व्यवस्था के संचालन में योगदान किया है? विस्तृत उत्तर दीजिये। (2020) प्रश्न. जनसंख्या शिक्षा के मुख्य उद्देश्यों की विवेचना करते हुए भारत में इन्हें प्राप्त करने के उपायों पर विस्तृत प्रकाश डालिये। (2021) |