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विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

भारत ड्रोन महोत्सव 2022

  • 01 Jun 2022
  • 13 min read

प्रिलिम्स के लिये:

भारत ड्रोन महोत्सव 2022, ड्रोन प्रौद्योगिकी के अनुप्रयोग, ड्रोन नियम 2021, ड्रोन के लिये पीआईएल योजना, ड्रोन शक्ति योजना, स्वामित्व योजना, आई-ड्रोन 

मेन्स के लिये:

ड्रोन प्रौद्योगिकी के उपयोग को बढ़ावा देने के लिये सरकार की पहल 

चर्चा में क्यों?   

हाल ही में प्रधानमंत्री द्वारा भारत के सबसे बड़े ड्रोन महोत्सव- भारत ड्रोन महोत्सव 2022 का उद्घाटन नई दिल्ली में किया गया। 

  • ड्रोन पायलट सर्टिफिकेट का वर्चुअल अवार्ड, पैनल डिस्कशन, उत्पाद लॉन्च, 'मेड इन इंडिया' ड्रोन टैक्सी प्रोटोटाइप का प्रदर्शन, उड़ान प्रदर्शन इस महोत्सव के अन्य प्रमुख कार्यक्रम थे। 

ड्रोन

  • ड्रोन मानव रहित विमान (UA) के लिये उपयोग में लाया जाने वाला एक आम शब्द है। 
  • मूल रूप से सैन्य और एयरोस्पेस उद्योगों के लिये विकसित किये गए ड्रोन ने सुरक्षा एवं दक्षता के बढ़ते स्तर के कारण खुद को मुख्यधारा में स्थापित कर लिया है। 
  • एक ड्रोन को दूर से संचालित ( मानव द्वारा नियंत्रित ) किया जा सकता हैै, जिसका अर्थ है कि यह अपनी गति की गणना करने के लिये सेंसर और LIDAR डिटेक्टरों की  प्रणाली पर निर्भर है। 

ड्रोन प्रौद्योगिकी के अनुप्रयोग: 

  • कृषि: ड्रोन की मदद से कृषि क्षेत्र में सूक्ष्म पोषक तत्त्वों का छिड़काव किया जा सकता है 
    • इसका उपयोग कृषकों के समक्ष आने वाली चुनौतियों की पहचान के लिये सर्वेक्षण में भी किया जा सकता है। 
  • रक्षा: ड्रोन सिस्टम को आतंकवादी हमलों के खिलाफ हथियार के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है। 
    • ड्रोन को राष्ट्रीय हवाई क्षेत्र प्रणाली में एकीकृत किया जा सकता है। 
    • ड्रोन को युद्ध में तैनात किया जा सकता है, दूरदराज़ के इलाकों में संचार स्थापित करने  एवं  काउंटर-ड्रोन समाधान के लिये उपयोग किया जा सकता है। 
  • हेल्थकेयर डिलीवरी: इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) ने ड्रोन-आधारित वैक्सीन डिलीवरी मॉडल, i-ड्रोन तैयार किया है। तेलंगाना और पूर्वोत्तर राज्यों को इस ड्रोन तकनीक के उपयोग की मंज़ूरी दूरदराज़ के इलाकों में टीके पहुंँचाने के लिये दे दी गई है। 
  • िगरानी: भारत सरकार द्वारा शुरू की गई SVAMITVA योजना में ड्रोन तकनीक ने एक वर्ष से भी कम समय में घनी आबादी वाले क्षेत्रों का मानचित्रण करके लगभग आधा मिलियन गाँव के निवासियों को उनके संपत्ति कार्ड प्राप्त करने में मदद की है। 
    • ड्रोन का उपयोग परिसंपत्तियों और ट्रांसमिशन लाइनों की वास्तविक समय  निगरानी, चोरी की रोकथाम, दृश्य निरीक्षण / रखरखाव, निर्माण योजना और प्रबंधन आदि के लिये किया जा सकता है 
    • उनका उपयोग अवैध शिकार रोधी कार्यों, जंगलों और वन्यजीवों की निगरानी, प्रदूषण मूल्यांकन तथा साक्ष्य एकत्र करने के लिये किया जा सकता है। 
  • कानून प्रवर्तन: ड्रोन कानून प्रवर्तन एजेंसियों, आग की घटना और आपातकालीन सेवाओं के लिये भी महत्त्वपूर्ण हैं, जहाँ मानव हस्तक्षेप और स्वास्थ्य सेवाएँ सुरक्षित नहीं है। 

ड्रोन महोत्सव का महत्त्व: 

ड्रोन प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देना सुशासन और जीवन की सुगमता के प्रति हमारी प्रतिबद्धता को  बढ़ाने का एक और माध्यम है। 

हमें ड्रोन के रूप में एक स्मार्ट टूल मिला है जो आम लोगों के जीवन का हिस्सा बनने जा रहा है। 

चूंँकि रक्षा, आपदा प्रबंधन, कृषि, स्वास्थ्य देखभाल, पर्यटन, फिल्म और मनोरंजन जैसे विविध क्षेत्रों में ड्रोन प्रौद्योगिकी का अपना अनुप्रयोग है, इसलिये रोज़गार के लिये अपार अवसर पैदा करने वाली एक बड़ी क्रांति की संभावना है। 

गांँवों में सड़क, बिजली, ऑप्टिकल फाइबर और डिजिटल तकनीक का आगमन हो रहा है। हालांँकि कृषि कार्य अभी भी पुराने तरीकों से किया जा रहा है, जिससे परेशानी, कम उत्पादकता और अपव्यय हो रहा है। 

ड्रोन तकनीक किसानों को सशक्त और उनके जीवन को आधुनिक बनाने में प्रमुख भूमिका निभा सकती है। 

  • सरकार उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (PLI) जैसी योजनाओं के माध्यम से भारत में एक मज़बूत ड्रोन निर्माण पारिस्थितिकी तंत्र बनाने की दिशा में प्रयास कर रही है। 

ड्रोन नियम, 2021: 

  • वर्ष 2021 में मंत्रालय ने अनुसंधान और विकास को प्रोत्साहित करने तथा भारत को ड्रोन हब बनाने के उद्देश्य से उदारीकृत ड्रोन नियमों को अधिसूचित किया। 
    • इसके तहत कई प्रकार की अनुमतियों और अनुमोदनों को समाप्त कर दिया गया। इसके लिये जिन प्रपत्रों को भरने की आवश्यकता होती है, उनकी संख्या 25 से घटाकर पाँच कर दी गई और शुल्क के प्रकार को 72 से घटाकर 4 कर दिया गया। 
    • अब ग्रीन ज़ोन में ड्रोन के संचालन के लिये किसी अनुमति की आवश्यकता नहीं है और सूक्ष्म एवं नैनो ड्रोन के गैर-व्यावसायिक उपयोग हेतु किसी पायलट लाइसेंस की आवश्यकता नहीं है। 
    • इसमें 500 किलोग्राम तक के पेलोड की अनुमति दी गई है ताकि ड्रोन को मानव रहित उड़ान वाली टैक्सियों के रूप में इस्तेमाल किया जा सके। 
    • इसके अलावा ड्रोन का संचालन करने वाली कंपनियों के विदेशी स्वामित्व की भी अनुमति दी गई है। 

ड्रोन के लिये PLI योजना: 

  • सरकार ने ड्रोन और उसके घटकों के लिये तीन वित्तीय वर्षों में 120 करोड़ रुपए के आवंटन के साथ एक उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (PLI) योजन को भी मंज़ूरी दी। 
  • ड्रोन और ड्रोन घटकों से संबंधित उद्योग के लिये PLI योजना इस क्रांतिकारी तकनीक के रणनीतिक, सामरिक और परिचालन उपयोगों को संबोधित करती है। 

ड्रोन शक्ति योजना: 

  • केंद्रीय बजट में औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों (ITIs) में स्टार्टअप और स्किलिंग के माध्यम से ड्रोन को बढ़ावा देने पर ज़ोर दिया गया है। 
  • विभिन्न अनुप्रयोगों के माध्यम से और ‘ड्रोन-ए-ए-सर्विस’ (DrAAS) के लिये 'ड्रोन शक्ति' की सुविधा हेतु स्टार्टअप्स को बढ़ावा दिया जाएगा। सभी राज्यों के चुनिंदा आईटीआई संस्थानों में स्किलिंग के लिये कोर्स भी शुरू किये जाएंगे। 
    • DrAAS उद्यमों को ड्रोन कंपनियों से विभिन्न सेवाओं का लाभ उठाने हेतु अनुमति प्रदान करता है, जिससे उन्हें ड्रोन हार्डवेयर या सॉफ्वेटयर, पायलट और प्रशिक्षण कार्यक्रमों में निवेश करने की ज़रूरत नहीं होती है। 
    • ऐसे अनेक क्षेत्र हैं जहाँ ड्रोन का इस्तेमाल किया जा सकता है तथा इनमें फोटोग्राफी, कृषि, खनन, दूरसंचार, बीमा, तेल और गैस, निर्माण, परिवहन, आपदा प्रबंधन, भू-स्थानिक मानचित्रण, वन व वन्यजीव, रक्षा तथा कानून प्रवर्तन आदि शामिल हैं। 
  • फसल मूल्यांकन, भूमि अभिलेखों के डिजिटलीकरण, कीटनाशकों और पोषक तत्त्वों के छिड़काव (किसान ड्रोन) हेतु भी ड्रोन को बढ़ावा दिया जाएगा। 
  • अगले तीन वर्षों में ड्रोन सेवा उद्योग में 30,000 करोड़ रुपए से अधिक की वृद्धि तथा पाँच लाख से अधिक रोज़गार सृजित होने की उम्मीद है। 

आगे की राह 

  • कुछ महीने पूर्व तक ड्रोन पर अनेक प्रकार के प्रतिबंध आरोपित थे, हालाँकि अब अधिकांश प्रतिबंध हटा दिये गए हैं। 
  • इससे प्रौद्योगिकी तक आसान पहुँच के साथ गंतव्य तक वितरण सुनिश्चित करने में मदद मिलेगी। 
  • भारत सरकार देश को नई ताकत और गति प्रदान करने के लिये लोगों को प्रौद्योगिकी उपलब्ध कराने का प्रयास कर रही है। 

विगत वर्ष के प्रश्न (PYQs): 

प्रश्न. निम्नलिखित गतिविधियों पर विचार कीजिये: (2020) 

  1. खेत में फसल पर पीड़कनाशी का छिड़काव 
  2. सक्रिय ज्वालामुखियों के क्रेटरों का निरीक्षण 
  3. डीएनए विश्लेषण के लिये उत्क्षेपण करती हुई व्हेलों के श्वास के नमूने एकत्र करना 

तकनीक के वर्तमान स्तर पर उपर्युक्त गतिविधियों में से किसे ड्रोन के प्रयोग से सफलतापूर्वक संपन्न किया जा सकता है? 

(a) केवल 1 और 2 
(b) केवल 2 और 3 
(c) केवल 1 और 3 
(d) 1, 2 और 3 

उत्तर: (D) 

व्याख्या: 

  • मानव रहित हवाई वाहन (UAV) या ड्रोन ऐसे विमान हैं जिन्हें  मानव पायलट के बिना नेविगेट किया जा सकता है। GPS निगरानी प्रणाली का उपयोग करके ड्रोन को ज़मीन से नियंत्रित कर चलाया जा सकता है। 
  • प्रारंभ में ड्रोन ज़्यादातर  सैन्य अनुप्रयोगों के लिये  विकसित किये गए। हालाँकि इसका उपयोग वैज्ञानिक, मनोरंजनात्मक, वाणिज्यिक,  शांति स्थापना और निगरानी, उत्पाद वितरण, हवाई फोटोग्राफी, कृषि, आदि सहित अन्य अनुप्रयोगों में विस्तारित हुआ है। 
  • फसलों को कीटों से बचाने के लिये अब इनका उपयोग कृषि क्षेत्रों में कीटनाशकों का छिड़काव करने के लिये किया जाता है। अत: कथन 1 सही है। 
  •  वर्तमान में वैज्ञानिक सक्रिय ज्वालामुखियों का अध्ययन करने के लिये ड्रोन का उपयोग कर रहे हैं। ड्रोन सामान्य स्वास्थ्य स्थितियों का आकलन करने के लिये उत्क्षेपण करती हुई व्हेलों के श्वास के नमूने और उच्च-रिज़ॉल्यूशन की तस्वीरें एकत्र कर सकता है। अत: कथन 2 और 3 सही हैं। 

अतः  विकल्प (D) सही है।

स्रोत: पी.आई.बी. 

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