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स्टेट पी.सी.एस.

  • 22 Feb 2024
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छत्तीसगढ़ Switch to English

पीएम श्री योजना छत्तीसगढ़ में शुरू की गई

चर्चा में क्यों?

हाल ही में केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय सभागार में पीएम श्री स्कूल (पीएम स्कूल फॉर राइजिंग इंडिया) योजना लॉन्च की।

मुख्य बिंदु:

  • पीएम श्री योजना के पहले चरण में, छत्तीसगढ़ में 211 स्कूलों (193 प्राथमिक स्तर और 18 माध्यमिक) को प्रत्येक पर 2 करोड़ रुपए खर्च करके 'हब एंड स्पोक' मॉडल पर अपग्रेड किया जाएगा।
  • मॉडल के तहत, 'हब' नामक सलाहकार संस्थान को केंद्रीकृत किया जाएगा और आत्म-सुधार के लिये सलाहकार को प्रदान की जाने वाली सेवाओं के माध्यम से 'स्पोक' की माध्यमिक शाखाओं के माध्यम से सलाहकार संस्थान का मार्गदर्शन करने की ज़िम्मेदारी होगी।
  • सीएम के मुताबिक, राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 के तहत केंद्र की योजना है कि वर्ष 2025-26 शैक्षणिक सत्र से छात्रों को 10वीं और 12वीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा में दो बार बैठने का मौका मिलेगा।
    • अगस्त 2023 में शिक्षा मंत्रालय द्वारा घोषित नए पाठ्यचर्या रूपरेखा (NCF) के अनुसार, यह सुनिश्चित करने के लिये कि छात्रों के पास अच्छा प्रदर्शन करने हेतु पर्याप्त समय और अवसर है, बोर्ड परीक्षाएँ वर्ष में कम-से-कम दो बार आयोजित की जाएंगी। उन्हें सर्वश्रेष्ठ स्कोर बरकरार रखने का विकल्प भी मिलेगा।

पीएम श्री

  • यह देश भर में 14500 से अधिक स्कूलों के उन्नयन और विकास के लिये केंद्र प्रायोजित योजना है।
  • इसका उद्देश्य केंद्र सरकार/ राज्य/केंद्रशासित प्रदेश सरकार/स्थानीय निकायों द्वारा प्रबंधित स्कूलों में से चयनित मौजूदा स्कूलों को मज़बूत करना है।
  • इन स्कूलों का उद्देश्य न केवल गुणात्मक शिक्षण, शिक्षा और संज्ञानात्मक विकास होगा, बल्कि 21 वीं सदी के प्रमुख कौशल से लैस समग्र एवं सर्वांगीण व्यक्तियों का निर्माण भी होगा।

राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020

  • NEP 2020 का लक्ष्य "भारत को एक वैश्विक ज्ञान महाशक्ति (Global Knowledge Superpower)" बनाना है। स्वतंत्रता के बाद से यह भारत के शिक्षा ढाँचे में तीसरा बड़ा सुधार है।
    • पहले की दो शिक्षा नीतियाँ वर्ष 1968 और 1986 में लाई गई थीं।
  • मुख्य विशेषताएँ:
    • प्री-प्राइमरी स्कूल से कक्षा 12 तक स्कूली शिक्षा के सभी स्तरों पर सार्वभौमिक पहुँच सुनिश्चित करना।
    • 3-6 वर्ष के बीच के सभी बच्चों के लिये गुणवत्तापूर्ण प्रारंभिक बचपन की देखभाल और शिक्षा सुनिश्चित करना।
    • नई पाठ्यचर्या और शैक्षणिक संरचना (5+3+3+4) क्रमशः 3-8, 8-11, 11-14 एवं 14-18 वर्ष के आयु समूहों से सुमेलित है।
    • इसमें स्कूली शिक्षा के चार चरण शामिल हैं: मूलभूत चरण (5 वर्ष), प्रारंभिक चरण (3 वर्ष), मध्य चरण (3 वर्ष) और माध्यमिक चरण (4 वर्ष)।
    • कला तथा विज्ञान के बीच, पाठ्यचर्या व पाठ्येतर गतिविधियों के बीच, व्यावसायिक और शैक्षणिक धाराओं के बीच कोई सख्त अलगाव नहीं।
    • बहुभाषावाद और भारतीय भाषाओं को बढ़ावा देने पर ज़ोर।
    • एक नए राष्ट्रीय मूल्यांकन केंद्र, परख (प्रदर्शन मूल्यांकन, समीक्षा एवं समग्र विकास के लिये ज्ञान का विश्लेषण) की स्थापना।
    • वंचित क्षेत्रों और समूहों के लिये एक भिन्न लैंगिक समावेशन निधि और विशेष शिक्षा क्षेत्र।


मध्य प्रदेश Switch to English

खजुराहो नृत्य महोत्सव के 50 वर्ष पूरे

चर्चा में क्यों?

हाल ही में मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री ने खजुराहो नृत्य महोत्सव की स्वर्ण जयंती (50वें संस्करण) कार्यक्रम का उद्घाटन किया।

इस अवसर पर 1484 कलाकारों ने सबसे अधिक संख्या में कलाकारों के साथ सबसे बड़े कथक नृत्य प्रदर्शन का नया विश्व रिकॉर्ड बनाया।

मुख्य बिंदु:

  • प्रसिद्ध विश्व धरोहर स्थल पर 'कथक कुंभ' का रिकॉर्ड स्थापित करने वाला (विश्व रिकॉर्ड) प्रदर्शन उज्जैन तथा ग्वालियर आयोजनों के बाद लगातार तीसरा प्रदर्शन है, जिसे गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड द्वारा भी दर्ज और मान्यता दी गई है।
    • उज्जैन में 11 लाख 71 हज़ार 78 दीये जलाये गए।
    • जबकि ग्वालियर के तानसेन समारोह में ग्वालियर किले में ताल दरबार के दौरान कुल 1600 की संख्या में तबला कलाकारों ने एक साथ ताल बजाई।
  • सीएम ने खजुराहो में आदिवासी और लोक कलाओं के प्रशिक्षण के लिये देश का पहला गुरुकुल स्थापित करने की घोषणा की।
  • खजुराहो नृत्य महोत्सव (KDF) का आयोजन प्रमुख सचिव शिव शेखर शुक्ला के मार्गदर्शन में सांस्कृतिक एवं पर्यटन विभाग द्वारा किया जा रहा है।
  • KDF ने इस कार्यक्रम को भगवान नटराज महादेव को समर्पित करने का फैसला किया है, जिन्हें अक्सर 'नृत्य के देवता' के रूप में जाना जाता है। यह विशेष शिव अवतार दर्शाता है कि कैसे नृत्य भगवान के साथ सीधे संपर्क का एक पवित्र माध्यम है।
  • प्रसिद्ध नृत्य गुरु राजेंद्र गंगानी की कोरियोग्राफी में प्रदेश के विभिन्न शहरों से आए कलाकारों ने राग बसंत में मनमोहक प्रस्तुति दी।
  • गुरुकुल में वरिष्ठ विशेषज्ञों और 'गुरुओं' की सहायता से विशेष शिल्प, नेतृत्व, गायन, संगीत, चित्रकला, क्षेत्रीय साहित्य सिखाने के पाठ्यक्रमों के साथ आदिवासी तथा ग्रामीण समुदायों की पारंपरिक कलाओं में प्रशिक्षण के इच्छुक उम्मीदवारों के लिये सभी सुविधाएँ उपलब्ध कराई जाएंगी।

खजुराहो नृत्य महोत्सव

  • खजुराहो नृत्य महोत्सव की शुरुआत वर्ष 1975 में की गई थी और तब से आज तक मध्य प्रदेश शासन के संस्कृति विभाग के अंतर्गत उस्ताद अलाउद्दीन खाँ संगीत एवं कला अकादमी द्वारा इसका सफल आयोजन निरंतर किया जाता रहा है। तब से लेकर आज तक यह नृत्य समारोह खजुराहो के सुप्रसिद्ध मंदिरों के प्रांगण में आयोजित होता आ रहा है।
  • खजुराहो नृत्य महोत्सव में अब तक भारत की सभी प्रमुख शास्त्रीय नृत्य शैलियों जैसे भरतनाट्यम, ओडीसी, कथक, मोहिनीअटेम, कुचिपुड़ी, कथकली, यक्षगान, मणिपुरी आदि के युवा और वरिष्ठ कलाकार अपनी कला की आभा बिखेर चुके हैं।
  • महोत्सव के माध्यम से नृत्य में शास्त्रीयता की गरिमा बनाए रखने के साथ नवाचार करने का प्रयास किया जाता रहा है।


झारखंड Switch to English

झारखंड ग्रामीण बस योजना

चर्चा में क्यों?

झारखंड के मुख्यमंत्री चंपई ने झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार की महत्त्वाकांक्षी 'मुख्यमंत्री ग्राम गाड़ी योजना' (MMGGY) शुरू की, जो दूरदराज़ के क्षेत्रों में बस सेवाओं की सुविधा के लिये एक ग्रामीण परिवहन योजना है।

मुख्य बिंदु:

  • योजना का प्राथमिक उद्देश्य ब्लॉकों, उपखंडों और ज़िला मुख्यालयों के बीच कनेक्टिविटी स्थापित करना है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि दूरदराज़ के गाँवों के निवासियों को सुविधाजनक परिवहन प्रणाली तक पहुँच प्राप्त हो।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में लगभग 15,000 किमी. सड़कें बनाई जा रही हैं। वरिष्ठ नागरिकों, स्कूल एवं कॉलेज के छात्रों, शारीरिक रूप से दिव्यांग, ह्यूमन इम्यूनोडेफिशिएंसी वायरस (HIV) पॉजिटिव, विधवाओं और झारखंड आंदोलन के कार्यकर्त्ताओं को बसों में मुफ्त यात्रा की सुविधा मिलेगी।
    • योजना के पहले चरण के तहत सरकार ने 250 वाहनों को संचालित करने का निर्णय लिया है। ऑपरेटरों को आकर्षित करने के लिये परमिट, पंजीकरण और फिटनेस शुल्क भी घटाकर 1 रुपए कर दिया गया है।
  • सीएम के मुताबिक, रांची, गुमला और लोहरदगा के 24 हज़ार से ज़्यादा लाभार्थियों को अबुआ आवास योजना का स्वीकृति पत्र दिया गया।
    • लाभार्थियों के बैंक खातों में प्रथम किस्त के रूप में 72.35 करोड़ रुपए की धनराशि हस्तांतरित की गई।
      • तीन माह बाद योजना के तहत नौ लाख आवास आवंटित किये जायेंगे।

मुख्यमंत्री ग्रामीण गाड़ी योजना

  • यह झारखंड सरकार द्वारा वर्ष 2023 में ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को आसान परिवहन सुविधा प्रदान करने के उद्देश्य से शुरू की गई एक योजना है।
  • यह योजना उन क्षेत्रों में वाहनों का संचालन करेगी जहाँ लोगों को मुख्य सड़क या निकटतम शहर तक पहुँचने के लिये कई किलोमीटर पैदल चलना पड़ता है।
  • इससे किसानों, मज़दूरों, छात्रों, मरीज़ों और अन्य ग्रामीण नागरिकों को लाभ होगा जिन्हें परिवहन विकल्पों की कमी के कारण आने-जाने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है।

अबुआ आवास योजना (AAY)

  • इस योजना के तहत अगले दो वर्ष में लगभग 15 हज़ार करोड़ रुपए से ज़्यादा खर्च कर राज्य सरकार अपनी निधि से ज़रूरतमंद लोगों को आवास उपलब्ध कराएगी।
  • योजना के तहत गरीबों, वंचितों, मज़दूरों, किसानों, आदिवासियों, पिछड़ों और दलितों को 3 कमरे के आवास उपलब्ध करवाएँ जाएंगे।  


उत्तर प्रदेश Switch to English

आगरा के जामा मस्जिद मेट्रो स्टेशन का नाम बदला गया

चर्चा में क्यों?

उत्तर प्रदेश मेट्रो ने आगरा के जामा मस्जिद स्टेशन का नाम बदलकर मनकामेश्वर मंदिर कर दिया है।

मुख्य बिंदु:

  • प्राथमिकता गलियारे पर मेट्रो सेवा का उद्घाटन 25 से 28 फरवरी के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किये जाने की उम्मीद है।
  • जामा मस्जिद स्टेशन, ताज महल से जामा मस्जिद तक छह स्टेशनों के प्राथमिकता गलियारे पर तीसरा और अंतिम भूमिगत मेट्रो स्टेशन था।
  • पौराणिक कथाओं के अनुसार, मनकामेश्वर मंदिर की स्थापना स्वयं भगवान शिव ने द्वापर युग में की थी, जब वे भगवान कृष्ण के बाल रूप के दर्शन के लिये मथुरा आए थे। कैलाश से मथुरा जाते समय शिव इस स्थान पर रुके थे और उन्होंने प्रतिज्ञा की थी कि यदि वे कृष्ण को अपनी बाहों में पकड़ने में सक्षम होंगे तो वे एक शिवलिंग स्थापित करेंगे।

हरियाणा Switch to English

विकसित भारत-विकसित हरियाणा

चर्चा में क्यों?

हाल ही में हरियाणा के रेवाड़ी ज़िले के माजरा भालखी गाँव में 'विकसित भारत-विकसित हरियाणा' नामक तीन दिवसीय मल्टीमीडिया प्रदर्शनी का आयोजन किया गया।

मुख्य बिंदु:

  • हरियाणा के सूचना, जनसंपर्क, भाषा एवं संस्कृति विभाग के तत्वावधान में आयोजित प्रदर्शनी का उद्देश्य आम जनता को केंद्र और राज्य सरकार दोनों की विकासात्मक पहलों तथा योजनाओं से परिचित कराना है।
  • प्रदर्शनी में माजरा-भालखी गाँव में बनने वाले 22वें अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) और गुरुग्राम मेट्रो के दो-दो मॉडल प्रदर्शित किये गए।
    • उपस्थित लोगों को एम्स, गुरुग्राम मेट्रो, भारतीय रेलवे जैसे संस्थानों के साथ-साथ भारत सरकार और हरियाणा सरकार द्वारा कार्यान्वित विभिन्न जन कल्याणकारी योजनाओं के बारे में शिक्षित किया गया।
  • इस आयोजन ने प्रभावी ढंग से युवाओं, महिलाओं और स्कूली छात्रों के बीच जागरूकता बढ़ाई। इसने केंद्र और राज्य दोनों सरकारों की जन कल्याणकारी योजनाओं को समझने योग्य तरीके से समझाने के लिये एक सुलभ मंच के रूप में कार्य किया।

हरियाणा Switch to English

37वाँ सूरजकुंड अंतर्राष्ट्रीय शिल्प मेला

चर्चा में क्यों?

37वें सूरजकुंड अंतर्राष्ट्रीय शिल्प मेले में गुजरात के साधु बेट द्वीप पर स्थित स्टैच्यू ऑफ यूनिटी की 182 मीटर ऊँची प्रतिकृति पर्यटकों के लिये आकर्षण का केंद्र बनी रही।

मुख्य बिंदु:

  • मूर्तिकार राम वी. सुतार द्वारा तैयार की गई और वर्ष 2018 में जनता के लिये अनावरण की गई स्टैच्यू ऑफ यूनिटी एक प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में कार्य करती है।
    • इस भव्य मूर्तिकला के माध्यम से, राजनीतिक एकीकरण में सरदार वल्लभभाई पटेल की महत्त्वपूर्ण भूमिका को स्पष्ट रूप से चित्रित किया गया है।
  • पर्यटक गुजरात के प्रमुख पर्यटन गाँव के रूप में प्रशंसित धोर्डो के स्टॉलों की ओर भी आकर्षित हुए।
    • मेले के दौरान, आगंतुकों ने उत्सुकता से गाँव के स्टाल पर प्रदर्शित प्रसिद्ध गरबा नृत्य के क्षणों को कैद किया, जो गुजरात की जीवंत संस्कृति को उजागर करता है।
  • संयुक्त राष्ट्र शैक्षिक, वैज्ञानिक एवं सांस्कृतिक संगठन (UNESCO) द्वारा गरबा को एक महत्त्वपूर्ण सांस्कृतिक प्रतीक के रूप में मान्यता देना गुजरात की विरासत में इसके महत्त्व को रेखांकित करता है। यह सम्मान सामाजिक समावेश और एकता को बढ़ावा देने में गरबा की भूमिका पर ज़ोर देता है, खासकर नौ दिवसीय नवरात्रि उत्सव के दौरान।

गुजरात का ‘धोर्डो’ - सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गाँव

  • धोर्डो को संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन (UNWTO) द्वारा सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गाँव का प्रतिष्ठित खिताब प्रदान किया गया है। उज़्बेकिस्तान के समरकंद में UNWTO द्वारा आयोजित बेस्ट टूरिज़्म विलेज-2023 पुरस्कार समारोह में धोर्डो को यह खिताब मिला।
  • यह गाँव अपनी समृद्ध सांस्कृतिक विरासत, हस्तशिल्प और प्रसिद्ध रण उत्सव के कारण एक लोकप्रिय पर्यटन स्थल बन गया है।
  • UNWTO कुछ मानदंडों को पूर्ण करने वाले गाँवों को "सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गाँव" का खिताब प्रदान करता है।
    • इसके मानदंडों में स्थायी पर्यटन को बढ़ावा देना, स्थानीय संस्कृति एवं धरोहर को संरक्षित करना, पर्यटकों के लिये एक सुरक्षित एवं स्वागत योग्य वातावरण प्रदान करना तथा आगंतुकों को अतुलनीय अनुभव प्रदान करना शामिल है।
    • इसके अतिरिक्त गाँव में एक सुविकसित पर्यटन बुनियादी ढाँचा मौजूद है और यह ज़िम्मेदार पर्यटन प्रथाओं के प्रति अपनी प्रतिबद्धता प्रदर्शित करता है।

स्टैच्यू ऑफ यूनिटी

  • स्टैच्यू ऑफ यूनिटी विश्व की सबसे ऊंँची (182 मीटर) मूर्ति है। यह चीन की स्प्रिंग टेम्पल बुद्ध प्रतिमा (Spring Temple Buddha statue) से 23 मीटर ऊंँची तथा अमेरिका में स्थित स्टैच्यू ऑफ लिबर्टी (93 मीटर लंबा) की ऊंँचाई की लगभग दोगुनी है।
  • जनवरी 2020 में इसे शंघाई सहयोग संगठन में आठ अजूबों में शामिल किया गया था

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