मध्य प्रदेश Switch to English
प्रसाद योजना
चर्चा में क्यों?
मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री ने माँ पीतांबरा पीठ को प्रदेश का एक प्रमुख धार्मिक पर्यटन स्थल बनाने के लिये केंद्र सरकार की प्रसाद योजना (PRASAD Scheme) के अंतर्गत ₹44.24 करोड़ की राशि स्वीकृत की है।
मुख्य बिंदु:
- पीतांबरा पीठ के बारे में:
- पीतांबरा पीठ मध्य प्रदेश के दतिया शहर में स्थित एक हिंदू मंदिर परिसर है, जिसमें एक आश्रम भी सम्मिलित है।
- यहाँ स्थित श्री वनखंडेश्वर शिवलिंग को महाभारत काल का माना जाता है। यह मंदिर शक्ति साधना के प्रमुख केंद्रों में एक है।
- पीठ की स्थापना वर्ष 1935 में स्वामीजी महाराज द्वारा दतिया के राजा शत्रुजीत सिंह बुंदेला के सहयोग से की गई थी।
- यहाँ माँ बगलामुखी का प्रमुख मंदिर स्थित है।
प्रसाद योजना:
- पर्यटन मंत्रालय द्वारा वर्ष 2014-15 में चिह्नित तीर्थ स्थलों के समग्र विकास के उद्देश्य से 'तीर्थयात्रा कायाकल्प और आध्यात्मिक संवर्द्धन पर राष्ट्रीय मिशन' शुरू किया गया था।
- अक्तूबर 2017 में योजना का नाम बदलकर ‘तीर्थयात्रा कायाकल्प और आध्यात्मिक विरासत संवर्द्धन अभियान’ (यानी ‘प्रसाद’) राष्ट्रीय मिशन कर दिया गया।
- आवास एवं शहरी विकास मंत्रालय की हृदय (HRIDAY) योजना के बंद होने के बाद विरासत स्थलों के विकास को प्रसाद PRASHAD योजना में शामिल किया गया।
- प्रसाद योजना के तहत विकास के लिये कई धार्मिक शहरों/स्थलों की पहचान की गई है जैसे अमरावती और श्रीशैलम (आंध्र प्रदेश), कामाख्या (असम), परशुराम कुंड (लोहित ज़िला, अरुणाचल प्रदेश), पटना और गया (बिहार) आदि।
- कार्यान्वयन एजेंसी: इस योजना के तहत चिह्नित परियोजनाओं को संबंधित राज्य/संघ राज्य क्षेत्र की सरकार द्वारा चिह्नित एजेंसियों के माध्यम से क्रियान्वित किया जाएगा।
- वित्तपोषण तंत्र: केंद्र सरकार सार्वजनिक वित्तपोषण के लिये शुरू किये गए परियोजना घटकों हेतु 100% वित्तपोषण प्रदान करती है।
- इस योजना के तहत परियोजनाओं की बेहतर स्थिरता के लिये कॉर्पोरेट सामाजिक उत्तरदायित्व (CSR) और सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) के लिये उपलब्ध स्वैच्छिक वित्तपोषण का लाभ उठाने का प्रयास किया जाता है।