उत्तर प्रदेश
वाराणसी में मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क
- 17 Mar 2025
- 5 min read
चर्चा में क्यों?
हाल ही में राष्ट्रीय राजमार्ग रसद प्रबंधन लिमिटेड (NHLML) और भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (IWAI) के बीच वाराणसी में अत्याधुनिक मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क (MMLP) विकसित करने हेतु समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किये गए।
मुख्य बिंदु
- MMLP के बारे में :
-
उद्देश्य:
- इसका उद्देश्य सड़क, रेल व जल मार्गों से निर्बाध माल ढुलाई, कम लागत और व्यापारिक दक्षता को बढ़ाकर आपूर्ति शृंखला को मज़बूत करना है।
-
- महत्त्व और प्रभाव:
- 150 एकड़ में फैले इस पार्क का NH7 और पूर्वी समर्पित माल ढुलाई गलियारे (EDFC) से सीधा जुड़ाव होगा, जिससे माल परिवहन सुगम और वहनीय होगा।
- राष्ट्रीय जलमार्ग-1 (NW-1) से संपर्क होने के कारण जलमार्ग के माध्यम से भी माल परिवहन की सुविधा मिलेगी, जिससे परिवहन लागत में कमी आएगी।
- इस लॉजिस्टिक्स पार्क के निर्माण से महत्त्वपूर्ण निवेश आकर्षित होगा, जिससे उत्तर प्रदेश की अर्थव्यवस्था को गति मिलेगी।
- स्थानीय और राष्ट्रीय स्तर पर व्यापारियों, उद्योगों और MSMEs को लाभ होगा, जिससे उत्पादन और निर्यात में वृद्धि होगी।
- इस परियोजना से स्थानीय स्तर पर प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रोज़गार के अवसर उत्पन्न होंगे।
- लॉजिस्टिक्स क्षेत्र का आधुनिकीकरण होगा, जिससे भविष्य में अन्य शहरों में भी ऐसे केंद्र विकसित करने का मार्ग प्रशस्त होगा।
- यह "गति शक्ति" योजना और मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी के तहत एक मॉडल की तरह कार्य करेगा, जिससे अन्य राज्यों में भी ऐसी परियोजनाओं को बढ़ावा मिलेगा
भारतीय अंतर्देशीय जलमार्ग प्राधिकरण (IWAI):
- IWAI, जहाज़रानी मंत्रालय (Ministry of Shipping) के अधीन एक सांविधिक निकाय है।
- यह जहाज़रानी मंत्रालय से प्राप्त अनुदान के माध्यम से राष्ट्रीय जलमार्गो पर अंतर्देशीय जल परिवहन अवसंरचना के विकास और अनुरक्षण का कार्य करता है।
- प्राधिकरण का मुख्यालय नोएडा (उत्तर-प्रदेश) में क्षेत्रीय कार्यालय पटना, कोलकाता, गुवाहाटी और कोची में तथा उप-कार्यालय प्रयागराज, वाराणसी, भागलपुर, रक्का और कोल्लम में हैं।
प्रधानमंत्री गति शक्ति योजना
- उद्देश्य: ज़मीनी स्तर पर काम में तेज़ी लाना, लागत में कमी करना और रोज़गार सृजित करने पर ध्यान देने के साथ-साथ आगामी चार वर्षों में बुनियादी अवसंरचना परियोजनाओं की एकीकृत योजना और कार्यान्वयन सुनिश्चित करना है।
- गति शक्ति योजना के तहत वर्ष 2019 में शुरू की गई 110 लाख करोड़ रुपए की ‘राष्ट्रीय अवसंरचना पाइपलाइन’ को समाहित किया गया है।
- लॉजिस्टिक्स लागत में कटौती के अलावा इस योजना का उद्देश्य कार्गो हैंडलिंग क्षमता को बढ़ाना और व्यापार को बढ़ावा देने हेतु बंदरगाहों पर टर्नअराउंड समय को कम करना है।
- इसका लक्ष्य 11 औद्योगिक गलियारे और दो नए रक्षा गलियारे (एक तमिलनाडु में और दूसरा उत्तर प्रदेश में) बनाना भी है। इसके तहत सभी गाँवों में 4G कनेक्टिविटी का विस्तार किया जाएगा। साथ ही गैस पाइपलाइन नेटवर्क में 17,000 किलोमीटर की क्षमता जोड़ने की योजना बनाई जा रही है।
- एकीकृत दृष्टिकोण: यह बुनियादी अवसंरचना से संबंधित 16 मंत्रालयों को एक साथ लाने पर ज़ोर देता है।
- गति शक्ति डिजिटल प्लेटफॉर्म: इसमें एक अंब्रेला प्लेटफॉर्म का निर्माण शामिल है, जिसके माध्यम से विभिन्न मंत्रालयों/विभागों के बीच वास्तविक समय पर समन्वय के माध्यम से बुनियादी अवसंरचना परियोजनाओं का निर्माण कर उन्हें प्रभावी तरीके से लागू किया जा सकता है।