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Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 29 दिसंबर, 2022

  • 29 Dec 2022
  • 11 min read

टिहरी झील

केंद्रीय विद्युत और नवीन तथा नवीकरणीय ऊर्जा मंत्री के अनुसार, उत्तराखंड के टिहरी में विश्‍व स्‍तरीय केयाकिंग- कनोइंग अकादमी स्‍थापित की जाएगी। इसमें उत्तराखंड के युवाओं को निःशुल्क प्रशिक्षण के साथ सभी सुविधा प्रदान कर राष्ट्रीय तथा अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर खेलने के लिये तैयार किया जाएगा। उन्होंने टिहरी झील पर टिहरी वाटर स्‍पोर्टस कप राष्‍ट्रीय चैंपियनशिप का उद्घाटन भी किया। यह पहली बार है जब टिहरी झील पर राष्‍ट्रीय स्‍तर की खेल प्रतिस्पर्द्धा आयोजित की जा रही है। राज्‍य में नई खेल नीति लागू कर दी गई है और सरकार ने नौ‍करियों में खेल कोटा फिर से लागू करने की घोषणा की है। इसके साथ ही टिहरी झील को अंतर्राष्‍ट्रीय पर्यटन स्‍थल बनाने का काम तेज़ी से किया जा रहा है। विश्व के बड़े बाँधों में शामिल टिहरी बाँध के निर्माण के कारण टिहरी शहर जल में डूब गया तथा टिहरी झील जिसे आज सुमन सागर के नाम से जाना जाता है, का निर्माण हुआ। टिहरी बाँध निर्माण योजना में राज्य सरकार (उत्तराखंड) ने टिहरी झील को एक साहसिक पर्यटन में परिवर्तित करने का निर्णय लिया है। टिहरी झील में साहसिक खेल एवं गतिविधियों में नौका विहार, जेट स्पीड बोट सवारी, वाटर स्कीइंग, जोर्बिंग एवं बैंडवेगन वोट सवारी आदि शामिल हैं।

मारूत ड्रोन AG 365 एग्रीकाॅप्‍टर

नागर विमानन महानिदेशक ने 28 दिसंबर, 2022 को मारूत ड्रोन को DGCA किस्‍म का प्रमाणन और स्‍वीकृति दी है। हैदराबाद में जारी एक विज्ञप्ति में कहा गया है कि यह नवीन उत्‍पाद, मारूत ड्रोन AG 365 एग्रीकाॅप्‍टर, भारत का पहला बहु-उपयोगी ड्रोन है जिसे प्रतिष्ठित प्रमाणन प्रदान किया गया है। AG 365 एग्रीकाॅप्‍टर की कृषि क्षेत्र में प्रतिष्ठित विश्‍वविद्यालयों और अनुसंधान संस्‍थाओं के सहयोग से सघन जाँच की गई है। इस जाँच में सुरक्षित, विश्‍वसनीय और प्रभावी कृषि कार्यों हेतु फसल से संबंध‍ित मानक प्रचालन प्रक्रिया का विकास भी किया गया है। विज्ञप्ति में बताया गया है कि AG 365 एग्रीकाॅप्‍टर का डिज़ाइन और विकास विशेषकर भारतीय स्थितियों को ध्यान में रखकर किया गया है और इसका इस्तेमाल विविध उद्देश्‍यों के लिये किया जा सकता है। इसे दस लाख रुपए के असुरक्षित ऋण के लिये कृषि बुनियादी ढाँचा कोष से पात्रता दी गई है तथा केंद द्वारा इस पर न्‍यूनतम ब्‍याज़ दर लागू की जाएगी। इस एग्रीकाॅप्‍टर की डेढ़ लाख एकड़ से अधिक क्षेत्र में कार्य करने की क्षमता संबंधी सघन जाँच की गई है। भारत में निर्मित किसान ड्रोन AG 365 विशेष रूप से कृषि उद्देश्‍यों के लिये विकसित किया गया है ताकि फसल क्षति में कमी, कृषि रसायन सामग्री के कम उपयोग, बेहतर फसल और किसानों के लिये लाभ सुनिश्चित किया जा सके।

मांगदेछू जलविद्युत परियोजना


हाल ही में मांगदेछू जलविद्युत परियोजना (720 मेगावाट की) भूटान में ड्रक ग्रीन पावर कॉरपोरेशन (DGPC) को सौंपी गई। इसे सौंपने के साथ ही दोनों देशों ने चार बड़ी जलविद्युत परियोजनाओं को सफलतापूर्वक पूरा कर लिया है। इसे भारत की सहायता से लागू किया गया है। मांगदेछू जलविद्युत परियोजना का उद्घाटन भारतीय प्रधानमंत्री और उनके भूटानी समकक्ष लोटे त्शेरिंग ने वर्ष 2019 में संयुक्त रूप से किया था। भारत सरकार ने इस जलविद्युत परियोजना के निर्माण के लिये वित्तीय एवं तकनीकी सहायता प्रदान की है। इस जलविद्युत परियोजना के शुरू होने से भूटान की विद्युत उत्पादन क्षमता में 44 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। इस परियोजना ने 9,000 मिलियन यूनिट से अधिक ऊर्जा का उत्पादन किया है, जिससे प्रत्येक वर्ष 2.4 मिलियन टन कार्बन उत्सर्जन में कमी आई है। दूसरी तरफ इस परियोजना ने वर्ष 2020 में देश के जलविद्युत राजस्व में 31 प्रतिशत की वृद्धि की थी। वहीं वर्ष 2021 में भारत को 12.13 अरब रुपए की विद्युत का निर्यात किया जिससे भूटान का विद्युत निर्यात बढ़कर 24.43 अरब रुपए हो गया है।

भारत के सबसे युवा ग्रैंडमास्टर

शतरंज ओलंपियाड, 2022 में लगातार 8 जीत के साथ डोमराजू गुकेश (या गुकेश डी) भारतीय शतरंज के नए पोस्टर बॉय बन गए हैं। वर्ष 2019 में वह सबसे कम उम्र के भारतीय और फिर दूसरे सबसे युवा ग्रैंडमास्टर (सबसे कम उम्र के - अभिमन्यु मिश्रा) बने। हाल ही में (16 वर्ष की आयु में) उन्होंने शतरंज ओलंपियाड में स्वर्ण पदक जीता। गुकेश ने वर्ष 2015 में एशियाई स्कूल शतरंज चैंपियनशिप की अंडर-9 शृंखला जीती और वर्ष 2018 में एशियाई युवा शतरंज चैंपियनशिप (अंडर-12) में 5 स्वर्ण पदक जीते।

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भारत की वैपकोस को शीर्ष परामर्श सेवाओं में स्थान दिया गया

  • एशियाई विकास बैंक (ADB) ने दो रिपोर्ट जारी की हैं- एक वार्षिक खरीद (AP) पर और दूसरी सदस्यों की तथ्य पत्रक (MFS) 2022, जिस पर WAPCOS को शीर्ष (AP) और शीर्ष 3 (MFS) में स्थान दिया गया था।
  • AP में WAPCOS को उच्चतम स्वीकृत वित्तपोषित राशि के साथ जल और अन्य अवसंरचना क्षेत्रों में परामर्श सेवा फर्म के बीच स्थान दिया गया था।
  • MFS में WAPCOS ADB ऋण, अनुदान और तकनीकी सहायता परियोजनाओं (ऊर्जा, परिवहन और जल तथा अन्य शहरी बुनियादी ढाँचा क्षेत्रों में) के तहत अनुबंधों में शामिल भारत की शीर्ष 3 परामर्श सेवाओं में था।   
  • WAPCOS लिमिटेड जल शक्ति मंत्रालय के तहत एक "मिनी रत्न" सार्वजनिक क्षेत्र का उपक्रम है। भारत के अलावा इसके 51 से ज़्यादा देशों (एशिया, अफ्रीका, प्रशांत द्वीप समूह और दक्षिण अमेरिका को शामिल करते हुए) में परियोजनाएँ चल रही हैं।

और पढ़ें -  एशियाई विकास बैंक (ADB)

ब्रेन ईटिंग अमीबा 

  • हाल ही में दक्षिण कोरिया ने नेगलेरिया फाउलेरी या "ब्रेन-ईटिंग अमीबा" से संक्रमण और मृत्यु का पहला मामला दर्ज किया।
  • नेगलेरिया एक अमीबा है, यह एक कोशिका जीव है और इसकी केवल एक प्रजाति  नेगलेरिया फाउलेरी, मनुष्यों को संक्रमित कर सकती है। यह पहली बार ऑस्ट्रेलिया (1965) में खोजा गया था तथा आमतौर पर गर्म ताज़े जल के निकायों (गर्म झरनों, नदियों और झीलों) में पाया जाता है। यह नाक के रास्ते मानव शरीर में प्रवेश करता है एवं फिर मस्तिष्क तक जाता है।
  • इस अमीबा के कारण होने वाला संक्रमण प्राइमरी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस (PAM) है जो मस्तिष्क के ऊतकों को नष्ट कर देता है। इसकी मृत्यु दर बहुत अधिक है। वर्तमान में इसकी कोई वैक्सीन उपलब्ध नहीं है, लेकिन PAM का उपचार उचित दवा संयोजनों के साथ किया जा सकता है।

कफ सिरप में एथिलीन ग्लाइकॉल 

  • उज़्बेकिस्तान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक भारतीय फर्म द्वारा निर्मित कफ सिरप डॉक-1 मैक्स (Doc-1 Max) की अत्यधिक खुराक लेने से 18 बच्चों (तीव्र श्वसन रोग वाले) की मृत्यु की सूचना दी है।  
  • कफ सिरप में एथिलीन ग्लाइकॉल एक पदार्थ होता है जो कफ सिरप में मौजूद नहीं होना चाहिये। इससे पूर्व गाम्बिया ने भारत में निर्मित कफ सिरप में डायथिलीन ग्लाइकॉल (DEG) और एथिलीन ग्लाइकॉल (EG) के "अस्वीकार्य स्तर" की भी सूचना दी थी।   
  • DEG और EG अत्यधिक विषाक्त रंगहीन एवं चिपचिपे तरल पदार्थ हैं जिनका स्वाद मीठा होता है। वे अक्सर ग्लिसरीन में संदूषक के रूप में पाए जाते हैं, जिसका उपयोग कई कफ सिरप के योगों में स्वीटनर के रूप में किया जाता है। EG की तीव्र विषाक्तता के परिणामस्वरूप गतिभंग (Ataxia), अस्पष्ट भाषा (Slurred Speech), बेचैनी (Restlessness), भटकाव (Disorientation), मायोक्लोनिक झटके (Myoclonic Jerks), आक्षेप (Convulsions), कोमा (Coma) और मृत्यु तक हो सकती है।  

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