SpaceX द्वारा भारत का उपग्रह प्रक्षेपण | 20 Nov 2024
स्रोत: द हिंदू
हाल ही में भारत के GSAT-N2 (GSAT-20) संचार उपग्रह को SpaceX के फाल्कन-9 रॉकेट द्वारा केप कैनावेरल, फ्लोरिडा, अमेरिका से सफलतापूर्वक प्रक्षेपित किया गया।
- फाल्कन-9 ने GSAT-N2 को भू-समकालिक स्थानांतरण कक्षा (Geosynchronous Transfer Orbit- GTO) में प्रक्षेपित किया, जो लगभग 37,000 किमी. की ऊँचाई वाली एक अण्डाकार कक्षा है, जो भू-समकालिक या भूस्थिर कक्षा (Geosynchronous or Geostationary Orbit- GSO) तक पहुँचने की दिशा में पहला कदम है।
- अंतरिक्ष यान भूमध्य रेखा के समानांतर घूमकर तथा GSO तक पहुँचने के लिये अपने रॉकेट इंजन को चलाकर GTO कक्षा का वृत्ताकारीकरण करता है।
- Apoapsis किसी कक्षा में वह बिंदु है जब कोई वस्तु उस पिंड से सबसे अधिक दूर होती है जिसकी वह परिक्रमा कर रही है।
- अंतरिक्ष यान भूमध्य रेखा के समानांतर घूमकर तथा GSO तक पहुँचने के लिये अपने रॉकेट इंजन को चलाकर GTO कक्षा का वृत्ताकारीकरण करता है।
- यह एलन मस्क की SpaceX के साथ भारत का पहला सहयोग है।
- यह उपग्रह न्यूस्पेस इंडिया लिमिटेड (NewSpace India Limited- NSIL) का है, जो इसरो की वाणिज्यिक शाखा है।
- NSIL को उपयोगकर्त्ता की सेवा आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये "मांग-संचालित मोड" में उपग्रहों का निर्माण, प्रक्षेपण, स्वामित्व और संचालन करने का अधिकार दिया गया है ।
- GSAT-N2, NSIL का दूसरा मांग-संचालित उपग्रह है। इसका पहला मांग-संचालित उपग्रह GSAT-24 था जिसे जून 2022 में प्रक्षेपित किया जाएगा।
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