उन्नत पिनाका Mk-I रॉकेट सिस्टम | 11 Apr 2022
उन्नत पिनाका Mk-I रॉकेट सिस्टम (EPRS) का राजस्थान के पोखरण रेंज में सफल परीक्षण किया गया।
- परीक्षणों के उसी सेट के हिस्से के रूप में एरिया डेनियल मुनिशन (ADM) का भी सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया था।
- परीक्षणों ने विभिन्न प्रकार के युद्धपोतों और फ्यूज़ के प्रदर्शन को भी मान्य किया जिनका उपयोग पिनाका रॉकेट सिस्टम में किया जा सकता है।
- ADM गोला-बारूद की एक श्रेणी है जिसका उपयोग विरोधी को किसी विशेष क्षेत्र पर कब्ज़ा करने या वहाँ से गुज़रने से रोकने के लिये किया जाता है।
EPRS क्या है?
- EPRS पिनाका संस्करण का उन्नत संस्करण है जो पिछले एक दशक से भारतीय सेना की सेवा में है।
- डिज़ाइन और विकास, पुणे स्थित DRDO (रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन) प्रयोगशालाओं- आयुध अनुसंधान एवं विकास प्रतिष्ठान (ARDE) तथा उच्च ऊर्जा सामग्री अनुसंधान प्रयोगशाला (HEMRL) द्वारा किया गया है।
- उन्नयन में उन्नत प्रौद्योगिकियांँ शामिल हैं जो युद्ध के मैदान की उभरती आवश्यकताओं को पूरा करने के लिये सीमा को बढ़ाती हैं।
- जबकि मार्क-1 की रेंज 38 किमी. है, पिछले पखवाड़े में परीक्षण किये गए मार्क-1 के उन्नत संस्करण में कुछ प्रमुख अतिरिक्त सुविधाओं के साथ 45 किमी की रेंज है।
- पिनाका का नया अवतार एक स्वदेशी भारतीय हथियार प्रणाली के साथ विकसित होने वाली विकास प्रक्रिया के कुछ उदाहरणों में से एक का प्रतिनिधित्व करता है।
पिनाका मिसाइल:
- परिचय:
- पिनाका रॉकेट सिस्टम एक मल्टी बैरल रॉकेट सिस्टम है, जिसका नाम भगवान शिव के धनुष के नाम पर रखा गया है।
- इसे पुणे स्थित आयुध अनुसंधान और विकास प्रतिष्ठान (ARDE) तथा उच्च ऊर्जा सामग्री अनुसंधान प्रयोगशाला (HEMRL) द्वारा विकसित किया गया है।
- पिनाका’ मल्टी-बैरल रॉकेट सिस्टम का विकास ‘रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन’ (DRDO) द्वारा 1980 के दशक के अंत में शुरू किया गया था। इसे रूस के ‘मल्टी बैरल रॉकेट लॉन्चर’ सिस्टम (जिसे 'ग्रैड' भी कहा जाता है) के विकल्प के रूप में विकसित किया गया था।
- वर्ष 1990 के अंत में पिनाका मार्क-1 के सफल परीक्षणों के बाद वर्ष 1999 के कारगिल युद्ध के दौरान पहली बार युद्ध के मैदान में इसका सफलतापूर्वक उपयोग किया गया था। इसके बाद 2000 के दशक में सिस्टम के कई रेजिमेंट्स आए।
- पिनाका रॉकेट सिस्टम एक मल्टी बैरल रॉकेट सिस्टम है, जिसका नाम भगवान शिव के धनुष के नाम पर रखा गया है।
- विशेषताएँ:
- लंबी दूरी की तोपखाने की लड़ाई की एक प्रमुख रणनीति के रूप में लॉन्च वाहनों को यह सुनिश्चित करने के लिये विशेष रूप से इसके बैक ब्लास्ट का कारण पता लगाने योग्य 'शूट एंड स्कूट (Shoot and Scoot)' करना पड़ता है, ताकि वे स्वयं लक्ष्य न बनें।
- यह 44 सेकेंड की अवधि में 12 रॉकेट दाग सकता है।
- पिनाका प्रणाली की एक बैटरी में छह लॉन्च वाहन होते हैं, जिसमें लोडर सिस्टम, रडार और नेटवर्क-आधारित सिस्टम के साथ लिंक एवं एक कमांड पोस्ट होता है। एक बैटरी 1 किमी. के क्षेत्र को बेअसर कर सकती है।
- संस्करण:
- रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन ने पिनाका के Mk-II और गाइडेड वेरिएंट का भी विकास एवं सफलतापूर्वक परीक्षण किया है, जिसकी रेंज लगभग 60 किलोमीटर है, जबकि गाइडेड पिनाका सिस्टम की रेंज 75 किलोमीटर है और इसमें एकीकृत नेविगेशन, नियंत्रण तथा मार्गदर्शन प्रणाली भी मौजूद है।
- गाइडेड पिनाका मिसाइल की नेविगेशन प्रणाली को ‘भारतीय क्षेत्रीय नेविगेशन सैटेलाइट सिस्टम’ (IRNSS) द्वारा भी सहायता प्राप्त होती है।
विगत वर्षों के प्रश्न:प्रश्न. कभी-कभी खबरों में दिखने वाला ‘टर्मिनल हाई एल्टीट्यूड एरिया डिफेंस’ (THAAD) क्या है? (2018) (a) एक इज़रायली रडार सिस्टम उत्तर: (c)
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