ड्राफ्ट ‘डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर’ | 05 Sep 2020

प्रिलिम्स के लिये:

डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर, सहमति प्रबंधक संस्था, अकाउंट एग्रीगेटर्स

मेन्स के लिये:

डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर

चर्चा में क्यों?

हाल ही में नीति आयोग (Niti Aayog) द्वारा 'डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर’ (Data Empowerment and Protection Architecture- DEPA) का मसौदा जारी किया गया।

प्रमुख बिंदु:

  • ड्राफ्ट- DEPA पर 1 अक्तूबर तक सभी हितधारकों से प्रतिक्रिया मांगी गई है।
  • ड्राफ्ट- DEPA,  ‘डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर’ (DEPA) को वर्ष 2020 में क्रियान्वित किये जाने की व्यवहारिता को दर्शाता है।

DEPA का विज़न:

  • ड्राफ्ट- DEPA इस अवधारणा पर आधारित है कि व्यक्ति स्वयं व्यक्तिगत डेटा की उपयोगिता को निर्धारित करने के मामले में सबसे अच्छे न्यायाधीश हैं। अत: व्यक्तियों का अपने व्यक्तिगत डेटा का उपयोग करने तथा इसे साझा करने के तरीकों पर नियंत्रण होना चाहिये। 
  • ड्राफ्ट- DEPA इस विश्वास के साथ तैयार किया गया है कि डेटा संरक्षण की दिशा में कार्य करने वाली एजेंसियाँ भारतीयों को अपने जीवन को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी।

DEPA के आधार:

  • ‘डेटा एम्पावरमेंट एंड प्रोटेक्शन आर्किटेक्चर’ के निर्माण के लिये सामान्यत: तीन आधारभूत स्तंभों की आवश्यकता होती है:
    • विनियमन को सक्षम करना; 
    • अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी के मानकों का निर्धारण,;
    • सार्वजनिक और निजी संगठनों की भागीदारी। 
  • ड्राफ्ट- DEPA में इन तीनों को आधार बनाया गया है।

ड्राफ्ट- DEPA के प्रमुख प्रावधान:

पहुँच तथा साझा का अधिकार (Access and Sharing Rights):

  • यह लोगों को सुरक्षित रूप से अपने डेटा तक पहुँच स्थापित करने और इसे तीसरे पक्ष अथवा संस्थानों के साथ साझा करने का अधिकार देता है।

‘सहमति प्रबंधक संस्था’ (Consent Manager institution):

  • एक नवीन 'सहमति प्रबंधक संस्था' की स्थापना की जाएगी, जो यह सुनिश्चित करने की दिशा में कार्य करेगी कि व्यक्ति द्वारा निजी डेटा के उपयोग के लिये प्रदान की गई सहमति का दुरुपयोग न किया जाए तथा इसके लिये 'नवीनतम डिजिटल मानकों' (API मानकों) का उपयोग किया जाए।
  • ये 'सहमति प्रबंधक संस्थान’ व्यक्तिगत डेटा अधिकारों की सुरक्षा करने की दिशा में भी कार्य करेंगे। 

Data-Empowerment

सरकार द्वारा उठाए गए कदम:

‘अकाउंट एग्रीगेटर्स’ प्रणाली:

  • वित्तीय क्षेत्र में 'सहमति प्रबंधकों' जिन्हे; 'अकाउंट एग्रीगेटर्स' (AA) के रूप में जाना जाता है, की स्थापना की दिशा में आरबीआई द्वारा पूर्व में दिशा-निर्देश जारी किये गए थे। 
    • अकाउंट एग्रीगेटर (फाइनेंशियल डेटा एग्रीगेटर) एक वेब आधारित अथवा API आधारित प्रणाली है जो विभिन्न प्रकार के अकाउंट, जैसे- बैंक अकाउंट, इन्वेस्टमेंट अकाउंट, क्रेडिट कार्ड अकाउंट आदि की सूचनाओं को संग्रहीत करती है।
  • एक नवीन 'गैर-लाभकारी संस्थान 'अकाउंट एग्रीगेटर्स' (AA) 'डिजिसहमति फाउंडेशन (DigiSahamati Foundation) जिसे 'सहमति’ (Sahamati) कहा जाता है, मौजूदा वित्तीय संस्थाओं को तकनीकी मानकों को अपनाने में सहयोग प्रदान करने की दिशा में कार्य करेगा।

स्वास्थ्य क्षेत्र में 'वन हेल्थ आईडी':

  • DEPA को स्वास्थ्य क्षेत्र में लागू किया जा रहा है। प्रधानमंत्री द्वारा 'राष्ट्रीय डिजिटल स्वास्थ्य मिशन' (National Digital Health Mission) की घोषणा की गई थी, जो 'वन हेल्थ आईडी' और व्यक्तिगत स्वास्थ्य रिकॉर्ड को साझा करने की रूपरेखा शामिल करता है।

अन्य प्रमुख कदम:

  • दूरसंचार क्षेत्र में जुलाई 2018 में ‘भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण’ (TRAI) जारी गोपनीयता पर परामर्श रिपोर्ट के बाद DEPA को लागू किया जा रहा है।
  • सरकारी विभागों में DEPA को लागू करने का प्रयास 'वस्तु एवं सेवा कर’ (GST) में किया गया है। यह प्रथम 'सरकारी सूचना प्रदाता' (Government Information Provider- GIP) विभाग होगा।  

GIP

DEPA का महत्त्व:

वित्तीय समावेशन:

  • वर्तमान समय में कम विश्वसनीय डेटा तथा असंगठित देता के कारण भारत की अधिकांश ग्रामीण और शहरी गरीब आबादी व्यक्तिगत तथा वित्तीय उत्पादों तक पहुँच में असमर्थ है। 
  • डेटा का अच्छी तरह से डिज़ाइन किया गया पूल व्यक्तियों को गरीबी के जाल से बाहर निकालने और सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSMEs) के विकास को प्रोत्साहित करने में सहायक होगा। 

विकेंद्रीकृत प्रणाली:

  • DEPA में वर्तमान 'संगठन-केंद्रित डेटा साझाकरण प्रणाली' के स्थान पर 'व्यक्तिगत केंद्रित दृष्टिकोण' पर बल दिया गया है, जो डेटा साझाकरण उपयोगकर्त्ता के नियंत्रण को बढ़ावा देता है।
  • वर्तमान समय में डेटा को एकत्रित करना बहुत ही बोझिल कार्य है अत: विकेंद्रित डेटा भंडारण इस बोझ में कम करेगा।

व्यापक उपयोगिता:

  • DEPA को  वित्तीय और हेल्थकेयर सहित विभिन्न क्षेत्रों में लागू किया जा सकता है। इसे दूरसंचार, शैक्षिक आदि क्षेत्रों में लागू करने से नौकरियों के बेहतर अवसर बन सकते हैं।

निष्कर्ष:

  • ऐसा विश्वास किया जा सकता है DEPA के माध्यम से परिवर्तनकारी डेटा गवर्नेंस दृष्टिकोण को लागू करने में मदद मिलेगी। यह भारत के नवीन 'इंडिया वे' (India Way) दृष्टिकोण को दर्शाता है जो डेटा सुरक्षा, साझाकरण, सहमति और गोपनीयता के संबंध में दुनिया भर के अन्य मॉडलों से काफी अलग है।

स्रोत: इंडियन एक्सप्रेस