प्रिलिम्स फैक्ट्स (20 Oct, 2022)



बुकर पुरस्कार 2022

हाल ही में श्रीलंकाई लेखक शेहान करुणातिलका ने अपने उपन्यास “द सेवन मून्स ऑफ माली अल्मेडा” के लिये बुकर पुरस्कार 2022 जीता। यह उपन्यास एक मृत युद्ध फोटोग्राफर की कहानी के बारे में बताता है जो बाद के जीवन में एक मिशन पर है।

बुकर पुरस्कार:

  • बुकर पुरस्कार उपन्यास (साहित्य लेखन) के क्षेत्र में विश्व का अग्रणी साहित्यिक पुरस्कार है।
  • इसकी स्थापना 1969 में यूके में की गई थी, आरंभ में यह पुरस्कार राष्ट्रमंडल के लेखकों को दिया जाता था, लेकिन अब यह यह सभी मूल के लेखकों को आमंत्रित करता है।
  • प्रतिवर्ष अंग्रेज़ी भाषा में लिखी गई और यूके एवं आयरलैंड में पब्लिश सर्वोत्कृष्ट कृति की रचना करने वाले को बुकर पुरस्कार दिया जाता है, जिसका निर्धारण एक पैनल द्वारा किया जाता है।
  • पुरस्कृत कृति वर्तमान संदर्भों को समेटने के साथ-साथ साहित्य के क्षेत्र में ख्याति प्राप्त रचनाओं की श्रेणी में भी शामिल होती है।

स्रोत: द हिंदू


जिराफ

लगभग 150 साल पहले, ब्रिटिश उपनिवेशवादी अफ्रीका में अपने अन्य औपनिवेशिक क्षेत्रों से जिराफों को लाए थे।

जिराफ के बारे में मुख्य बिंदु -

  • सामान्य:
    • शारीरिक विशेषताएंँ:
      • जिराफ , (जीनस जिराफ ) अफ्रीका के लंबी गर्दन और खुर वाले स्तनधारियों की चार प्रजातियों में से एक है। लंबे पैरों के साथ इनमें हल्की पृष्ठभूमि पर अनियमित भूरे रंग के पैच होते हैं
      • भूमि पर पाए जाने वाले सभी जानवरों में जिराफ सबसे ऊँचे हैं; नर की ऊँचाई 5.5 मीटर (18 फीट) तक तथा मादा की ऊँचाई लगभग 4.5 मीटर तक होती है।
      • लगभग आधे मीटर लंबी प्रीहेंसाइल (पकड़ने वाली) जीभ का उपयोग करके, वे ज़मीन से लगभग छह मीटर की दूरी तक के पत्तों तक पहुँचने में सक्षम हैं।
      • जिराफ चार साल की उम्र तक लगभग अपनी पूरी ऊँचाई प्राप्त कर लेते हैं लेकिन इनका वज़न सात या आठ साल की उम्र तक बढ़ता है। नर जिराफ का वज़न 1,930 किलोग्राम, मादा जिराफ का वज़न 1,180 किलोग्राम तक होता है।
      • दोनों के पास एक  जोड़ी सींग होते हैं, हालाँकि नर जिराफ की खोपड़ी पर हड्डी जैसा कुछ उभार होता है।
    • खान-पान की आदतें:
      • जिराफ मुख्य रूप से काँटेदार बबूल के पेड़ के नए अंकुर और पत्ते खाना पसंद करते हैं।
      • जिराफ अपने भोजन से अधिकांश जल प्राप्त करते हैं, हालाँकि शुष्क मौसम में वे कम-से-कम हर तीन दिन में जल पीते हैं।
    • भौगोलिक स्थिति:
      • पूर्वी अफ्रीका में घास के मैदानों और खुले जंगलों में जिराफ आमतौर पर देखे जा सकते हैं।
  • भारतीय जिराफ:
    • भारत में उत्तरी जिराफ (29 व्यक्तिगत जिराफ) की सबसे बड़ी कैप्टिव आबादी कोलकाता के अलीपुर ज़ूलॉजिकल गार्डन में है।
      • एक हालिया वंशावली अध्ययन ने पुष्टि की है कि इसमें कम-से-कम नूबियन जिराफ या रॉथचाइल्ड जिराफ होने की सबसे अधिक संभावना है।
    • नूबियन जिराफ, जिराफ की उप-प्रजाति है जो पूर्वोत्तर अफ्रीका में हर जगह व्यापक रूप से पाई जाती थी। हालाँकि पिछले 3 दशकों में नूबियन जिराफ की 95% आबादी में गिरावट आई है
      • रॉथचाइल्ड, जिराफ की सबसे ऊँची उप-प्रजातियों में से एक है, जिसकी लंबाई 6 मीटर तक होती है। इसका रंग अन्य जिराफों की तुलना में अद्वितीय है क्योंकि इनके शरीर पर बने निशान उनके आधे पैरों तक ही होते हैं।
    • IUCN रेड लिस्ट स्थिति:
      • नूबियन जिराफ - गंभीर रूप से लुप्तप्राय
      • रॉथचाइल्ड जिराफ - लुप्तप्राय

स्रोत: द हिंदू


Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 20 अक्तूबर, 2022

विश्व ऑस्टियोपोरोसिस दिवस  

प्रतिवर्ष 20 अक्तूबर को विश्व ऑस्टियोपोरोसिस दिवस (World Osteoporosis Day) के रूप में  मनाया जाता है। यह दिवस ऑस्टियोपोरोसिस की रोकथाम, निदान और उपचार के लिये वैश्विक जागरूकता के प्रसार के प्रति समर्पित है। WOD का उद्देश्य बड़े पैमाने पर स्वास्थ्य पेशेवरों, नीति निर्माताओं एवं आमजन तक पहुँच बनाकर ऑस्टियोपोरोसिस और फ्रैक्चर (अस्थि-भंग) की रोकथाम को वैश्विक स्वास्थ्य प्राथमिकता बनाना है। विश्व ऑस्टियोपोरोसिस दिवस, 2022 का विषय “स्टेप अप फॉर बोन हेल्थ” है। यह विषय समस्त आयु वर्ग में अस्थियों के बेहतर स्वास्थ्य को बनाए रखने के लिये विशेष कार्य (व्यायाम) करने तथा वयस्क जीवन (प्रौढ़ जीवन) में ऑस्टियोपोरोसिस व फ्रैक्चर (अस्थि-भंग) के ज़ोखिम को कम करने पर केंद्रित है। यूनाइटेड किंगडम की नेशनल ऑस्टियोपोरोसिस सोसायटी ने 20 अक्तूबर, 1996 को ‘विश्व ऑस्टियोपोरोसिस दिवस’ की शुरुआत की। अंतर्राष्ट्रीय ऑस्टियोपोरोसिस फाउंडेशन ने वर्ष 1997 में इस दिवस का समर्थन किया, तब से WOD पूरी दुनिया में मनाया जाता है। अस्थिसुषिरता या ऑस्टियोपोरोसिस एक अस्थि-रोग है जिसमें फ़्रैक्चर का खतरा बढ़ जाता है। ऑस्टियोपोरोसिस का मुख्य कारण अस्थियों के ऊतकों की खराबी है। इस रोग में अस्थियाँ नाज़ुक एवं कमज़ोर हो जाती हैं, जिसके परिणामस्वरूप रीढ़ की हड्डी विशेषकर कूल्हे एवं कलाई के फ्रैक्चर होने का खतरा बढ़ जाता है।

14वाँ जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम

युवा और खेल मामलों के मंत्रालय ने 19 अक्तूबर, 2022 को नई दिल्‍ली में गृह मंत्रालय के सहयोग से जनजातीय युवाओं के विकास के लिये 14वें जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम के आयोजन की शुरुआत हुई। यह कार्यक्रम सात दिनों तक चलेगा। इसका उद्देश्‍य जनजातीय युवाओं को देश की भव्‍य सांस्‍कृतिक धरोहर से अवगत कराना है ताकि वे विविधिता में एकता के सिद्धांत को भलिभाँति समझ सके। इसका उद्देश्‍य इन युवाओं को देश की विकास गतिविधियों और औद्योगिक विकास से भी अवगत कराना है। इस कार्यक्रम में वामपंथी आतंकवाद से प्रभावित छत्तीसगढ़ के सुकमा एवं राजनंदगाँव, मध्‍य प्रदेश के बालाघाट तथा बिहार के जमुई ज़िले से 18-22 वर्ष आयु के चुनिंदा 220 युवा भाग ले रहे हैं।

भारत में ई-20 फ्लेक्स ईंधन की आपूर्ति का भविष्य

पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में बताया गया है कि देश में फ्लेक्स-फ्यूल इंजन वाले वाहनों के उत्पादन को बड़े पैमाने पर विकसित करने की आवश्यकता है। इसके अंतर्गत ईंधन की आपूर्ति के अगले वर्ष अप्रैल में शुरू किये जाने की संभावनाओं पर चर्चा की गई। पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री ने 19 अक्तूबर को नई दिल्ली में जैविक ईंधन पर अंतर्राष्ट्रीय सम्मेलन- सतत् भविष्य पर चर्चा की। इस कार्यक्रम के तहत फ्लेक्स-फ्यूल ई10 और ई20 वाहनों की बिक्री के लिये वाहन उद्योग को एक व्यवहार्य व्यावसायिक प्रस्ताव बनाने, वर्ष 2025 तक पेट्रोल के साथ ई20 सम्मिश्रण सुनिश्चित किये जाने से देश को प्रतिवर्ष लगभग 30000 करोड़ रुपए की विदेशी मुद्रा बचाने, जैव ईंधन बेचने वाले पेट्रोल पंपों की संख्या 2016-17 के 29897 से लगभग तीन गुना बढ़कर 2021-22 में 67641 होने आदि पर चर्चा की गई। सरकार द्वारा पेट्रोल में 20 प्रतिशत एथेनॉल मिश्रण के लक्ष्य को वर्ष 2030 से पाँच वर्ष कम करके वर्ष 2025 कर दिया गया है।