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फरीदाबाद में वायु एवं ध्वनि प्रदूषण
चर्चा में क्यों?
हाल ही में राष्ट्रीय हरित अधिकरण (NGT) ने यह जाँच करने के लिये एक समिति गठित की है कि क्या अरावली में अनधिकृत पत्थर खनन गतिविधियों के कारण फरीदाबाद के अनंगपुर गाँव में गंभीर वायु एवं ध्वनि प्रदूषण हो रहा है।
प्रमुख बिंदु
- यह कार्रवाई अनंगपुर के निकट निवासियों द्वारा NGT में याचिका दायर करने के बाद की गई, जिसमें आरोप लगाया गया था कि अवैध संचालन से उनके स्वास्थ्य को काफी खतरा है
- समिति में वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (CAQM), केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB), हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (HSPCB), फरीदाबाद के ज़िला मजिस्ट्रेट (DM) और फरीदाबाद के प्रभागीय वन अधिकारी (DFO) के प्रतिनिधि शामिल हैं।
- समिति की ज़िम्मेदारियों में भूमि की प्रकृति का पता लगाने के लिये साइट का दौरा करना, यह पुष्टि करना कि क्या आवश्यक अनुमोदन प्राप्त कर लिया गया है तथा गतिविधियों में लगे व्यक्तियों या संगठनों की पहचान करना शामिल है।
केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB)
- यह एक वैधानिक संगठन है, जिसका गठन वर्ष 1974 में जल (प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण) अधिनियम, 1974 के तहत किया गया था
- CPCB को वायु (प्रदूषण की रोकथाम और नियंत्रण) अधिनियम, 1981 के तहत शक्तियाँ तथा कार्य भी सौंपे गए थे
- यह एक क्षेत्रीय गठन के रूप में कार्य करता है और पर्यावरण (संरक्षण) अधिनियम, 1986 के प्रावधानों के तहत पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय को तकनीकी सेवाएँ भी प्रदान करता है।
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