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इंदिरा गांधी शहरी रोज़गार गारंटी योजना
चर्चा में क्यों?
30 अगस्त, 2022 को जोधपुर के श्री उम्मेद राजकीय स्टेडियम में आयोजित शिलान्यास समारोह में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश में प्रत्येक व्यक्ति तक रोज़गार के अवसर पहुँचाने के लिये ‘इंदिरा गांधी शहरी रोज़गार गारंटी योजना’की शुरूआत 9 सितंबर, 2022 से करने की घोषणा की।
प्रमुख बिंदु
- मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोज़गार गारंटी योजना’की तर्ज़ पर राज्य में ‘इंदिरा गांधी शहरी रोज़गार गारंटी योजना’लागू करने की अभिनव पहल की गई है। अब तक इस योजना में लगभग 1.5 लाख लोगों द्वारा पंजीकरण कराया जा चुका है।
- मुख्यमंत्री की बजट घोषणा वर्ष 2022-23 के अनुसरण में राज्य के शहरी क्षेत्रों की नगरीय निकायों की सीमा में निवास करने वाले परिवारों, विशेष रूप से आर्थिक रूप से कमज़ोर, असहाय एवं बेरोज़गार परिवारों को आर्थिक संबल प्रदान करने हेतु मनरेगा की तर्ज़ पर ‘इंदिरा गांधी शहरी रोज़गार गारंटी योजना’लागू की जा रही है।
- इस योजना का उददेश्य शहरी क्षेत्र में निवास कर रहे परिवार को एक वर्ष में 100 दिवस का गारंटीशुदा रोज़गार उपलब्ध करवाकर उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना है। इस योजना से शहरी क्षेत्र में निवास करने वाले परिवारों को भी जीवनयापन करने में मदद मिलेगी।
- यह देश में सबसे बड़ी शहरी रोज़गार गारंटी योजना है। योजना के लिये सालाना 800 करोड़ रुपए का प्रावधान किया गया है।
- योजना के तहत स्थानीय निकाय क्षेत्र में निवास कर रहे 18 वर्ष से 60 वर्ष की आयु के सदस्य का जन आधार कार्ड के आधार पर पंजीयन किया जाएगा। आवेदक जिस वार्ड या ज़ोन में रहता है, उसे वहीं रोज़गार उपलब्ध कराया जाएगा।
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