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स्टेट पी.सी.एस.

  • 28 Feb 2022
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उत्तर प्रदेश Switch to English

चरकुला और कत्थक

चर्चा में क्यों?

27 फरवरी, 2022 को मथुरा रोड स्थित पुराना किला, दिल्ली में आयोजित सांकृतिक संध्या में उत्तर प्रदेश से चरकुला एवं कत्थक की प्रस्तुतियाँ दी गई।

प्रमुख बिंदु 

  • सांस्कृतिक संध्या का उद्घाटन केंद्रीय विदेश एवं संस्कृति राज्य मंत्री मीनाक्षी लेखी ने किया। यह आयोजन आज़ादी के अमृत महोत्सव के तहत विदेश मंत्रालय एवं भारतीय सांस्कृतिक संबंध परिषद द्वारा किया गया।
  • इसमें 25 राज्यों के 175 कलाकारों ने प्रस्तुतियाँ दीं जिसमें उत्तर प्रदेश का चरकुला और कत्थक शामिल हैं।
  • चरकुला उत्तर प्रदेश के ब्रज क्षेत्र में किया जाने वाला नृत्य है। इस नृत्य में महिलाएँ अपने सिर पर बड़े बहु-स्तरीय वृत्ताकार लकड़ी के पिरामिडों को रखकर कृष्ण भक्ति गीतों पर नृत्य करती हैं।
  • कथक भारत के शास्त्रीय नृत्यों में से एक है जो मुख्य रूप से उत्तर भारत में प्रदर्शित किया जाता है। कथक का नृत्य की एक विशिष्ट विधा के रूप में विकास पंद्रहवीं और सोलहवीं शताब्दी में भक्ति आंदोलन के प्रसार के साथ हुआ।
  • यह अवध के अंतिम नवाब वाजिद अली शाह के संरक्षण में प्रमुख कला के रूप में विकसित हुआ। इसके प्रमुख कलाकारों में बिरजू महाराज का नाम उल्लेखनीय है जिनकी अभी हाल ही में मृत्यु हो गई है।

बिहार Switch to English

बिहार पुलिस सुधार

चर्चा में क्यों?

27 फरवरी, 2022 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पुलिस सप्ताह के समापन समारोह में कहा कि राज्य सकरार का लक्ष्य प्रदेश में पुलिसकर्मियों की संख्या को बढ़ाकर प्रति एक लाख आबादी पर 165 से 170 करना है।

प्रमुख बिंदु 

  • उल्लेखनीय है कि भारत में प्रति लाख व्यक्तियों पर पुलिसकर्मियों की स्वीकृत संख्या 195.39 जबकि वास्तविक संख्या 155.78 है। वहीं बिहार में अभी भी प्रति एक लाख की आबादी पर सिर्फ 100 पुलिसकर्मी हैं। 
  • एनसीआरबी 2020 के आँकड़ों के अनुसार अपराध दर के मामले में बिहार 23वें स्थान पर है जबकि अपराधों के संदर्भ में ही इसे जनसंख्या के हिसाब से तीसरा और क्षेत्रफल के हिसाब से 12वाँ स्थान दिया गया है।
  • गौरतलब है कि बिहार में आधुनिक युग में पुलिसिंग की शुरुआत वर्ष 1862 में भारतीय पुलिस अधिनियम, 1861 के लागू होने के साथ हुई थी
  • स्वतंत्रता के बाद बिहार पुलिस ने 1952 में पुलिस कल्याण कोष, पुलिस अस्पताल और पुलिस सूचना कक्ष (पीआईआर) के निर्माण जैसी नवीन पुलिसिंग और कल्याणकारी प्रथाओं की शुरुआत के साथ एक समृद्ध परंपरा की विरासत सँभाली।
  • 1958 में एक पुलिस आयोग की भी स्थापना की गई, जिसका कार्य पुलिस को लोगों के करीब लाना था।

राजस्थान Switch to English

‘उदय खेल महोत्सव’ का समापन

चर्चा में क्यों?

26 फरवरी, 2022 को राजस्थान के चित्तौड़गढ़ ज़िले के निंबाहेड़ा में खिलाड़ियों को प्रोत्साहन देने एवं खेल प्रतिभाओं को आगे लाने के मकसद से शुरू किये गए सात दिवसीय ‘उदय खेल महोत्सव’का समापन हो गया।

प्रमुख बिंदु 

  • ‘उदय खेल महोत्सव’के दौरान विभिन्न खेल वर्ग में प्रतियोगिताएँ आयोजित हुईं जिनमें खिलाड़ियों ने काफी उत्साह दिखाया। 
  • फुटबॉल में फाइनल मैच अमन क्लब और उदय क्लब के बीच हुआ जिसमें अमन क्लब निंबाहेड़ा की टीम विजेता रही। वहीं क्रिकेट प्रतियोगिता में मांगरोल क्लब और गागरोन क्लब के बीच अंतिम मैच हुआ जिसमें मांगरोल की टीम विजेता रही। 
  • वॉलीबॉल में अरनोदा क्लब और मरजीवी क्लब के बीच मैच हुआ जिसमें मरजीवी क्लब की टीम विजेता रही। इसी प्रकार से कबड्डी में फाचर अहिरान और कदमाली के बीच मैच हुआ। 
  • विजेता टीम के खिलाड़ियों को ट्रॉफी और टीमों को प्रोत्साहन राशि 55,555 रुपए प्रदान की गई तथा संबंधित विजेता टीम को अपने वार्ड में विकास कार्य के लिये 10 लाख रुपए की राशि का चेक वितरण किया गया। उप-विजेता टीमों को 25,555 रुपए की प्रोत्साहन राशि दी गई। 
  • सहकारिता मंत्री उदयलाल आंजना ने अपने उद्बोधन में कहा कि ऐसे महोत्सव का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण एवं शहरी क्षेत्र के खिलाड़ियों का शारीरिक और मानसिक विकास करना है। उदय खेल महोत्सव से खिलाड़ियों के शारीरिक-मानसिक विकास के साथ भाईचारा को बढ़ावा मिलता है। एक-दूसरे के विचारों का आदान-प्रदान होता है। 
  • खेल मंत्री अशोक चांदना ने अपने भाषण में खिलाड़ियों का उत्साहवर्द्धन किया एवं खेल के विकास के लिये निंबाहेड़ा विधानसभा क्षेत्र के लिये दो करोड़ रुपए देने की घोषणा की।

हरियाणा Switch to English

मुख्यमंत्री ने किया एस्ट्रोनॉमी लैब का शुभारंभ

चर्चा में क्यों?

27 फरवरी, 2022 को हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने भिवानी के राजकीय मॉडल संस्कृति सीनियर सेकंडरी स्कूल व राजकीय कन्या वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय में स्थापित एस्ट्रोनॉमी लैब का शुभारंभ किया। इस लैब के माध्यम से छात्र ब्रह्मांड का रहस्य जान सकेंगे।

प्रमुख बिंदु 

  • ज़िले में प्रथम चरण में ज़िला मुख्यालय पर राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल और राजकीय कन्या सीनियर सेकंडरी स्कूल तथा कस्बा बवानीखेड़ा के राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल में एस्ट्रोनॉमी लैब तैयार करवाई गई है। 
  • राजकीय मॉडल संस्कृति स्कूल में कल्पना चावला एस्ट्रोनॉमी लैब तथा राजकीय कन्या सीनियर सेकंडरी स्कूल में डॉ. विक्रम साराभाई के नाम से एस्ट्रोनॉमी लैब तैयार करवाई गई है।
  • इस एस्ट्रोनॉमी लैब में बच्चे टेलीस्कोप के द्वारा पृथ्वी का वायुमंडल, चांद व तारों को देख सकेंगे। बच्चे टिमटिमाते तारों के बारे में नई-नई जानकारी हासिल करेंगे। एक लैब में चार टेलीस्कॉप की सुविधा मुहैया करवाने की योजना है।
  • एस्ट्रोनॉमी लैब में बच्चों को ब्रह्मांड के बारे में हर सवालों के जवाब मिलेंगे। इसके लिये लैब में 25 वर्किंग मॉडल होंगे, जिससे बच्चे जान सकेंगे कि आसमान का रंग नीला क्यों हैं? तारे क्यों चमकते हैं? चांद और सूरज कहाँ छिप जाते हैं? या फिर रात के समय आसमान काला क्यों दिखाई देता है?
  • लैब स्थापित करने के तीन मुख्य उद्देश्य हैं-
    • 21वीं सदी के भारत में सभी छात्रों के अंदर अंतरिक्ष के व्यावहारिक ज्ञान के ज़रिये उत्सुकता जाग्रत् करना।
    • छोटी उम्र से ही सभी बच्चों में साइंटिफिक टेंपर विकसित करना।
    • टेलीस्कोप के माध्यम से सौरमंडल के अन्य ग्रहों को पास से देखना और उनके चित्र कैमरे में कैद करना है।

हरियाणा Switch to English

38वीं राज्यस्तरीय पशुधन प्रदर्शनी

चर्चा में क्यों?

25 से 27 फरवरी, 2022 तक हरियाणा के भिवानी के हुडा ग्राउंड में आयोजित 38वीं राज्यस्तरीय पशुधन प्रदर्शनी का समापन हो गया। प्रदर्शनी के अंतिम दिन मुख्यमंत्री मनोहर लाल बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए।

प्रमुख बिंदु 

  • प्रदेश के पशुपालन एवं डेयरी विभाग तथा हरियाणा पशुधन विकास बोर्ड द्वारा आयोजित 38वीं पशुधन प्रदर्शनी का उद्घाटन प्रदेश के राज्यपाल बंडारु दत्तात्रेय ने 25 फरवरी को किया था। 
  • मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने पशुधन प्रदर्शनी को संबोधित करते हुए पशुपालन विभाग की दवाइयों का बजट दुगुना करने की घोषणा की।
  • कृषि मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि इस पशुधन प्रदर्शनी का सफल आयोजन कोरोना महामारी के कारण दो साल बाद किया गया है। इसे हर साल आयोजित किया जाएगा।
  • उन्होंने कहा कि प्रदेश में पशुपालन विभाग की ओर से एंबुलेंस सेवा के लिये 70 मोबाइल वैन शुरू की जाएंगी तथा कृत्रिम गर्भाधान की प्रक्रिया बकरियों के लिये भी आरंभ की जाएगी।
  • इस प्रदर्शनी में दो हज़ार बेहतर नस्ल के पशु लाए गए, जिनको देखकर अन्य किसानों को भी अपने पशु का खान-पान और नस्ल सुधार करने की प्रेरणा मिली। 
  • प्रदर्शनी में गाय, भैंस, भेड़, बकरी, ऊँट, घोड़े सहित 53 श्रेणियों के उत्तम नस्ल के पशुओं को सरकार द्वारा नकद इनाम दिया गया, जिसमें प्रत्येक श्रेणी में प्रथम, द्वितीय, तृतीय व सांत्वना पुरस्कार आवंटित किये गए। 
  • प्रदर्शनी में नस्ल चैंपियन श्रेणी में मुर्रा, हरियाणा साहीवाल और एगज्योटिक नस्ल के प्रत्येक नर व मादा को 2.5 लाख व 1.5 लाख रुपए का नकद इनाम दिया गया। इस तरह प्रदर्शनी में राज्य सरकार द्वारा उत्तम पशु रखने वाले पशुपालकों को 37 लाख 31 हज़ार 800 रुपए की नकद राशि का वितरण किया गया। 
  • प्रदर्शनी में सर्वश्रेष्ठ पशु का इनाम रोहतक निवासी देवेंद्र सिंह के झोटे को मिला। उसके बाद हरियाणा नस्ल में प्रथम स्थान झज्जर ज़िले के गाँव गवालिसन निवासी ब्रह्म प्रकाश की गाय को मिला। 
  • इसी प्रकार साहीवाल नस्ल में प्रथम स्थान करनाल ज़िले के नवदीप की गाय को मिला। क्रॉस ब्रीड नस्ल में महेंद्रगढ़ ज़िले के गुढा निवासी नीटू की गाय ने प्रथम स्थान हासिल किया। इसी प्रकार गाय की गीर नस्ल में सोनीपत निवासी वीरेंद्र की गाय ने प्रथम स्थान प्राप्त किया।
  • द्वितीय स्थान प्राप्त करने वाले पशुओं की मुर्रा नस्ल में हिसार निवासी होशियार सिंह की भैंस दूसरे स्थान पर रही। इसी प्रकार हरियाणा नस्ल में पानीपत निवासी नरेंद्र की गाय दूसरे स्थान पर, साहीवाल नस्ल में करनाल निवासी वासुदेव की गाय तथा क्रॉस ब्रीड नस्ल में महेंद्रगढ़ निवासी नीटू की गाय दूसरे स्थान पर रहीं।
  • प्रदर्शनी में भिवानी जिले के गाँव ढाणी माहू निवासी विक्की के बकरे ने प्रथम स्थान प्राप्त किया। इसी प्रकार भिवानी ज़िले के गाँव नांगल निवासी रजनीश की बकरी प्रथम स्थान पर रही।

झारखंड Switch to English

तृतीय नेशनल वाटर अवार्ड विनर ‘गुनी गाँव’

चर्चा में क्यों?

हाल ही में जलशक्ति मंत्रालय द्वारा घोषित किये गए तीसरे नेशनल वाटर अवार्ड में बेस्ट विलेज पंचायत कैटेगरी ईस्ट ज़ोन में गुनी गाँव को तीसरा स्थान प्राप्त हुआ है।

प्रमुख बिंदु 

  • गुनी गाँव झारखंड राज्य की राजधानी राँची से 30 किमी. दूर खूँटी ज़िले के कर्रा प्रखंड में घुंसुली पंचायत में स्थित है।
  • गुनी गाँव की इस उपलब्धि का श्रेय झारखंड सरकार द्वारा ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सुदृढ करने के उद्देश्य से मनरेगा के तहत संचालित अनेक योजनाओं, जैसे- ‘नीलांबर-पीतांबर जल समृद्धि योजना’, ‘बिरसा हरित ग्राम योजना’आदि को है जिनका उद्देश्य जल का संचय कर भूमि के जल स्तर में बढ़ोतरी कराना, मिटेी के कटाव को कम करना, फसलों की सिंचाई के लिये उपयुक्त जल को संग्रह कर रखना आदि है।
  • गौरतलब है कि 2018 में जलशक्ति मंत्रालय ने पहला ‘राष्ट्रीय जल पुरस्कार’लॉन्च किया था जिसका उद्देश्य जल संसाधन संरक्षण एवं प्रबंधन के क्षेत्र में सराहनीय कार्य करने वाले व्यक्तियों/संगठनों को प्रेरित करना तथा जल के महत्त्व के बारे में लोगों में जागरूकता पैदा करना और उन्हें सर्वोत्तम जल उपयोग प्रथाओं को अपनाने के लिये प्रोत्साहित करना है।

छत्तीसगढ़ Switch to English

गोंडवाना कप ऑल इंडिया टेनिस टूर्नामेंट का शुभारंभ

चर्चा में क्यों?

27 फरवरी, 2022 को छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनुसुइया उइके ने यूनियन क्लब रायपुर में मध्य भारत के प्रतिष्ठित गोंडवाना कप ऑल इंडिया टेनिस टूर्नामेंट का शुभारंभ किया।  

प्रमुख बिंदु 

  • शुभारंभ समारोह में राज्यपाल उइके द्वारा राज्य के उभरते हुए उत्कृष्ट टेनिस खिलाड़ियों को सम्मानित किया गया। छत्तीसगढ़ प्रदेश टेनिस संघ द्वारा इस अवसर पर राज्यपाल उइके को स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया गया।
  • राज्यपाल ने गोंडवाना कप का शुभारंभ करते हुए खिलाड़ियों से कहा कि वे खेल भावना से खेलें और स्वस्थ प्रतिस्पर्द्धा के साथ अपना उत्कृष्ट प्रदर्शन करें। खेल जीवन में अनुशासन सिखाता है और नेतृत्व क्षमता का विकास करता है। खेल से राष्ट्रीयता और देश-प्रेम की भावना भी बढ़ती है।  
  • उल्लेखनीय है कि गोंडवाना कप की शुरुआत लगभग 85 वर्ष पहले 1937-38 में हुई थी और यूनियन क्लब, रायपुर ही गोंडवाना कप का सर्वप्रथम आयोजक रहा। 
  • छत्तीसगढ़ प्रदेश टेनिस संघ ने एक और उल्लेखनीय कार्य करते हुए पिछले साल से गोंडवाना कप आईटीएफ वुमेंस टेनिस स्पर्द्धा की शुरुआत की है।

उत्तराखंड Switch to English

वसंतोत्सव, 2022

चर्चा में क्यों?

25 फरवरी, 2022 को उत्तराखंड के राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से.नि.) की अध्यक्षता में आयोजित बैठक में 8 और 9 मार्च, 2022 को वसंतोत्संव, 2022 के आयोजन का निर्णय लिया गया।

प्रमुख बिंदु 

  • वसंतोत्सव का आयोजन प्रत्येक वर्ष उत्तराखंड राजभवन में किया जाता है जिसकी शुरुआत इस वर्ष उत्तराखंड के लोकपर्व फूलदेई से की जाएगी।
  • इसमें आयोजित किये जाने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रम की मुख्य थीम फूलों की होली रहेगी।
  • उत्सव के दौरान मशरूम, शहद उत्पादन, जड़ी-बूटी, जैविक खेती आदि क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाले पाँच ब्रांड अंबेसडर को राज्यपाल द्वारा सम्मानित किया जाएगा। साथ ही डाक विभाग के सौजन्य से मां यमुना के मंदिर में अर्पित की जाने वाली यमुना तुलसी (कुंज) पर स्पेशल पोस्टल कवर जारी किया जाएगा।
  • वसंत उत्सव में 5 से 18 वर्ष के आयु वर्ग के सभी स्कूली बच्चों के लिये पेंटिंग प्रतियोगिता का भी आयोजन किया जाएगा जिसमें विभिन्न अनाथालयों में रहने वाले बच्चों, दिव्यांग बच्चों तथा रैग पिकर्स बच्चों को भी विशेष रूप से आमंत्रित किया जाएगा। इस प्रतियोगिता के लिये 21 पुरस्कार प्रदान किये जाएंगे।

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