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राज्यपाल ने दी पंडित रघुनाथ मुर्मू जनजातीय विश्वविद्यालय विधेयक को मंज़ूरी
चर्चा में क्यों?
20 सितंबर, 2022 को राज्यपाल रमेश बैस ने झारखंड विधानसभा से पारित पंडित रघुनाथ मुर्मू जनजातीय विश्वविद्यालय विधेयक, 2022 पर स्वीकृति प्रदान कर दी।
प्रमुख बिंदु
- राज्यपाल के पास यह विधेयक दूसरी बार भेजा गया था। इससे पूर्व इस विधेयक के हिन्दी और अंग्रेज़ी संस्करण में त्रुटि रहने के कारण राज्यपाल ने वापस लौटा दिया था। इसके बाद सुधार करते हुए विधानसभा के मानसून सत्र में इसे पारित कराकर दोबारा राज्यपाल के पास भेजा गया था।
- पंडित रघुनाथ मुर्मू जनजातीय विश्वविद्यालय का मुख्यालय जमशेदपुर होगा और क्षेत्राधिकार संपूर्ण झारखंड में रहेगा। विश्वविद्यालय के कुलपति की नियुक्ति राज्य सरकार द्वारा निर्धारित सर्च कमेटी की अनुशंसा पर राज्यपाल करेंगे।
- विश्वविद्यालय के निर्माण का उद्देश्य जनजातीय भाषा और आदिवासी समुदाय की समृद्ध सांस्कृतिक परंपरा को सहेजना, उन पर शोध करना तथा आदिवासी समाज के मेधावी विद्यार्थियों को प्रोत्साहित करना है।
- जनजातीय विश्वविद्यालय सभी वर्गों, जातियों और पंथों के लिये खुला रहेगा। ज़रूरत के हिसाब से किसी भी ज़िले में रीजनल सेंटर खोला जा सकेगा। विश्वविद्यालय में 10 संकाय में छात्र शिक्षा प्राप्त कर सकेंगे।
- इस विश्वविद्यालय के खुलने से झारखंड के साथ-साथ पश्चिम बंगाल और ओडिशा के छात्रों को भी लाभ मिलेगा। इस विश्वविद्यालय का निर्माण जमशेदपुर के गालूडीह और घाटशिला के बीच करने की योजना है।
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