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छह निजी अस्पताल आयुष्मान योजना की सूची से बाहर
चर्चा में क्यों?
17 मार्च, 2022 को उत्तराखंड राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण ने आयुष्मान योजना के गोल्डन कार्ड पर मरीज़ों को अस्पताल में उपलब्ध सभी स्पेशियलिटी की सुविधाएँ न देने पर छह निजी अस्पतालों की सूचीबद्धता रद्द कर दी।
प्रमुख बिंदु
- राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण ने देहरादून, ऊधमसिंह नगर, नैनीताल और टिहरी ज़िले के छह निजी अस्पतालों की योजना में सूचीबद्धता समाप्त कर दी है। इसमें कंबाइंड मेडिकल इंस्टीट्यूट, देहरादून (सीएमआई), सुंदर मोहन डेंटल केयर एंड रूट कैनाल सेंटर देहरादून, ऊषा बहुगुणा अल्फा हेल्थ इंस्टीट्यूट नैनीताल, गहतोरी हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर, किशोर हॉस्पिटल ऊधमसिंह नगर व क्रिश्चियन हॉस्पिटल चंबा शामिल हैं।
- उल्लेखनीय है कि प्राधिकरण की ओर से सूचीबद्ध अस्पतालों को सभी स्पेशियलिटी की सुविधाएँ उपलब्ध कराने के लिये एक माह का समय दिया गया था। वेलमेड हॉस्पिटल को छोड़कर बाकी कोई भी निजी अस्पताल सभी सेवाएँ देने को तैयार नहीं हुआ। इस पर प्राधिकरण ने सूचीबद्धता निरस्त करने की कार्रवाई की है।
- राष्ट्रीय स्वास्थ्य प्राधिकरण की आयुष्मान योजना की गाइडलाइन के मुताबिक सूचीबद्ध अस्पतालों को उपलब्ध सभी स्पेशियलिटी की सुविधाएँ मरीज़ों को देनी होंगी।
- प्रदेश में कई ऐसे निजी अस्पताल हैं, जिन्होंने गोल्डन कार्ड पर एक या दो बीमारियों का इलाज करने को सूचीबद्ध किया है। इससे गोल्डन कार्ड धारक मरीजों को इलाज कराने में दिक्कतें आ रही हैं।
- गौरतलब है कि गोल्डन कार्ड एक ऐसा कार्ड है जिसकी सहायता से देश का कोई भी व्यक्ति आयुष्मान भारत योजना में चुने गए सरकारी और निजी हॉस्पिटलों में अपना 5 लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज करवा सकते है। यह कार्ड उन गरीब लोगो को दिया जाता है जो आयुषमान भारत योजना के लाभार्थी होते हैं।
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