हरियाणा Switch to English
हरियाणा को ऊर्जा दक्षता सूचकांक में देशभर में मिला दूसरा पुरस्कार
चर्चा में क्यों?
14 दिसंबर 2023 को हरियाणा के नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा विभाग को ऊर्जा दक्षता सूचकांक में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने वाली राज्य नामित एजेंसी श्रेणी (समूह-1) में दूसरा पुरस्कार मिला है।
प्रमुख बिंदु
- नई दिल्ली में आयोजित 33वें राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण पुरस्कार 2023 समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू द्वारा हरियाणा के ऊर्जा मंत्री चौधरी रणजीत सिंह को यह पुरस्कार प्रदान किया गया।
- वर्ष 2021-22 के मध्य राज्य ऊर्जा दक्षता सूचकांक (एस.ई.ई.आई.) में हरियाणा का स्कोर 55 था जबकि डीएनआरई/हरेडा एवं हरियाणा के अन्य हितधारक विभागों के सहयोगात्मक प्रयासों से एसईईआई 2023 में 72 अंक प्राप्त किया है।
- प्रदेश में नवीकरणीय ऊर्जा की स्थापित क्षमता 1534 मेगावाट है तथा कुल मिलाकर 24 प्रतिशत से अधिक बिजली का उपयोग नवीकरणीय ऊर्जा से किया जा रहा है।
- विदित हो कि भारत सरकार के ऊर्जा मंत्रालय द्वारा ऊर्जा की खपत को कम करने के विशेष प्रयासों के लिए उद्योगों और प्रतिष्ठानों को सम्मान देने हेतु वर्ष 1991 में राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण पुरस्कारों की योजना शुरू किया गया था।
- इस पुरस्कार के अंतर्गत उद्योगों, परिवहन, भवन, संस्थान और उपकरण जैसी विशिष्ट क्षेत्र/श्रेणियों के तहत ये पुरस्कार जारी किए जाते हैं। इन क्षेत्रों से लगभग 65 संकेतक हैं जो 100 अंक के पैमाने पर राज्य के प्रदर्शन का आकलन करते है।
- इस पुरस्कार के संस्थान श्रेणी के तहत पुरस्कार देश की राज्य नामित एजेंसी (एस.डी.ए.) को नीति, क्रियान्वयन और हितधारकों के साथ समन्वय में उनके सक्रिय सहयोग के लिए दिया जाता है।
- एस.डी.ए. श्रेणी के अंतर्गत 4 समूह हैं- समूह-1 में 15 मिलियन टन तेल समतुल्य (एम.टी.ओ.ई.) से अधिक खपत वाले राज्य है, समूत-2 में 5-15 एम.टी.ओ.ई. के राज्य, समूह-3 में 1-5 एम.टी.ओ.ई. के राज्य और समूह-4 में 1 एम.टी.ओ.ई. से कम खपत वाले राज्य हैं।
- ऊर्जा दक्षता ब्यूरों (बीईई), ऊर्जा संरक्षण अधिनियम 2001 के कियान्वयन के लिए केन्द्रीय नोडल एजेंसी है। जबकि नवीन नवीकरणीय ऊर्जा विभाग हरियाणा राज्य नामित एजेंसी (एसडीए) है।
हरियाणा Switch to English
हरियाणा ग्रुप-डी कर्मचारियों के लिए संशोधित स्थानांतरण नीति घोषित
चर्चा में क्यों?
14 दिसंबर 2023 को हरियाणा के मुख्य सचिव संजीव कौशल ने बताया कि प्रदेश सरकार ने हरियाणा ग्रुप-डी कर्मचारी अधिनियम, 2018 (कॉमन कैडर) के अंतर्गत आने वाले ग्रुप-डी कर्मचारियों के लिए अपनी स्थानांतरण नीति में संशोधन किया है।
प्रमुख बिंदु
- इस संशोधित नीति का उद्देश्य ग्रुप-डी कर्मचारियों की चिंताओं को दूर करना एवं कॉमन काडर के भीतर अधिक पारदर्शी और कुशल स्थानांतरण प्रक्रिया को बढ़ावा देना है।
- इस संशोधित नीति के अंतर्गत प्रत्येक कर्मचारी को अवांछित पदों की पहचान करनी होगी (उनके संभावित आवंटन से बाहर करने के लिए) और निर्दिष्ट पोर्टल के माध्यम से स्थानांतरण के लिए पसंदीदा जिलों को प्राथमिकता देनी होगी।
- इस संशोधित नीति के अंतर्गत केवल प्रथम अनुसूची के क्रमांक-1 में सूचीबद्ध पदों (हरियाणा सरकार के विभागों में सफाई कर्मचारी, चौकीदार और सफाई कर्मचारी-सह-चौकीदार पदों को छोड़कर), पर नियमित आधार पर नियुक्त ग्रुप-डी कर्मचारी ही पात्र हैं।
- इस संशोधित नीति के तहत स्थानांतरण अभियान में भागीदारी के लिए आधार अथवा पीपीपी को एचआरएमएस से जोड़ना अनिवार्य है।
- इस संशोधित नीति के तहत एचआरएमएस में कुल रिक्त पदों में से केवल 80 प्रतिशत पदों पर ही विचार किया जाएगा। शेष 20 प्रतिशत अनुपलब्ध होगा साथ ही विभाग-वार और पद-वार गणना की जाएगी।
हरियाणा Switch to English
नई शिक्षा नीति-2020 को 2025 तक पूरे प्रदेश में लागू करने का लक्ष्य
चर्चा में क्यों?
14 दिसम्बर 2023 को हरियाणा के उच्चतर शिक्षा मंत्री मूलचंद शर्मा ने बताया कि पूरे प्रदेश में नई शिक्षा नीति-2020 को वर्ष 2025 तक लागू करने का लक्ष्य है।
प्रमुख बिंदु
- उच्चतर शिक्षा मंत्री मूलचंद शर्मा ने बताया कि प्रदेश में नई शिक्षा नीति-2020 को 30 अगस्त,2021 से लागू करने की शुरुआत की गई थी।
- उच्चतर शिक्षा मंत्री मूलचंद शर्मा ने बताया कि वर्ष 2030 तक उच्चतर शिक्षा में लड़कियों का सकल नामांकन अनुपात 50 प्रतिशत से अधिक करना है।
- वर्तमान में हरियाणा में लड़कियों का सकल नामांकन अनुपात 32 प्रतिशत है।
- उच्चतर शिक्षा मंत्री मूलचंद शर्मा ने बताया कि स्नातक शिक्षा में आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस, थ्री-डी मशीन, डेटा-विश्लेषण, जैवप्रौद्योगिकी आदि क्षेत्रों के समावेशन से अत्याधुनिक क्षेत्रों में भी कुशल पेशेवर तैयार होंगे और युवाओं की रोजगार क्षमता में वृद्धि होगी।
- विदित हो कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 एक समावेशी और प्रेरक नीति है, जिसका उद्देश्य भारत में शिक्षा प्रणाली का सुधार और परिवर्तन करना है।
बिहार Switch to English
बिहार में अब कॉमर्शियल वाहनों में डिवाइस लगाना हुआ अनिवार्य
चर्चा में क्यों?
17 दिसंबर 2023 को मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार बिहार में अब प्रत्येक कॉमर्शियल वाहनों में व्हीकल लोकशन ट्रैकिंग डिवाइस एवं इमरजेंसी बटन लगाना अनिवार्य हो गया है।
प्रमुख बिंदु
- परिवहन विभाग के अनुसार राज्य में सार्वजनिक परिवहन की गाड़ियों में महिलाओं एवं यात्रियों की सुरक्षा के उद्देश्य से व्हीकल लोकशन ट्रैकिंग डिवाइस एवं इमरजेंसी बटन लगाना अनिवार्य किया गया है।
- इस डिवाइस के नहीं लगाये जाने पर परिवहन विभाग द्वारा वाहनों का फिटनेस प्रमाण पत्र नहीं दिया जायेगा। साथ ही उस गाड़ी के मालिक पर पांच हजार का जुर्माना भी लगाया जायेगा।
- वर्तमान में पटना, गया, दरभंगा भागलपुर एवं मुजफफरपुर में तेजी से लगाया जा रहा है क्योंकि इन शहरों में सार्वजनिक गाड़ी की संख्या अधिक है।
- यह एक ऐसा डिवाइस है, जिससे यह पता चल पायेगा कि वाहन किस जगह है। इससे परिवहन विभाग के कंट्रोल रूम में प्रत्येक वाहनों के लोकेशन की सही जानकारी मिल पायेगी।
बिहार Switch to English
मुख्यमंत्री ने नवादा में गंगाजल आपूर्ति योजना का किया लोकार्पण
चर्चा में क्यों?
15 दिसंबर 2023 को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा नवादा ज़िला के कादिरगंज के पौरा गांव में गंगाजल आपूर्ति योजना का लोकार्पण किया गया।
प्रमुख बिंदु
- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा 36 मिलियन लीटर क्लियर वाटर पंप हाऊस का उद्घाटन किया गया।
- मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा नवादा में हर घर तक गंगाजल को शुद्ध पेयजल पहुंचाने की शुरुआत भी किया गया।
- इस कार्यक्रम के दौरान गंगाजल आपूर्ति योजना पर आधारित एक लघु फिल्म मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुति दी गई।
- गंगाजल आपूर्ति योजना के अंतर्गत एक मास्टर अंडरग्राउण्ड रिजर्वायर (MUGR) का निर्माण किया गया है। इस रिजर्वायर से सीधे बुडको के चार संप हाऊस में पानी भेजा जाएगा। इसके बाद संप हाऊस से पंप के माध्यम से पानी को 4 वाटर टैंकों में भेजा जाएगा। प्रत्येक वाटर टैंक की क्षमता लगभग साढ़े चार लाख लीटर है।
- गंगाजल आपूर्ति योजना के अंतर्गत प्रत्येक व्यक्ति को प्रतिदिन 135 लीटर (8-9 बाल्टी) की दर से गंगाजल की आपूर्ति की जाएगी।
- गंगाजल आपूर्ति योजना के शुरू होने से नवादा शहर के लोगों के साथ-साथ होटल, धर्मशाला, शिक्षण संस्थान इत्यादि में भी पेयजल की आपूर्ति होगी।
- इसके साथ ही विद्युत आपूर्ति के लिए पौरा स्थित जल-शोधन संयंत्र के पास ही अलग से विद्युत सब-स्टेशन का भी निर्माण किया गया है।
उत्तर प्रदेश Switch to English
प्रधानमंत्री ने वाराणसी में काशी तमिल संगमम 2023 का किया उद्घाटन
चर्चा में क्यों?
17 दिसंबर 2023 को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा उत्तर प्रदेश के वाराणसी में काशी तमिल संगमम 2023 का उद्घाटन किया गया।
प्रमुख बिंदु
- काशी तमिल संगमम का उद्देश्य देश की दो सबसे महत्वपूर्ण और प्राचीन शिक्षा पीठों, तमिलनाडु और काशी के बीच सदियों पुराने संबंधों का उत्सव मनाते हुए इनकी पुष्टि करना और इनका पुनःअन्वेषण करना है।
- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कन्याकुमारी-वाराणसी तमिल संगमम ट्रेन को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया|
- इस अवसर पर तिरुक्कुरल, मणिमेकलाई और अन्य उत्कृष्ट तमिल साहित्य के बहुभाषा और ब्रेल अनुवाद को भी जारी किया।
- आईआईटी, चेन्नई विद्या शक्ति पहल के अंतर्गत विज्ञान और गणित में वाराणसी के हजारों छात्रों को ऑनलाइन सहायता प्रदान की जा रही है।
- प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि काशी तमिल संगमम 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' की भावना को आगे बढ़ाता है।
मध्य प्रदेश Switch to English
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किया कूनो फॉरेस्ट फेस्टिवल का शुभारंभ
चर्चा में क्यों?
17 दिसंबर, 2023 को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने श्योपुर ज़िले के ग्राम रानीपुरा में निर्मित की गई कूनो फॉरेस्ट रिट्रीट (टेंट सिटी) में कूनो फॉरेस्ट फेस्टिवल के पहले संस्करण का शुभारंभ किया।
प्रमुख बिंदु
- मध्य प्रदेश टूरिज्म बोर्ड द्वारा कूनो फॉरेस्ट फेस्टिवल के पहले संस्करण का आयोजन 17 दिसंबर से 21 दिसंबर तक किया जा रहा है।
- कूनो राष्ट्रीय उद्यान के पास बसाई गई अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस टेंट सिटी में हो रहे इस महोत्सव द्वारा क्षेत्र में पर्यटन संभावनाओं को बढ़ावा मिलेगा।
- कूनो फॉरेस्ट रीट्रीट (टेंट सिटी) में पर्यटक लग्जरी ग्लेम्पिंग का आनंद ले सकेंगे। साथ ही पर्यटक हॉट एयर बलूनिंग, पैरामोटरिंग, जंगल सफारी जैसी गतिविधियों से खुद को रोमांचित कर पाएंगे।
- इयाक वेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड और लल्लूजी एंड संस द्वारा मध्य प्रदेश टूरिज्म बोर्ड के सहयोग से आयोजित हो रहे इस फेस्टिवल में सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ रोमांचक गतिविधियों का अनूठा अनुभव भी मिलेगा। स्थानीय कला एवं संस्कृति को प्रचारित करने के लिए विभिन्न गतिविधियां एवं कार्यशालाएं भी होंगी।
- यह फेस्टिवल रोमांच, मनोरंजन और संस्कृति का तालमेल होगा। जंगल सफारी में क्षेत्र की समृद्ध वन्यजीव संपदा को देखने का मौका भी मिलेगा। पारंपरिक कला, सांस्कृतिक आयोजनों और स्वादिष्ट व्यंजनों के साथ मध्य प्रदेश की सांस्कृतिक धरोहरों को प्रचारित भी किया जाएगा।
- 5 दिन तक चलने वाले इस महोत्सव में विभिन्न प्रकार के साहसिक खेल, कला, शिल्प, संगीत ग्राम भ्रमण, भोजन सहित अनेक गतिविधियां आयोजित होंगी। पर्यटकों के लिए एक टेंट सिटी तैयार की गई है, जिसमें 50 सर्व सुविधायुक्त स्विस टेंट लगाए गए हैं।
- पर्यटक यहां पैरा सेलिंग, हॉट एयर बैलूनिंग, पैराग्लाइडिंग, साइलेंट डीजे ऑन साइट के साथ स्टार गेजिंग, जंगल सफारी, देव खोह भ्रमण तथा नाइट वॉक के अनुभव का आनंद ले सकेंगे।
उत्तराखंड Switch to English
उत्तराखंड से हुई देश की पहली हिमालयी एयर सफारी की शुरूआत
चर्चा में क्यों
16 दिसंबर, 2023 को देश की पहली हिमालयी एयर सफारी की शुरूआत उत्तराखंड से की गई। जायरोकॉप्टर एडवेंचर शुरू करने वाला उत्तराखंड देश का पहला राज्य बन गया है।
प्रमुख बिंदु
- विदित हो कि हरिद्वार के बैरागी कैंप में जायरोक्राप्टर की उड़ान का सफल ट्रायल किया गया, जिसमें डीएम हरिद्वार धीरज सिंह गर्ब्याल ने उड़ान भरी।
- प्रदेश में साहसिक पर्यटन को बढ़ावा देने की यह अनोखी पहल है। जायरोकॉप्टर से एयर सफारी के लिए पर्यटन विभाग को डीजीसीए की मंजूरी मिल गई है।
- उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद राजस एयरो स्पोर्ट्स एवं एडवेंचर्स प्राइवेट लिमिटेड के सहयोग से प्रदेश में जायरोकॉप्टर से एयर सफारी शुरू करेगा। एक सीट एयरोकॉप्टर से पर्यटक हवा में रोमांच करने के साथ ही हिमालय और प्राकृतिक सौंदर्य को करीब से निहार सकते हैं।
- पर्यटन विकास परिषद के अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी अश्विनी पुंडीर ने बताया कि जायरोकॉप्टर से प्रदेश के अनछुए पर्यटन स्थल तक पर्यटक आसानी से पहुंच सकेंगे। साथ ही हिमालय, पर्वतमाला, नदियों के हवाई दृश्य का आनंद ले सकते हैं।
- सिंगल सीटर एयरोकॉप्टर को जर्मनी से खरीदा गया है। इससे साहसिक पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। शनिवार को हरिद्वार में जायरोकॉप्टर का ट्रायल किया गया।
राजस्थान Switch to English
एसआईटी एवं एंटी गैंगेस्टर टास्क फ़ोर्स का गठन
चर्चा में क्यों?
17 दिसंबर 2023 को मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने विशेष जांच दल एवं एंटी-गैंगस्टर टास्क फोर्स का गठन किया है|
प्रमुख बिंदु
- मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने बताया कि राज्य में विभिन्न परीक्षाओं में पेपर लीक की रोकथाम एवं त्वरित जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है|
- अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक ( तकनीकी सेवाएं ) वी के सिंह के नेतृत्व में एसआईटी का गठन किया गया है।
- इसके साथ ही राज्य में संगठित अपराधों पर प्रभावी नियंत्रण एवं अपराधियों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई के लिए एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स (Anti Gangster Task Force) का गठन किया गया है|
- राज्य स्तर पर एक विशेष कार्य दल एंटी गैंगस्टर टास्क फोर्स का गठन अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (अपराध) दिनेश एमएन के नेतृत्व में किया गया है।
- यह दल मानवीय व तकनीकी आसूचना संकलन कर संगठित अपराध करने वाले गिरोह की पहचान करेगा और उनका डाटाबेस तैयार कर प्रभावी कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करने के साथ विभिन्न न्यायालयों में विचाराधीन प्रकरणों की प्रभावी मॉनिटरिंग कर गैंगस्टर को सख्त सजा दिलवाने का कार्य करेगा।
- इस जांच दल में एक एडीजी, एक-एक आईजी/ डीआईजी/एसपी, चार एडिशनल एसपी, आठ डीएसपी, 10 इंस्पेक्टर/ एसआई, 10 एएसआई/ हेड कांस्टेबल एवं 15 कांस्टेबल तथा कांस्टेबल कंप्यूटर ऑपरेटर सहित 50 लोग शामिल किए गए हैं।
Switch to English