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14वाँ मध्य कैरियर पाठ्यक्रम (चरण III)
चर्चा में क्यों?
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC), भारत ने इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वन अकादमी, देहरादून में 14वें मध्य कैरियर पाठ्यक्रम (चरण III) के भाग के रूप में भारतीय वन सेवा (आईएफएस) अधिकारियों के लिये एक प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया।
प्रमुख बिंदु
- आईएफएस अधिकारियों का महत्त्व:
- NHRC के अध्यक्ष ने देश की प्राकृतिक विरासत की सुरक्षा में भारतीय वन सेवा के अधिकारियों की महत्त्वपूर्ण भूमिका पर ज़ोर दिया। उन्होंने विकास आवश्यकताओं और संरक्षण प्राथमिकताओं के बीच संतुलन बनाने की उनकी जिम्मेदारी पर प्रकाश डाला।
- उन्होंने अधिकारियों के लिये वन कानून के ऐतिहासिक संदर्भ, वन प्रबंधन में उभरती चुनौतियों तथा कानून, नीति और प्रवर्तन के बीच संबंधों को समझने की आवश्यकता पर ज़ोर दिया ताकि वे अपने कर्त्तव्यों का प्रभावी ढंग से निर्वहन कर सकें।
- वन कानून का ऐतिहासिक विकास:
- अध्यक्ष ने ब्रिटिश काल से लेकर वर्तमान तक वन कानून के ऐतिहासिक विकास पर भी चर्चा की। विकास और संरक्षण के बीच बदलते संतुलन पर भी प्रकाश डाला गया।
- वन भूमि अधिग्रहण पर 2013 के भूमि अधिग्रहण अधिनियम के प्रभाव की जाँच की गई, जिसके परिणामस्वरूप अंततः वन संरक्षण अधिनियम 2023 में संशोधन किया गया।
- वन संरक्षण पर न्यायिक प्रभाव:
- अध्यक्ष ने वन संरक्षण को आकार देने में न्यायालयों की भूमिका पर ज़ोर दिया, उन्होंने वर्ष 1995 के ऐतिहासिक टी. एन. गोदावर्मन मामले का हवाला दिया। इस मामले ने वन क्षेत्र पर लकड़ी उद्योग के हानिकारक प्रभावों को कम किया।
- मज़बूत कानूनों और प्रभावी प्रवर्तन तंत्रों के महत्त्व पर प्रकाश डाला गया तथा यह भी कहा गया कि 'निरंतर आदेश' के माध्यम से न्यायालय की निरंतर भागीदारी, विकास और संरक्षण के बीच संतुलन बनाने में लगातार आने वाली चुनौतियों को उजागर करती है।
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (NHRC)
- के बारे में:
- यह व्यक्तियों के जीवन, स्वतंत्रता, समानता और गरिमा से संबंधित अधिकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करता है।
- भारतीय संविधान और अंतर्राष्ट्रीय प्रसंविदाओं द्वारा गारंटीकृत अधिकार, जिन्हें भारतीय न्यायालयों द्वारा लागू किया जा सकता है।
- स्थापना:
- 12 अक्तूबर 1993 को मानव अधिकार संरक्षण अधिनियम, 1993 के तहत स्थापित।
- मानव अधिकार संरक्षण (संशोधन) अधिनियम, 2006 और मानव अधिकार (संशोधन) अधिनियम, 2019 द्वारा संशोधित।
- मानव अधिकारों को बढ़ावा देने और संरक्षण देने के लिये अपनाए गए पेरिस सिद्धांतों के अनुरूप इसकी स्थापना की गई।
इंदिरा गांधी राष्ट्रीय वन अकादमी
- यह भारत के पर्यावरण एवं वन मंत्रालय के अधीन एक वन सेवा प्रशिक्षण संस्थान है, जिसे मूलतः भारतीय वन महाविद्यालय के रूप में जाना जाता था, जिसकी स्थापना वर्ष 1938 में वरिष्ठ वन अधिकारियों के प्रशिक्षण के लिये की गई थी।
- यह वन अनुसंधान संस्थान, देहरादून के न्यू फॉरेस्ट परिसर में स्थित है।
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