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बिहार स्टेट पी.सी.एस.

  • 16 Oct 2023
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बिहार में तीन नए पावर सब स्टेशन का होगा निर्माण

चर्चा में क्यों?

15 अक्तूबर, 2023 को मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार बिहार में निर्बाध एवं गुणवत्तापूर्ण बिजली आपूर्ति सुनिश्चित करने को लेकर वैशाली, बेगूसराय और बिहारशरीफ में करीब 37 करोड़ रुपए की लागत से तीन नए पावर सब स्टेशन (पीएसएस) का निर्माण किया जाएगा।

प्रमुख बिंदु

  • तीनों पावर सब स्टेशन (पीएसएस) में दस मेगावाट (एमवीए) क्षमता के दो-दो पावर ट्रांसफॉर्मर स्थापित होंगे। इसके साथ ही आधा दर्जन ज़िलों में नवनिर्मित ग्रिडों से पावर सब स्टेशनों को जोड़ने पर 46 करोड़ रुपए खर्च किये जाएंगे।
  • बिजली कंपनी के अनुसार नालंदा ज़िले के रामचंद्रपुर (बिहारशरीफ) सुपरग्रिड कैंपस में 14.73 करोड़ रुपए लागत से जीआईएस आधारित पीएसएस का निर्माण किया जाएगा।
  • वैशाली प्रखंड के ग्रिड कैंपस में ही 10.032 करोड़ रुपए की लागत से नया पीएसएस स्थापित किया जाएगा। वहीं बेगूसराय ज़िला स्थित भगवानपुर प्रखंड के लखनपुर गाँव में 11.98 करोड़ रुपए की लागत से नए सब स्टेशन की मंज़ूरी मिली है।
  • विदित हो कि बिजली कंपनियों ने बिजली की बढ़ी मांग को देखते हुए कई नए ग्रिड का निर्माण किया है। अब उन ग्रिडों को पुराने पावर सब स्टेशनों से जोड़ा जा रहा है, ताकि उनको ओवरलोडेड होने से बचाया जा सके। इससे संबंधित क्षेत्रों को 24 घंटे निर्बाध एवं गुणवत्तापूर्ण बिजली अस्पताल, अनुमंडलीय न्यायालय एवं उपकारा पालीगंज आदि प्रतिष्ठानों को निर्बाध बिजली आपूर्ति की जा सकेगी।


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फ्रांस के इंस्टीट्यूट व आईआईटी पटना के मध्य अकादमिक सहयोग के लिये समझौता

चर्चा में क्यों?

14 अक्तूबर, 2023 को आईआईटी पटना और फ्राँस के इंस्टीट्यूट नेशनल पॉलिटेक्निक डी टूलूज (टूलूज आईएनपी) के मध्य अकादमिक सहयोग के लिये एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर हुआ। यह समझौता ज्ञापन दोनों संस्थानों के बीच सिंबायोटिक संबंधों को बेहतर करने के लिये किया गया है।

प्रमुख बिंदु

  • समझौता ज्ञापन पर आईआईटी पटना के निदेशक प्रो. टी. एन. सिंह, डॉ. आसिफ इकबाल एसोसिएट डीन, रिसोर्सेज आईआईटी पटना, डॉ. राजू हलदर एसोसिएट प्रोफेसर (सीएसई) आईआईटी पटना और प्रोफेसर पास्कल मौसिवन, उपाध्यक्ष, अंतर्राष्ट्रीय संबंध, यूनिवर्सिटी डेटूलूड, फ्राँस द्वारा हस्ताक्षर किये गए।
  • यह समझौता दोनों संस्थान ने आपसी हित के विषयों पर विभिन्न अल्पकालिक कार्यक्रमों के लिये शैक्षणिक, प्रशासनिक कर्मचारियों और छात्रों के आदान-प्रदान को संयुक्त रूप से आयोजित करने के लिये किया है।
  • इसके अलावा इससे एक-दूसरे के संकाय/छात्रों/विद्वानों को अनुसंधान की एक विस्तृत श्रृंखला को बढ़ावा मिलेगा। इसमें शामिल तथा चुनौतीपूर्ण समस्याओं के समाधान के लिये प्रशिक्षण/शैक्षणिक कार्यक्रम होने के लिये आमंत्रित करने पर सहमति बनी।
  • इससे आईआईटी पटना प्रभावशाली अनुसंधान और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के क्षेत्र में आगे बढ़ेगा। भारत और फ्राँस लंबे समय से सांस्कृतिक, व्यापार और आर्थिक संबंध साझा करते रहे हैं।


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