प्रयागराज शाखा पर IAS GS फाउंडेशन का नया बैच 29 जुलाई से शुरू
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स्टेट पी.सी.एस.

  • 15 Sep 2023
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उत्तर प्रदेश Switch to English

आयुष्मान भव: अभियान

चर्चा में क्यों?

  • 13 सितंबर, 2023 को राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने राष्ट्रपति भवन से आयुष्मान भव: अभियान का वर्चुअल शुभारंभ किया। उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक ने प्रदेश में इसका शुभारंभ किया।

प्रमुख बिंदु

  • 17 सितंबर से 2 अक्तूबर के बीच चलने वाले इस अभियान का सबसे महत्त्वपूर्ण पहलू गाँवों को आयुष्मान बनाने का प्रयास है।
  • प्रत्येक चिह्नित मरीज़ का इलाज शुरू कराया जाएगा, जिसमें टीबी, कैंसर से लेकर डायबिटीज और हाइपर टेंशन की जाँच होगी। गाँव के बच्चों का शत-प्रतिशत नियमित टीकाकरण सुनिश्चित किया जाएगा।
  • आयुष्मान कार्ड के ज़रिये उन्हें पाँच लाख रुपए तक सालाना मुफ्त इलाज की सुविधा मिलेगी। वहीं आभा आईडी बनने से लोगों को अपने इलाज और जाँचों का पुराना रिकॉर्ड रखने की ज़रूरत खत्म हो जाएगी।
  • प्रमुख सचिव चिकित्सा एवं स्वास्थ्य पार्थ सारथी सेन शर्मा ने बताया इसके साथ ही डायबिटीज और हाइपर टेंशन के अलावा ओरल, ब्रेस्ट व सर्वाइकल कैंसर की स्क्रीनिंग कराई जाएगी, ताकि ऐसे मरीज़ों का इलाज शुरू कराया जा सके। वहीं प्रति हज़ार लोगों में से 30 लोगों की टीबी की जाँच कराई जाएगी।


राजस्थान Switch to English

मुख्यमंत्री ने कोटा में ऑक्सीजोन सिटी पार्क का किया लोकार्पण

चर्चा में क्यों?

  • 13 सितंबर, 2023 को राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने प्रदेश के कोटा ज़िले में ऑक्सीजोन सिटी पार्क (द गार्डन ऑफ जॉय) का लोकार्पण किया।

प्रमुख बिंदु

  • इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने वाणिज्यिक कर विभाग के नवनिर्मित कर भवन कोटा और दी कोटा सेंट्रल को-ऑपरेटिव बैंक लिमिटेड कोटा के नवनिर्मित प्रधान कार्यालय एवं नवीन शाखा भवन की लोकार्पण पट्टिका का अनावरण भी किया।
  • इस पार्क में कोटावासियों के साथ-साथ विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे विद्यार्थियों को खुशनुमा माहौल मिलेगा। यहाँ नेचर और म्यूजिक के बीच घूमकर तनावमुक्त होंगे। पार्क में दोनों प्रवेश द्वारों पर विशाल फाउंटेन भी बनाया गया है।  
  • ऑक्सीजोन सिटी पार्क की खासियत:
    • 120 करोड़ रुपए की लागत से यह पार्क बना है। इसके निर्माण कार्य में 800 दिन लगे हैं।
    • 30 हेक्टेयर क्षेत्र में विकसित किये गए पार्क में 4 किमी. पक्का ट्रैक एवं 1.25 किमी. नहर के सहारे जॉगिंग ट्रैक  है। यहाँ 1.04 किमी. व 12-15 मीटर चौड़ाई की एक कैनाल भी है।
    • पार्क में 2 लाख से अधिक पौधे लगाए गए हैं तथा 200 विदेशी-देशी पक्षियों के लिये 1 पक्षीशाला (ऐवियरी) का निर्माण किया गया है।
    • इस पार्क में 85 प्रतिशत हरियाली प्राकृतिक तरीके से विकसित की गई है।
    • यहाँ 15 मीटर ऊँची गन मेटल से प्रतिमाएँ (ट्री मेन, नॉलेज इज़ फ्रीडम, सेव द अर्थ) बनाई गई हैं तथा 13 गुना 28 मीटर का एक ग्लास हाउस का निर्माण किया गया है।
    • यहाँ 1 आर्टिफिशियल पहाड़ी (आर्ट हिल), 12 गुना 12 मीटर एवं 9 मीटर ऊंचा इन्वर्टेड पिरामिड पर 3डी मेपिंग, 10 मीटर की ऊँचाई पर 45 गुना 40 मीटर का डक पौंड, 320 मीटर लंबाई में 1 झरना, 2 स्टोन ब्रिज, 1 वुडनब्रिज, 1 रेम्पब्रिज, पार्क में नहर के ऊपर फूड ज़ोन, कैफे, सिटी बाज़ार, एम्पीथियेटर, किड्स ज़ोन, ओपन जिम का निर्माण किया गया है।


मध्य प्रदेश Switch to English

लाडली बहनों को घरेलू गैस कनेक्शन गैस सिलेंडर रिफिल 450 रुपए में मिलेगा

चर्चा में क्यों?

  • 13 सितंबर, 2023 को मध्य प्रदेश राज्य शासन ने ‘मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना’में पंजीकृत ऐसी लाडली बहनें, जिनके स्वयं के नाम से घरेलू गैस कनेक्शन हैं, उन्हें 1 सितंबर, 2023 से गैस सिलेंडर रिफिल 450 रुपए में उपलब्ध कराने के संबंध में आदेश जारी करते हुए प्रक्रिया निर्धारित कर दी है।

प्रमुख बिंदु

  • प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजनांतर्गत गैस कनेक्शनधारी समस्त उपभोक्ता और गैर-प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना श्रेणी में मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना में पंजीकृत ऐसी लाडली बहनें, जिनके स्वयं के नाम से घरेलू गैस कनेक्शन हैं, इसके लिये पात्र होंगी।
  • गैस सिलेंडर रिफिल के लिये अनुदान राशि पात्र कनेक्शनधारियों को 1 सितंबर, 2023 से देय होगी। बकाया राशि पात्र लाडली बहनों के खातों में डाली जाएगी।
  • अनुदान राशि
    • पात्रताधारी उपभोक्ताओं को प्रतिमाह अधिकतम एक रिफिल पर अनुदान मिलेगा।
    • पात्रताधारी उपभोक्ताओं को ऑयल कंपनी से रिफिल निर्धारित फुटकर विक्रय दर पर क्रय करना होगा।
    • भारत सरकार द्वारा दिये गए समस्त अनुदान तथा राज्य सरकार द्वारा निर्धारित फुटकर विक्रय दर (450 रुपए) को कम करने पर शेष राशि राज्य अनुदान के रूप में पात्रताधारी उपभोक्ताओं के आधार लिंक बैंक खाते में अंतरित की जाएगी।
    • एलपीजी रिफिल की फुटकर विक्रय दर में परिवर्तन होने पर राज्य अनुदान भी परिवर्तित होगा।
  • मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के पोर्टल पर ऐसी बहनों को पंजीयन किया जाएगा, जो पूर्व से गैस कनेक्शनधारी हैं। ऐसी बहनें प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना की भी लाभार्थी हो सकती हैं। पंजीयन का कार्य उन सभी केंद्रों पर किया जाएगा, जहाँ मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना का पंजीयन होता है।
  • पंजीयन के लिये गैस कनेक्शन कंज्यूमर नंबर एवं एलपीजी कनेक्शन आईडी आवश्यक होंगे। मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना का पंजीयन आईडी योजना के अंतर्गत हितग्राहियों की पहचान का कार्य सभी ऑयल कंपनी से प्राप्त डाटा के आधार पर शासन द्वारा भी किया जाएगा।
  • शासन की ओर से स्वत: पंजीकृत हितग्राहियों की जानकारी 25 सितंबर, 2023 से पोर्टल पर प्रदर्शित की जाएगी तथा समय-समय पर उसे अद्यतन किया जाएगा।
  • कैसे होगी अनुदान गणना?
    • प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के कनेक्शनधारी के लिये ऑयल कंपनी द्वारा प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के कनेक्शनधारी उपभोक्ताओं के गैस कनेक्शन नंबर एवं उनके द्वारा माहवार प्राप्त रिफिल का डाटा प्रतिमाह विभाग को उपलब्ध कराया जाएगा।
    • गैस रिफिल प्राप्तकर्त्ता उपभोक्ताओं को राशि 450 रुपए में रिफिल उपलब्ध कराने के लिये देय अनुदान की गणना विभाग द्वारा की जाएगी। अनुदान राशि की गणना के बाद कुल राशि का भुगतान विभाग द्वारा संबंधित ऑयल कंपनी के बैंक खाते में किया जाएगा।
    • ऑयल कंपनी द्वारा उपभोक्ता के आधार लिंक बैंक खाते में अनुदान राशि का भुगतान किया जाएगा। ऑयल कंपनी द्वारा हितग्राहीवार अनुदान भुगतान की जानकारी विभाग को उपलब्ध कराई जाएगी।
    • 4 जुलाई, 2023 से 3 अगस्त, 2023 तक गैस सिलेंडर रिफिल कराने वाले प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के कनेक्शनधारी उपभोक्ताओं को भी अनुदान राशि का अंतरण इसी प्रक्रिया से किया जाएगा।
    • गैर-प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के कनेक्शनधारी के लिये गैर-प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना अंतर्गत घरेलू गैस कनेक्शनधारी मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के तहत पंजीकृत लाडली बहनों का आईडी डाटा ऑयल कंपनी को उपलब्ध कराया जाएगा।
    • ऑयल कंपनी द्वारा गैर-प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के अंतर्गत जारी गैस कनेक्शन के डाटा का मिलान मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के तहत पंजीकृत लाडली बहना के डाटा से किया जाएगा तथा ऑयल कंपनी द्वारा उनके गैस कनेक्शन नंबर, प्राप्त रिफिल एवं भुगतान की गई राशि की जानकारी विभाग को उपलब्ध कराई जाएगी। उपरोक्त डाटा के आधार पर देय अनुदान की गणना विभाग द्वारा की जाएगी।
    • विभाग द्वारा गैर पीएमयूवाई में गैस कनेक्शनधारी लाडली बहना योजना अंतर्गत पंजीकृत लाडली बहनों के द्वारा रिफिल प्राप्त करने पर देय अनुदान की राशि का भुगतान उनके आधार लिंक बैंक खातों में किया जाएगा। आवश्यकतानुसार इस व्यवस्था में परिवर्तन किया जा सकेगा।
  • 4 जुलाई, 2023 से 3 अगस्त, 2023 तक गैस सिलेंडर रिफिल कराने वाली गैर-प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना के अंतर्गत घरेलू गैस कनेक्शनधारी मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना के तहत पंजीकृत लाडली बहनों को भी अनुदान राशि का अंतरण इसी प्रक्रिया से किया जाएगा।
  • शिकायत निवारण तंत्र
    • योजना के अंतर्गत पात्रता रखने वाले हितग्राहियों को राज्य अनुदान का भुगतान में आने वाली कठिनाईयों एवं समस्याओं को दर्ज एवं निराकरण करने के लिये विभाग द्वारा ऑनलाईन एप्लीकेशन बनाया जाएगा।
    • इस एप्लीकेशन पर प्राप्त शिकायतों के निराकरण के लिये विभाग द्वारा व्यवस्था की जाएगी।
  • राज्यस्तरीय मॉनीटरिंग
    • योजना के क्रियान्वयन के लिये खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग नोडल विभाग होगा। मैदानी स्तर पर कलेक्टर के निर्देशन में विभागीय अमले द्वारा योजना की मॉनीटरिंग की जाएगी। राज्य स्तर पर मॉनीटरिंग के लिये प्रमुख सचिव, खाद्य की अध्यक्षता में समिति का गठन किया जाएगा, जिसमें ऑयल कंपनी के अधिकारी भी सम्मिलित होंगे।
    • हितग्राहियों के पंजीयन कार्य में पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग एवं नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग के अमले का सहयोग प्राप्त किया जाएगा।
    • गैस कनेक्शनधारी उपभोक्ताओं को राशि 450 रुपए में रिफिल उपलब्ध कराने की व्यवस्था की प्रत्येक स्तर पर विभिन्न माध्यम से जानकारी दी जाएगी। प्रत्येक गैस एजेंसी, स्थानीय निकायों एवं उचित मूल्य दुकानों पर पात्र हितग्राहियों को देय अनुदान की सूचना प्रदर्शित कराई जाएगी।
    • ऑयल कंपनी से प्राप्त डाटाबेस के आधार पर वर्णित प्रक्रिया के अनुसार पात्र हितग्राहियों को अनुदान का भुगतान होगा, भले ही उनका पृथक् से पंजीयन न हुआ हो। हितग्राही डाटाबेस में विसंगति, अगर हो तो उसका यथोचित निराकरण कर पात्र हितग्राही को अनुदान का भुगतान किया जाएगा।


छत्तीसगढ़ Switch to English

जलजीवन सर्वेक्षण 2023 में उत्कृष्ट प्रदर्शन पर छत्तीसगढ़ के नारायणपुर ज़िले को केंद्रीय जलशक्ति मंत्रालय की ओर से मिला प्रशस्ति-पत्र

चर्चा में क्यों?

  • 14 सितंबर, 2023 को केंद्रीय जलशक्ति, पेयजल एवं स्वच्छता विभाग ने छत्तीसगढ़ के नारायणपुर ज़िले को आकांक्षी ज़िले के अंतर्गत जलजीवन सर्वेक्षण 2023 में उत्कृष्ट कार्य के लिये प्रशस्ति-पत्र से सम्मानित किया।

प्रमुख बिंदु

  • गौरतलब है कि बेहद कठिन बसाहटों वाले नारायणपुर ज़िले के गाँव-गाँव में हर ग्रामीण को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराना चुनौतीपूर्ण कार्य था। इसे सफलतापूर्वक आगे बढ़ाने के लिये केंद्र सरकार ने आकांक्षी ज़िले के अंतर्गत नारायणपुर ज़िले को सम्मानित किया।
  • केंद्र सरकार द्वारा जलजीवन सर्वेक्षण 1 अक्तूबर 2022 से 30 जून, 2023 तक कराया गया। इसमें आकांक्षी ज़िलों के अंतर्गत नारायणपुर ज़िले का कार्य उत्कृष्ट पाया गया।
  • इस ज़िले के लिये जलजीवन मिशन ने 30 हज़ार 322 परिवारों तक शुद्ध पेयजल पहुँचाने का लक्ष्य रखा था। इसमें 18 हज़ार 72 घरों तक नल कनेक्शन पहुँचाया जा चुका है। 14 गाँव ऐसे हैं, जहाँ शत-प्रतिशत परिवारों को कनेक्शन दिया जा चुका है।
  • वर्तमान स्थिति में राज्य द्वारा औसतन प्रतिदिन 7000 घरेलू कनेक्शन की उपलब्धि अर्जित की जा रही है तथा 60 प्रतिशत परिवारों को घरेलू कनेक्शन दिया जा चुका है। अब तक राज्य के कुल 422 ग्रामों को हर घर जल प्रमाणीकरण किया जा चुका है।
  • उल्लेखनीय है कि नारायणपुर ज़िले में दो विकासखंड ओरछा और नारायणपुर हैं। विकासखंड ओरछा का अधिकांश क्षेत्र अबूझमाड़ के अंतर्गत आता है जो लगभग 4 हज़ार वर्ग किलोमीटर क्षेत्र में फैला हुआ पहाड़ एवं घने जंगलों से घिरा हुआ है। अभी तक इन क्षेत्रों का सर्वे भी नहीं हो पाया है।
  • ज्ञातव्य है कि राज्य में जलजीवन मिशन के अंतर्गत राज्य के कुल 43 हज़ार 974 शाला (86.78 प्रतिशत), 41 हज़ार 719 आंगनबाड़ी केंद्र (83.39 प्रतिशत) एवं 5246 स्वास्थ्य केंद्र (97.86 प्रतिशत) में रनिंग वाटर उपलब्ध कराया जा चुका है। राज्य के शत-प्रतिशत अर्थात् 2470 आश्रमशालाओं में रनिंग वाटर की सुविधा उपलब्ध कराई गई है।
  • राज्य के 7 ज़िलों-धमतरी, रायपुर, दुर्ग, राजनांदगाँव, मुंगेली, जांजगीर-चांपा एवं सक्ती ज़िले में 70 प्रतिशत से अधिक घरेलू कनेक्शन प्रदान करने का लक्ष्य पूरा कर लिया गया है।
  • नारायणपुर ज़िले में 6 ग्रामों में हर घर जल उत्सव मनाकर प्रमाणीकरण कराया गया है। नारायणपुर ज़िले में हर घर जल पूर्ण करने के प्रयासों के अंतर्गत विकासखंड ओरछा के अंदरूनी ग्राम उदिदगाँव, गुलुमकोड़ो, कोकोड़ी, कुंडला, खडकागाँव, गुरिया एवं पल्ली आदि गाँवों में कार्य पूर्णता पर है।


उत्तराखंड Switch to English

प्रदेश में नई औद्योगिक नीति लागू: उद्यमियों को वन टाइम नहीं, अब किस्तों में मिलेगी सब्सिडी

चर्चा में क्यों?

  • 13 सितंबर, 2023 को उत्तराखंड के नैनीताल ज़िला उद्योग महाप्रबंधक एस के. पंत ने बताया कि प्रदेश में नई औद्योगिक नीति लागू हो गई है, जिसके अंतर्गत प्रोजेक्ट पूरा होने पर वन टाइम की सब्सिडी की जगह अब किस्तों में बाँटी जाएगी।

प्रमुख बिंदु

  • नई नीति में स्लैब में बदलाव करते हुए पाँच की जगह चार श्रेणियों में विभाजित किया गया है। ए और बी श्रेणी में पर्वतीय ज़िलों को और सी एवं डी श्रेणी में अधिकतर मैदानी क्षेत्रों को शामिल किया गया है।
  • सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्योग को बढ़ावा देने के लिये योजना में पूंजीगत उपादान और ब्याज भी बढ़ाया गया है।
  • विदित है कि अगस्त में बनी नई नीति में बड़ा बदलाव करते हुए एक करोड़ तक के निवेश में सब्सिडी सूक्ष्म श्रेणी के उद्योगों में दो साल के भीतर दो किश्तों में मिला करेगी। एक करोड़ से 50 करोड़ रुपए तक के निवेश में पाँच साल के भीतर पाँच किश्तों में सब्सिडी मिलेगी।
  • नया नियम यह भी है कि प्राथमिक और अति प्राथमिक श्रेणी में विनिर्माणक उद्यम नेचुरल फाइबर, एक ज़िला दो उत्पाद में चिह्नित उत्पाद, जीआई टैग प्राप्त उत्पादों के विनिर्माणक उद्यम, खाद्य प्रसंस्करण उद्यम में निवेशकों को अतिरिक्त पूंजी उपादान सहायता भी नियमानुसार मिलेगी।
  • इसके अलावा अनुसूचित जाति, जनजाति, महिला उद्यमियों को प्रोत्साहन के लिये अति प्राथमिक श्रेणी में शामिल किया गया है। इसके अंतर्गत एक करोड़ में 10 लाख, एक से 10 करोड़ के बीच 15 लाख और 10-50 करोड़ के निवेश में 20 लाख अधिकतम सीमा तक अतिरिक्त सब्सिडी मिलेगी।
  • ज्ञातव्य है कि पिछली औद्योगिक नीति में ए श्रेणी में (कैपिटल इन्वेस्टमेंट) 40 लाख रुपया, यानी 40 प्रतिशत तक सब्सिडी मिल रही थी। बी श्रेणी में 35, सी श्रेणी में 30 और डी श्रेणी में 15 लाख रुपया तक सब्सिडी का प्रावधान था।
  • एमएसएमई की नई नीति में ए श्रेणी में एक करोड़ रुपए तक पूंजी लगाने वालों को 50 प्रतिशत सब्सिडी देने का नियम बनाया गया है। एक से पाँच करोड़ रुपए तक निवेश में 50 प्रतिशत के अलावा उससे ऊपर निवेश में 25 प्रतिशत अतिरक्त लाभ मिलेगा, जिसकी लिमिट अधिकतम 1.50 करोड़ रुपए रखी गई है। इसी श्रेणी में 5-10 करोड़ रुपए में अधिकतम ढाई करोड़ और 10 से 50 करोड़ रुपए के निवेश में अधिकतम चार करोड़ रुपए तक सब्सिडी की लिमिट रखी गई है।
  • इसी तरह बी श्रेणी में एक करोड़ तक निवेश पर 40 प्रतिशत सब्सिडी, सी श्रेणी में एक करोड़ में 30 प्रतिशत और डी श्रेणी में एक करोड़ में 20 लाख रुपए तक सब्सिडी मिलेगी। इसके ऊपर निवेश में भी अतिरिक्त सब्सिडी का प्रावधान है

उत्तराखंड Switch to English

उत्तराखंड में युवा-महिलाएँ संभालेंगी गोवंश सुरक्षा की ज़िम्मेदारी

चर्चा में क्यों?

  • 14 सितंबर, 2023 को उत्तराखंड लोक निर्माण, पंचायती राज, शहरी विकास व पशुपालन विभाग द्वारा निराश्रित गोवंश के लिये गोशाला, कांजी हाउस बनाने और संचालन को लेकर हुई संयुक्त बैठक में यह निर्देश दिये गए हैं कि पर्वतीय क्षेत्रों में गोवंश की सुरक्षा की ज़िम्मेदारी युवा-महिलाएँ संभालेंगी।

प्रमुख बिंदु

  • इस बैठक में तय हुआ कि नए एनजीओ का सत्यापन होने के बाद ही उन्हें पर्वतीय क्षेत्रों में गोसदनों की स्थापना व संचालन की अनुमति दी जाएगी, जिसमें महिला एवं युवा स्वयं सहायता समूहों का शामिल होना सुनिश्चित किया जाएगा।
  • पहले से चल रहे गोसदनों में स्थान होने पर पशुपालन, शहरी विकास, पंचायती राज विभाग आपसी समन्वय से अभियान चलाकर एक माह में सभी निराश्रित गोवंश को यहाँ पहुँचाएंगे।
  • ऊधमसिंह नगर जनपद में स्थित खटीमा नगर में संचालित गोसदन में इसकी कार्रवाई सबसे पहले की जाएगी।
  • निराश्रित गोवंश के लिये वनों के पास गोसदन बनाए जाएंगे और वन विभाग से संपर्क कर बाड़ा बनाया जाएगा। गोसदनों में पशु चिकित्सा अधिकारियों की रोस्टर वाइज ड्यूटी लगाई जाएगी। नए गोसदनों की स्थापना के लिये बजट ज़िलास्तर पर ज़िलाधिकारी देंगे।
  • गोसदनों की स्थापना और संचालन की प्रतिदिन प्रगति रिपोर्ट वॉट्सएप ग्रुप में अपडेट करनी होगी। मॉनिटरिंग के लिये सभी गोसदन में रिमोट सेंसिंग कैमरे लगाने होंगे। जो भी गोवंश इन गोसदनों में लाया जाएगा, उनकी तस्वीर वॉट्सएप ग्रुप में साझा करनी होगी।
  • इनके संचालन को पशुपालन, शहरी विकास व पंचायती राज विभाग के विभागाध्यक्ष नोडल अधिकारी नामित होंगे।


हरियाणा Switch to English

गोलकीपर श्रेया हुड्डा का एशियन गेम्स की फुटबॉल टीम में चयन

चर्चा में क्यों?

  • 14 सितंबर, 2023 को मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार हरियाणा के सोनीपत ज़िले की रहने वाली श्रेया हुड्डा का चयन चीन के हांगझोऊ में 23 सितंबर से 8 अक्तूबर तक होने वाले एशियन गेम्स के लिये भारतीय महिला फुटबॉल टीम में हुआ है।

प्रमुख बिंदु

  • मूलरूप से श्रेया हुड्डा के परिवार का संबंध राज्य के रोहतक ज़िले के गाँव आसन से है।
  • विदित है कि श्रेया ने 11 साल पहले अभ्यास शुरू किया था। वह वर्ष 2022 में भारतीय टीम का हिस्सा बनी थीं।
  • ज्ञातव्य है कि श्रेया हुड्डा ने फुटबॉल प्रशिक्षक अनिल ढुल के सानिध्य में वर्ष 2012 से खेलना शुरू किया था।
  • श्रेया ने अंडर-14 व अंडर-16 टीम में देश के लिये खेलने के अलावा तीन बार स्कूल नेशनल में प्रदेश का प्रतिनिधित्व करते हुए तीन स्वर्ण व दो रजत पदक दिलाए।
  • उल्लेखनीय है कि खेलो इंडिया यूथ गेम्स में भी वह टीम को स्वर्ण पदक दिला चुकी हैं। उन्होंने एएफसी महिला क्लब चैंपियनशिप जीतने वाली भारतीय टीम में रहने के अलावा इसी वर्ष मार्च में अम्मान के पैट्रा स्टेडियम में जॉर्डन के खिलाफ गोल रहित ड्रॉ खेला था।
  • जुलाई, 2023 में उन्हें अक्तूबर में खेले जाने वाले एएफसी ओलंपिक क्वालिफायर राउंड 2 के लिये 34 सदस्यीय भारतीय टीम में नामित किया गया। अब उनका चयन एशियन गेम्स की टीम में हुआ है।
  • श्रेया का चयन इसी वर्ष खेल विभाग में जूनियर प्रशिक्षक के पद पर हुआ है। उनकी नियुक्ति सोनीपत में ही है।


मध्य प्रदेश Switch to English

प्रख्यात चिकित्सा शोध जर्नल ‘द लानसेट’ का अब मध्य प्रदेश में हिन्दी में भी होगा प्रकाशन

चर्चा में क्यों?

  • 14 सितंबर, 2023 को हिन्दी दिवस के अवसर पर मध्य प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने चिकित्सा जगत् में विश्व प्रख्यात जर्नल ‘द लानसेट’जल्द ही हिन्दी में भी प्रकाशित करने की घोषणा की।

प्रमुख बिंदु

  • इस अवसर पर चिकित्सा शिक्षा मंत्री सारंग ने ‘द लानसेट’की डिप्टी पब्लिशिंग हेड फियोना मेकलेव और एलजीवियर पब्लिकेशन इंडिया के प्रमुख शंकर कौल के साथ बताया कि एमबीबीएस की अंग्रेज़ी पुस्तकों का हिन्दी में लिप्यान्तरण का कार्य कर रहा ‘हिन्दी चिकित्सा प्रकोष्ठ मंदार’ ही जर्नल के हिन्दी रूपांतरण कार्य को संपादित करेगा।
  • इसके लिये शीघ्र ही अधिकृत एमओयू किया जाएगा, जो आगामी तीन वर्ष (2024-27) के लिये होगा, जिसकी कार्यवाही प्रचलन में है।
  • ज्ञातव्य है कि ‘द लानसेट’ विश्व का सबसे प्रमुख एवं सबसे प्रभावशील शोध जर्नल है।
  • इस जर्नल के हिन्दी रूपांतरण को लेकर विगत कई दिनों से हुई चर्चा के परिणामस्वरूप अब चिकित्सा शिक्षा विभाग मध्य प्रदेश और ‘द लानसेट’- रीजनल हेल्थ साउथ ईस्ट एशिया का हिन्दी भाषा में भी रूपांतरण करेंगे।
  • ‘द लानसेट’अंग्रेज़ी भाषा के साथ ही स्पेनिश और पुर्तगाली में भी प्रकाशित किया जाता है। वहीं अब हिन्दी विश्व की चौथी भाषा होगी, जिसमें इसका प्रकाशन होगा।
  • ‘द लानसेट’- रीजनल हेल्थ साउथ ईस्ट एशिया जर्नल के हिन्दी में उपलब्ध होने से चिकित्सा विद्यार्थियों एवं चिकित्सकों को शोध के क्षेत्र में भी रिसर्च कंटेंट स्थानीय भाषा में मिल सकेगा।
  • इस जर्नल के ट्रांसलिट्रेशन का कार्य हिन्दी प्रकोष्ठ चिकित्सा शिक्षा विभाग के चिकित्सकों द्वारा किया जाएगा।
  • उल्लेखनीय है कि चिकित्सा शिक्षा विभाग मध्य प्रदेश ने देश में पहली बार हिन्दी में मेडिकल की पढ़ाई प्रारंभ की है।  


छत्तीसगढ़ Switch to English

छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् को राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान से मिली मान्यता

चर्चा में क्यों?

  • 13 सितंबर, 2023 को छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् के अध्यक्ष सुरेश कुमार शर्मा ने बताया कि छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् को राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान से मान्यता मिल गई है।

प्रमुख बिंदु

  • छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् के अध्यक्ष सुरेश कुमार शर्मा ने बताया कि राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान ने छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् को सेकेंडरी और सीनियर सेकेंडरी एजुकेशन बोर्ड की अधिकृत सूची में शामिल कर लिया है। राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान के सक्षम प्राधिकारी द्वारा इसे मंज़ूरी दे दी गई है।
  • राष्ट्रीय स्तर पर मान्यता मिलने से छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् से पढ़ाई करने वाले विद्यार्थियों को राष्ट्रीय स्तर पर सरकारी नौकरियों में भर्ती और संस्कृत के क्षेत्र में आगे पढ़ाई करने का अवसर मिल सकेगा।
  • विदित है कि छत्तीसगढ़ राज्य सरकार ने संस्कृत शिक्षा और भाषा की प्रतिष्ठा के लिये छत्तीसगढ़ संस्कृत बोर्ड, सम्प्रति छत्तीसगढ़ संस्कृत विद्यामंडलम् का गठन 2003 में किया था।


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