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उत्तराखंड में एक अक्तूबर से शुरू होगी धान की खरीद
चर्चा में क्यों?
13 सितंबर, 2022 को उत्तराखंड की खाद्य मंत्री रेखा आर्य ने खरीफ खरीद फसल 2022-23 की समीक्षा बैठक में कहा कि प्रदेश में एक अक्तूबर से धान की खरीद शुरू होगी। खाद्य मंत्री ने कहा कि इस सीजन में धान खरीद का लक्ष्य नौ लाख मीट्रिक टन रखा गया है।
प्रमुख बिंदु
- विभागीय मंत्री ने एक से 15 अक्तूबर तक सरकारी विभागों से धान खरीदने एवं इसके बाद कमीशन एजेंट के माध्यम से किसानों से धान खरीद कराने के निर्देश दिये।
- उन्होंने कहा कि चार एजेंसियों- खाद्य विभाग, सहकारिता विभाग, नैफेड और एनसीसीएफ को धान खरीदने के लिये नामित किया गया है। खरीफ सीजन में करीब 257 खरीद केंद्र खोले गए हैं।
- बैठक में मंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि ऐसे स्थानीय उत्पाद, जिनका केंद्र सरकार ने समर्थन मूल्य घोषित किया हुआ है, जिनमें मंडुआ, मक्का, उड़द, मूंगफली, सोयाबीन, तिल, ज्वार आदि शामिल हैं, इनकी खरीद के लिये एक कार्ययोजना तैयार करें।
- मंत्री ने कहा कि पहाड़ के स्थानीय काश्तकारों की आर्थिकी को मज़बूत करने के लिए यह पहल वरदान साबित होगी। इससे पहाड़ के स्थानीय उत्पादों को एक नई पहचान मिलेगी। साथ ही, पहाड़ के किसान भी लाभान्वित होंगे।
- इस साल धान के मूल्य में प्रति क्विंटल 100 रुपए की वृद्धि की गई है। सामान्य धान का मूल्य 1940 रुपए से बढ़ाकर प्रति क्विंटल 2040 एवं ग्रेड ए धान का न्यूनतम समर्थन मूल्य 1960 रुपए से बढ़ाकर 2060 रुपए घोषित किया गया है।
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उत्तर प्रदेश की तर्ज़ पर अब उत्तराखंड में भी होगा सभी मदरसों का सर्वे
चर्चा में क्यों?
13 सितंबर, 2022 को उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखंड में मदरसों के कामकाज, गतिविधियों को लेकर आ रही शिकायतों के दृष्टिगत उत्तर प्रदेश की तर्ज़ पर अब प्रदेश के सभी मदरसों का सर्वे किया जाएगा।
प्रमुख बिंदु
- प्रदेश सरकार को राज्य में संचालित हो रहे इन मदरसों के संबंध में तमाम तरह की शिकायतें प्राप्त हो रही हैं। इन शिकायतों की सच्चाई का पता लगाने के लिये प्रदेश सरकार ने सभी मदरसों का सर्वे कराने का निर्णय लिया है। वहीं, समाज कल्याण मंत्री चंदनराम दास तो पहले ही सरकार की मदद से संचालित हो रहे मदरसों की जाँच के निर्देश दे चुके हैं, लेकिन मुख्यमंत्री ने सभी मदरसों का सर्वे कराने की बात कही है।
- विदित है कि हाल ही में उत्तराखंड वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष शादाब शम्स ने वक्फ बोर्ड की संपत्तियों से अवैध निर्माण ढहाने की बात कही थी। साथ ही उन्होंने प्रदेश के गैर-पंजीकृत मदरसों की उत्तर प्रदेश की तर्ज़ पर जाँच की मांग की थी, जिसके बाद मुख्यमंत्री ने भी उनकी बात का समर्थन किया।
- गौरतलब है कि उत्तराखंड में मदरसा बोर्ड के तहत 419 मदरसे संचालित हैं। इनमें से आधे-से-अधिक बिना मान्यता के संचालित हो रहे हैं। इनमें केवल 192 मदरसे वित्तपोषित हैं, जो केंद्र एवं राज्य सरकार से मदद ले रहे हैं। 103 मदरसों का संचालन वक्फ बोर्ड कर रहा है, जबकि 500 से अधिक निजी मदरसों के संचालन की भी सूचना है।
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