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मध्य प्रदेश स्टेट पी.सी.एस.

  • 14 Sep 2021
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मध्य प्रदेश मंत्रिपरिषद की बैठक

चर्चा में क्यों?

13 सितंबर, 2021 को मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में राज्य मंत्रिपरिषद की बैठक हुई, जिसमें विभिन्न विषयों पर निर्णय लिये गए।

प्रमुख बिंदु

  • मंत्रिपरिषद द्वारा अनुसूचित जातियों, अनुसूचित जनजातियों तथा अन्य पिछड़ा वर्ग के बैकलॉग/कैरीफॉरवर्ड पदों तथा नि:शक्तजनों के रिक्त पदों की पूर्ति के लिये विशेष भर्ती अभियान की समय-सीमा में 1 जुलाई, 2021 से 30 जून, 2022 तक एक वर्ष की वृद्धि करने का निर्णय लिया गया।
  • एथेनॉल एवं जैव ईंधन के उत्पादन से जुड़े प्लांट एवं मशीनरी मे किये गए पूंजी निवेश के 100 प्रतिशत की अधिकतम सीमा तक, पेट्रोलियम तेल उत्पादन कंपनियों को इकाई द्वारा उत्पादित एथेनॉल प्रदाय करने पर 1.50 रुपए प्रति लीटर की वित्तीय सहायता वाणिज्यिक उत्पादन की ओर से 7 वर्ष के लिये प्रदान करने का निर्णय लिया गया।
  • इकाइयों के लिये भूमि क्रय करने पर स्टाम्प ड्यूटी और पंजीकरण शुल्क की 100 प्रतिशत प्रतिपूर्ति की जाएगी। वाणिज्यिक उत्पादन प्रारंभ करने के दिनांक से 5 साल के लिये विद्युत शुल्क में 100 प्रतिशत छूट दी जाएगी।
  • मंत्रिपरिषद द्वारा मध्य प्रदेश उच्च न्यायिक सेवा (भर्ती तथा सेवा की शर्तें) नियम, 2017 के नियम-14 के बाद 14 (अ) जोड़े जाने का निर्णय लिया गया। इसके अंतर्गत अभ्यर्थी से नियमित नियुक्ति के समय इस आशय का 5 लाख रुपए का बंधपत्र निष्पादित कराया जाएगा कि उसे पदभार ग्रहण करने के पश्चात् न्यूनतम 3 वर्ष तक सेवाएँ देना अनिवार्य होगा, अन्यथा किसी भी कारण से त्यागपत्र देकर सेवाएँ नहीं देने पर उक्त राशि या 3 महीने के वेतन और भत्ते के बराबर राशि, जो भी अधिक हो, देना होगा।
  • मंत्रिपरिषद द्वारा मानसिक चिकित्सालय, इंदौर का ‘सेंटर ऑफ एक्सीलेंस’ के रूप में उन्नयन किये जाने के लिये नवीन एस.ओ.आर. दरों के अनुसार परियोजना हेतु 33.1 करोड़ रुपए की स्वीकृति और संस्था में पूर्व से स्वीकृत 25 पदों को समर्पित करते हुए 13 नवीन पदों के सृजन की प्रशासकीय स्वीकृति प्रदान की गई।
  • मंत्रिपरिषद द्वारा कुटीर एवं ग्रामोद्योग विभाग के उत्पादों का प्रमोशन, ब्रांड बिल्डिंग और विपणन अधोसंरचना नवीन योजना का अनुमोदन किया गया। योजना के परियोजना अभिलेख (DPR) में प्रमुखत: तीन मदों- ब्रांड प्रमोशन, ई-कॉमर्स प्रचार-प्रसार और विपणन अधोसंरचना विकास में व्यय किया जाएगा।
  • यह नवीन योजना सभी ग्रामोद्योगी उत्पाद, मृगनयनी (हथकरघा/हस्तशिल्प उत्पाद), कबीरा (खादी उत्पाद), विंध्या वैली (ग्रामोद्योग उत्पाद) और प्राकृत (रेशम उत्पादों) के लिये लागू होगी।

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