नीरज चोपड़ा ने टोक्यो ओलिंपिक में स्वर्ण पदक जीतकर रचा इतिहास | हरियाणा | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों
7 अगस्त, 2021 को हरियाणा के नीरज चोपड़ा ने टोक्यो ओलंपिक 2020 में जेवलिन थ्रो इवेंट में स्वर्ण पदक जीता है।
प्रमुख बिंदु
- नीरज चोपड़ा ने अपने दूसरे प्रयास में 87.58 मीटर दूर भाला फेंककर तालिका में पहला स्थान हासिल कर देश को टोक्यो ओलंपिक का पहला और व्यक्तिगत श्रेणी में ओलंपिक का दूसरा स्वर्ण पदक दिलाया है।
- नीरज हरियाणा के पानीपत ज़िले के ‘खंडरा’ गाँव के निवासी हैं।
- वर्ष 2016 से नीरज भारतीय सेना में कार्यरत हैं और वर्तमान में राजपूताना राइफल्स यूनिट में सूबेदार के पद पर हैं।
- नीरज चोपड़ा को वर्ष 2018 में अर्जुन अवार्ड से सम्मानित किया गया था।
- नीरज ने भारत को 10वाँ ओलंपिक स्वर्ण पदक दिलाया है, गौरतलब है कि 8 स्वर्ण पदक पुरुष हॉकी टीम ने और 1 स्वर्ण पदक निशानेबाज अभिनव बिंद्रा (पहला व्यक्तिगत स्वर्ण पदक) द्वारा जीता गया था।
- नीरज के अब तक के अन्य खेलों में स्वर्ण पदक:
- 2018 जकार्ता, एशियाई खेल
- 2018 गोल्ड कोस्ट, राष्ट्रमंडल खेल
- 2017 भुवनेश्वर, एशियाई चैंपियनशिप
- 2016 गुवाहाटी/शिलांग, दक्षिण एशियाई खेल
रंजीता शर्मा : ‘स्वार्ड ऑफ ऑनर अवॉर्ड’ पाने वाली देश की पहली महिला | हरियाणा | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
हाल ही में भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के आरआर-72 बैच की अधिकारी ‘रंजीता शर्मा’ आईपीएस एसोसिएशन के ‘स्वार्ड ऑफ ऑनर अवॉर्ड’ को प्राप्त करने वाली पहली महिला आईपीएस अधिकारी बनी हैं।
प्रमुख बिंदु
- ‘स्वार्ड ऑफ ऑनर अवॉर्ड’ प्रशिक्षण के दौरान ‘फील्ड ट्रेनिंग’ के आधार पर दिया जाता है।
- ट्रेनिंग के दौरान रंजीता शर्मा ने वितरित की गई कुल 50 ट्राफियों में से आठ ट्राफियाँ जीतने की उपलब्धि हासिल की है।
- रंजीता शर्मा रेवाड़ी ज़िले के गाँव ‘डहीना’ की निवासी हैं और ये वर्ष 2019 बैच की आईपीएस अधिकारी हैं।
व्यवहार विज्ञान पर समझौता ज्ञापन | झारखंड | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
08 अगस्त, 2021 को जेवियर इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल सर्विस (XISS), राँची और सेंट्रल इंस्टीट्यूट ऑफ साइकियाट्री (CIP), राँची ने शिक्षण, प्रशिक्षण, अनुसंधान, संयुक्त परियोजनाओं, इंटर्नशिप, FDP, अतिथि व्याख्यान आदि के क्षेत्र में सहयोग करने के लिये एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये।
प्रमुख बिंदु
- इस समझौते पर XISS के निदेशक एस.जे. कुजुर और CIP के निदेशक प्रो. वासुदेव दास ने हस्ताक्षर किये।
- इस समझौते के तहत सेंटर ऑफ बिहेवेरियल एंड कॉग्निटिव साइंसेज (सीबीसीएस), एक्सआईएसएस (XISS) और सीआईपी (CIP) समुदाय और परामर्श सेवाएँ प्रदान करने के अलावा व्यवहार विज्ञान, संज्ञानात्मक विज्ञान, सार्वजनिक मानसिक स्वास्थ्य, सामुदायकि मानसिक स्वास्थ्य के क्षेत्र में संयुक्त सहयोगी अनुसंधान परियोनाओं और कार्यक्रमों का आयोजन और विकास करेंगे।
- इस साझेदारी के तहत, XISS और CIP संस्थान के नवोदित स्नातकों के तकनीकी उन्नति, नवाचार और उद्योगों की प्रतिस्पर्द्धात्मकता बढ़ाने के कौशल का उपयोग करने पर ध्यान केंद्रित करेंगे।
पाटजात्रा के साथ बस्तर दशहरा शुरू | छत्तीसगढ़ | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
08 अगस्त, 2021 को छत्तीसगढ़ में विश्व प्रसिद्ध 75 दिनी बस्तर दशहरा पर्व का शुभारंभ पाटजात्रा पूजा विधान के साथ हुआ।
प्रमुख बिंदु
- बस्तर में हर वर्ष की तरह इस साल भी दशहरे का शुभारंभ हरेली अमावस्या को पाटजात्रा की प्रथम रस्म से शुरू हुआ।
- पाटजात्रा बस्तर दशहरा की प्रथम महत्त्वपूर्ण रस्म है, जिसमें दंतेश्वरी मंदिर के समक्ष माचकोट के जंगल से लाई गई साल वृक्ष की लकड़ी (ठुरलू खोटला) की पारंपरिक रूप से पूजा-अर्चना की जाती है।
- बस्तर दशहरा निर्माण की पहली लकड़ी को स्थानीय बोली में ठुरलू खोटला एवं टीका पाटा कहते हैं।
- बस्तर दशहरा की परंपरा के अनुसार, पाटजात्रा के लिये होने वाली पूजा में बस्तर महाराज की ओर से माझी-मुखिया पूजन सामग्री लेकर सिरहासार पहुँचते हैं और पाटजात्रा एवं अन्य पूजा विधान संपन्न कराते हैं।
- ध्यातव्य है कि बस्तर दशहरा की शुरुआत 1408 ई. में राजा पुरुषोत्तम देव ने शुरू की थी। उन्होंने जगन्नाथपुरी से वरदानस्वरूप मिले सोलह चक्कों के रथ का विभाजन करते हुए रथ के चार चक्कों को भगवान जगन्नाथ को समर्पित किया था और शेष 12 पहियों का विशाल काष्ठ रथ माँ दंतेश्वरी को अर्पित कर दिया। तब से दशहरा में दंतेश्वरी के साथ राजा स्वयं भी रथारूढ़ होने लगे।
छत्तीसगढ़ का पहला त्यौहार : हरेली | छत्तीसगढ़ | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
08 अगस्त, 2021 को छत्तीसगढ़ अंचल का प्रथम त्यौहार ‘हरेली’ हर्षोल्लास के साथ मनाया गया।
प्रमुख बिंदु
- हरेली त्यौहार छत्तीसगढ़ का प्रथम त्यौहार माना जाता है, जिसे प्रतिवर्ष सावन माह में हरेली अमावस्या के दिन मनाया जाता है।
- यह त्यौहार छत्तीसगढ़ के किसानों के लिये विशेष महत्त्व रखता है। धान की बुआई के बाद किसानों द्वारा हरेली के दिन सभी कृषि एवं लौह औज़ारों की पूजा की जाती है।
- हरेली पर्व में किसान बैलों और हल सहित विभिन्न औज़ारों की विशेष पूजा करने के बाद खेती-किसानी का काम शुरु करते हैं।
- हरेली त्यौहार के दिन घरों में इस त्यौहार का विशेष व्यंजन ‘चीला’ बनाया जाता है। इसे औज़ारों में चढ़ाकर इसकी पूजा की है, तत्पश्चात् इसे घर के सदस्यों को प्रसादस्वरूप दिया जाता है।
- हरेली के दिन पुरुषों के द्वारा गेड़ी (बाँस से निर्मित) बनाकर उस पर चढ़ा जाता है। कहीं-कहीं गेड़ी दौड़ का आयोजन भी किया जाता है।
उत्तराखंड की 22 महिलाओं व किशोरियों को तीलू रौतेली सम्मान | उत्तराखंड | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
08 अगस्त, 2021 को उत्तराखंड सरकार ने राज्य की कुल 22 महिलाओं व किशोरियों को ‘तीलू रौतेली सम्मान’ से सम्मानित किया है।
प्रमुख बिंदु
- उत्तराखंड सरकार द्वारा विभिन्न क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य करने वाली महिलाओं को वीरबाला तीलू रौतेली के नाम पर प्रतिवर्ष यह पुरस्कार दिया जाता है। इसकी शुरुआत 2006 में हुई थी।
- इसके तहत राज्य सरकार 31 हज़ार रुपये व प्रशस्ति पत्र देती है। यह पुरस्कार राशि 2022 से बढ़ाकर 51 हजार रुपये कर दी गई है।
- विभिन्न क्षेत्रों के पुरस्कार प्राप्त खिलाड़ी हैं-
- खेल: वंदना कटारिया (हरिद्वार), रुचि कालाकोटी (बागेश्वर), कनिका भंडारी (अल्मोड़ा)।
- सामाजिक कार्य: अनुराधा वालिया (देहरादून), उमा जोशी (ऊधमसिंह नगर), दीपिका बोहरा एवं चीपिका चुफाल (पिथौरागढ़), रेनू गड़कोटी (चंपावत)।
- कोविड संबंधी कार्य: चंद्रकला तिवारी (चमोली), पार्वती किरौला (नैनीताल), बबीता पुनेठा (पिथौरागढ़)।
- स्वरोजगार: ममता मेहता (बागेश्वर), अंजरा रावत (पौड़ी), भावना शर्मा (अल्मोड़ा)।
- शिक्षा व महिला जागरुकता: डॉ. राजकुमार भंडारी चौहान (देहरादून)।
- शिक्षा, अनुसंधान व विकास: डॉ. कंचन नेगी (देहरादून)।
- महिला स्वास्थ्य व पोषण: नमिता गुप्ता (ऊधमसिंह नगर)।
- एनजीओ: बिंदुवासिनी (ऊधमसिंह नगर)।
- पर्वतारोहण: रीना रावत (उत्तरकाशी)।
- बालिका शिक्षा: रेखा जोशी (पिथौरागढ़)।
- कठिन परिस्थितियों में जीवनयापन: पूनम डोभाल (टिहरी)।
- महिला स्व-सहायता समूह: श्यामा देवी (देहरादून)।
ओलंपियन वंदना कटारिया बनी उत्तराखंड के महिला सशक्तीकरण विभाग की ब्रांड एंबेसडर | उत्तराखंड | 09 Aug 2021
चर्चा में क्यों?
टोक्यो ओलंपिक में भारतीय महिला हॉकी टीम की सदस्य रही उत्तराखंड की वंदना कटारिया को राज्य के महिला सशक्तीकरण विभाग की ब्रांड एंबेसडर बनाया गया है।
प्रमुख बिंदु
- 8 अगस्त, 2021 को आयोजित तीलू रौतेली सम्मान समारोह में राज्य महिला सशक्तीकरण मंत्री रेखा आर्या ने वंदना कटारिया को तीलू रौतेली सम्मान के साथ उक्त विभाग का ब्रांड एंबेसडर बनाया है।
- ध्यातव्य है कि वंदना कटारिया भारत की पहली महिला हॉकी खिलाड़ी हैं, जिन्होंने एक ही मैच में तीन गोल किये।
- वंदना कटारिया उत्तराखंड के रोशनाबाद (हरिद्वार) की निवासी हैं, जो वर्ष 2006 से ही सीनियर महिला हॉकी टीम का हिस्सा हैं।
- उत्तराखंड सरकार ने उनके बेहतरीन प्रदर्शन के लिये उन्हें तीलू रौतेली सम्मान व 25 लाख रुपये देने की घोषणा की है।