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पंचकूला में खेलो इंडिया यूथ गेम्स, 2021 का शुभारंभ
चर्चा में क्यों?
4 जून, 2022 को हरियाणा के पंचकूला के ताऊ देवी लाल स्पोर्ट्स कॉम्प्लेक्स में केंद्रीय गृहमंत्री अमितशाह ने ‘खेलो इंडिया यूथ गेम्स, 2021’ के चौथे संस्करण का उद्घाटन किया।
प्रमुख बिंदु
- खेलो इंडिया यूथ गेम्स, 2021 का आयोजन 13 जून तक 5 शहरों (पंचकूला, शाहाबाद, अंबाला, चंडीगढ़ और दिल्ली) में आयोजित किया जाएगा, जबकि ताऊ देवी लाल खेल परिसर पंचकूला इन खेल प्रतियोगिताओं का मुख्य आयोजन स्थल है।
- इस आयोजन में भारत के 37 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के 2,262 लड़कियों सहित 4,700 से अधिक एथलीट हिस्सा ले रहे हैं। इन खेलों में कुल 25 खेल होंगे, जिनमें भारत के 5 स्वदेशी खेल- कलारीपयट्टू, थांग-ता, गतका, मल्लखंब और योगासन शामिल हैं।
- इस प्रतिष्ठित प्रतियोगिता में पहली बार पाँच पारंपरिक खेलों, जैसे- गतका, कलारीपयट्टू, थांग-ता, मलखंब और योगासन को भी शामिल किया गया है।
- गौरतलब है कि खेलो इंडिया गेम्स में पहली बार हरियाणा ने राज्यव्यापी मशाल रिले का भी आयोजन किया। विशेषरूप से डिजाइन किये गए कैंटर ने सभी ज़िलों का दौरा किया और खेलों को बढ़ावा दिया तथा बच्चों को खेल के लिये प्रोत्साहित किया।
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हरियाणा को मिली 2,366 करोड़ रुपए की विकास परियोजनाओं की सौगात
चर्चा में क्यों?
4 जून, 2022 को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने हरियाणा को 2366 करोड़ रुपए की विकास परियोजनाओं की सौगात दी।
प्रमुख बिंदु
- केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने लगभग 997 करोड़ रुपए की लागत से यमुनानगर में बनने वाले गुरु तेगबहादुर साहिब राजकीय मेडिकल कॉलेज तथा लगभग 945 करोड़ रुपए की लागत से राजकीय मेडिकल कॉलेज, कैथल का शिलान्यास किया।
- इसके अलावा, उन्होंने ज़िला फतेहाबाद में 2800 मेगावाट गोरखपुर हरियाणा अनु विद्युत परियोजना (परमाणु ऊर्जा परियोजना) के लिये जलापूर्ति चैनल प्रणाली के निर्माण की भी आधारशिला रखी। इस परियोजना पर लगभग 394 करोड़ रुपए की लागत आएगी।
- इस अवसर पर मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने कहा कि 2800 मेगावाट गोरखपुर हरियाणा अनु विद्युत परियोजना (परमाणु ऊर्जा परियोजना) केंद्र सरकार की एक महत्त्वाकांक्षी पहल है। यह हरियाणा का पहला परमाणु ऊर्जा संयंत्र होगा। यह पूरी तरह स्वदेशी तकनीक पर आधारित होगा।
- यह संयंत्र 2800 मेगावाट बिजली का उत्पादन करेगा, जिसमें से हरियाणा को 1400 मेगावाट बिजली की सप्लाई होगी।
- इस संयंत्र के चालू होने से इस क्षेत्र के ही नहीं, बल्कि प्रदेश के लोगों को भी बिजली आपूर्ति सुनिश्चित हो पाएगी। इस संयंत्र के आसपास के इलाकों को न केवल रोज़गार उपलब्ध होगा, बल्कि आर्थिक समृद्धि भी आएगी।
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