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DVC लगायेगा 2200 मेगावाट क्षमता का सौर ऊर्जा प्लांट
चर्चा में क्यों?
4 जनवरी, 2023 को मीडिया से मिली जानकारी के अनुसार झारखंड में दामोदर वैली कारपोरेशन (डीवीसी) अपने कमांड एरिया में 2200 मेगावाट क्षमता का सौर ऊर्जा प्लांट लगाएगा। ये कमांड एरिया के अलग-अलग इलाकों में लगाए जाएंगे। इसका डीपीआर भी तैयार कर लिया गया है।
प्रमुख बिंदु
- डीवीसी के सूत्रों ने बताया कि यहाँ दो हज़ार मेगावाट का फ्लोटिंग सोलर प्लांट लगाया जाएगा। इसके लिये दो हज़ार मेगावाट बिजली की योजना का डीपीआर तैयार कर केंद्र सरकार को भेज दिया गया है।
- मैथन, तिलैया और पंचेत डैम में 600-600 मेगावाट की क्षमता का फ्लोटिंग सोलर पावर प्लांट लगाया जाएगा। इसके अलावा, कोनार डैम में 200 मेगावाट क्षमता का प्लांट लगेगा। वहीं, 200 मेगावाट का सोलर प्लांट फील्ड में लगाया जाएगा। इसमें रूफ टॉप भी शामिल है।
- 200 मेगावाट के लिये कोडरमा, मैथन व डीवीसी के कमांड एरिया में अध्ययन कराया जा रहा है। जल्द ही डीपीआर भी तैयार कर लिया जाएगा। पहले चरण में 10 मेगावाट के प्लांट के लिये कोडरमा में स्थल चयन कर लिया गया है।
- जानकारी के अनुसार सोलर प्लांट के साथ-साथ हाइडल प्लांट पर भी डीवीसी काम कर रहा है। गिरिडीह में सरना धर्मावलंबियों के पवित्र स्थल लुगुबुरु में हाइडल प्लांट लगाने को लेकर अध्ययन किया गया है। यहाँ 1500 मेगावाट क्षमता के पंप स्टोरेज हाइडल प्लांट की योजना पर काम चल रहा है। इसका डीपीआर तैयार होते ही इसे राज्य व केंद्र सरकार की मंजूरी के लिये भेजा जाएगा। उसके बाद अगले बजट में इस योजना को शामिल किया जा सकता है।
- उल्लेखनीय है कि तिलैया डैम डीवीसी द्वारा निर्मित यह पहला बांध और हाइड्रो इलेक्ट्रिक पॉवर स्टेशन है जो की बराकर नदी पर बनाया गया है। यह बांध 1200 फीट लंबा और 99 फीट ऊँचा है।
- मैथन डैम बराकर नदी के तट पर स्थित है। यह झारखंड के धनबाद ज़िले के कोयला शहर से लगभग 48 किमी. दूर स्थित है। अंडरग्राउंड पावर स्टेशन वाला यह बांध पूरे दक्षिण-पूर्व एशिया में अद्वितीय है।
- पंचेत बांध झारखंड में धनबाद ज़िले के पंचेत क्षेत्र में दामोदर नदी पर बनाया गया है। इसका उद्घाटन वर्ष 1959 में किया गया। पंचेत बांध 4 मल्टी-प्रयोजन बांधों में से चौथा बांध है, जो दामोदर घाटी निगम के पहले चरण में आता है।
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