पचमढ़ी में ‘नीमघान एडवेंचर टूर’ शुरू | मध्य प्रदेश | 04 Oct 2021
चर्चा में क्यों?
2 अक्टूबर, 2021 को पर्यटकों और एडवेंचर लवर्स के लिये पर्यटन विभाग ने वन विभाग के सहयोग से पचमढ़ी में नवाचार के रूप में ‘नीमघान एडवेंचर टूर’ की शुरुआत की है।
प्रमुख बिंदु
- नीमघान एडवेंचर टूर सतपुड़ा टाईगर रिज़र्व क्षेत्र में संचालित होगा। इसमें पर्यटक एडवेंचर टूर के दौरान वाइल्ड लाइफ, रॉक पेंटिंग, बटर फ्लाई पार्क, कॉफी गार्डन देखने के साथ लंच में कोदो-कुटकी, ज्वार और बाजरा से बने व्यंजनों का लुत्फ ले सकेंगे।
- नीमघान एडवेंचर टूर के लिये राज्य पर्यटन विकास निगम और सतपुड़ा टाईगर रिज़र्व के बीच अनुबंध किया गया है।
- नीमघान एडवेंचर टूर रोजाना निगम की पचमढ़ी स्थित इकाइयों होटल ग्लेन व्यू और चंपक बंगले से सुबह 9:30 बजे से शुरू होकर शाम 6 बजे समाप्त होगा। टूर में जंगल ट्रेल के अतिरिक्त जिप्सी के द्वारा भी भ्रमण कराया जाएगा। एक जिप्सी में अधिकतम 6 व्यक्ति बैठ सकेंगे।
- लगभग 30 किलोमीटर के दिनभर के एडवेंचर टूर में पर्यटकों को 500 मीटर की दूरी की एक जंगल ट्रेल भी कराई जाएगी। पर्यटकों के लिये निगम ने कुछ खास इंतजाम किये हैं, जिनमें दोपहर लंच में चूल्हे पर बनी रोटी, दोपहर में थोड़ी देर विश्राम करने के लिये खटिया और पेड़ों पर झूलों की व्यवस्था शामिल हैं।
पचमढ़ी में मैराथन का तृतीय संस्करण आयोजित | मध्य प्रदेश | 04 Oct 2021
चर्चा में क्यों?
3 अक्टूबर, 2021 को मध्य प्रदेश के खूबसूरत हिल स्टेशन पचमढ़ी के नैसर्गिक सौंदर्य और प्राकृतिक वातावरण से पर्यटकों को रू-ब-रू कराने तथा पर्यटन के लिये अधिक से अधिक सैलानियों को आकर्षित करने के उद्देश्य से मध्य प्रदेश टूरिज्म बोर्ड द्वारा ‘पचमढ़ी मैराथन’ का तृतीय संस्करण आयोजित किया गया।
प्रमुख बिंदु
- इस अवसर पर राज्य पर्यटन विकास निगम के प्रबंध निदेशक एस. विश्वनाथन ने कहा कि मैराथन के आयोजन से प्रदेश में स्वास्थ्य पर्यटन (वेलनेस टूरिज्म) एवं एक्टिव हॉलीडेज कांसेप्ट को बढ़ावा देने का एक सार्थक प्रयास किया जा रहा है।
- पचमढ़ी प्रदेश का नंबर वन टूरिज्म स्पॉट है। यहाँ साल भर सभी मौसम में चाहे सर्दी हो या बरसात, देश के कोने-कोने से सैलानी आते हैं और प्राकृतिक सुंदरता का लुत्फ उठाते हैं।
- विश्वनाथन ने कहा कि पचमढ़ी में प्रोफेशनल मैराथन आयोजित किये जाने की कार्य-योजना तैयार की जा रही है।
- इस मैराथन को तीन श्रेणियों 5 किमी., 10 किमी. और 21 किमी. में आयोजित किया गया। इन श्रेणियों को फैमिली फन रन, एंड्योरेंस रन और धूपगढ़ पहाड़ी रन नाम दिया गया।
- टूरिज्म बोर्ड ने मैराथन में भाग लेने वाले सभी धावकों को टी-शर्ट, आरएफआईडी टाइमिंग चिप, रूट सपोर्ट, फिनिशर्स मेडल और ई-सर्टिफिकेट प्रदान किये। साथ ही प्रतियोगिता के शीर्ष तीन धावकों को अतिथियों ने ट्रॉफी और दो रात्रि और तीन दिवस के फ्री स्टे वाउचर प्रदान किये।
- उल्लेखनीय है कि मैराथन का पहला संस्करण 22 जुलाई, 2018 को आयोजित किया गया था, जिसमें लगभग 800 पर्यटकों ने भाग लिया। प्रथम संस्करण की अपार सफलता के बाद इस मैराथन को मध्य प्रदेश पर्यटन बोर्ड द्वारा एक वार्षिक कार्यक्रम के रूप में प्रतिवर्ष आयोजित करने का निर्णय लिया गया।
- इसका दूसरा संस्करण वर्ष 2019 में 21 जुलाई को आयोजित किया गया, जिसमें लगभग 800-1000 पर्यटकों ने हिस्सा लिया। कोविड-19 महामारी के दृष्टिगत वर्ष 2020 में इस मैराथन आयोजन नहीं हो सका था।
- मैराथन का तीसरा संस्करण में कोविड-19 को ध्यान में रखते हुए समस्त बचाव और सुरक्षा निर्देशों का पालन कर सीमित प्रतिभागियों के साथ आयोजित की गई। भाग लेने वाले सभी पर्यटकों को पूर्ण रूप से कोविड वैक्सीनेटेड होना और कोविड टेस्ट की नेगेटिव रिपोर्ट प्रस्तुत करना अनिवार्य था।
प्रदेश के दो इंजीनियरिंग महाविद्यालयों को मिला एनबीए एक्रिडेशन | मध्य प्रदेश | 04 Oct 2021
चर्चा में क्यों?
01 अक्टूबर, 2021 को मध्य प्रदेश के दो इंजीनियरिंग महाविद्यालयों को नेशनल बोर्ड ऑफ एक्रिडेशन, नई दिल्ली से चार पाठयक्रमों के लिये वर्ष 2022-23 तक एक्रिडेशन मिला है।
प्रमुख बिंदु
- रीवा एवं उज्जैन के शासकीय इंजीनियरिंग महाविद्यालयों में मध्य प्रदेश के छात्र-छात्राओं को उच्च कोटि की तकनीकी शिक्षा मिलने की प्रामाणिकता प्राप्त हो गई है।
- उल्लेखनीय है कि नेशनल बोर्ड ऑफ एक्रिडेशन से हाल ही में उज्जैन इंजीनियरिंग महाविद्यालय के मैकेनिकल पाठयक्रम और रीवा इंजीनियरिंग महाविद्यालय के तीन सिविल, मैकेनिकल और इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग पाठयक्रम को एक्रिडेशन प्राप्त हुआ है।
- तकनीकी शिक्षा मंत्री श्रीमती यशोधरा राजे सिंधिया ने जानकारी दी कि रीवा एवं उज्जैन इंजीनियरिंग कॉलेजों के इन पाठ्यक्रमों की शिक्षा को अब राष्ट्रीय स्तर के संस्थानों, जैसे- आईआईटी/एनआईटी के समकक्ष माना जाएगा।
- उन्होंने बताया कि नेशनल बोर्ड ऑफ एक्रिडेशन की आठ सदस्यीय टीम द्वारा इन महाविद्यालयों की ऑफलाइन एवं ऑनलाइन विजिट कर संस्था के संपूर्ण संसाधनों, प्रयोगशालाओं, प्राध्यापकों की गुणवत्ता, पूर्व और वर्तमान छात्रों की शैक्षणिक गुणवत्ता तथा फीडबैक की गहन जाँच करते हुए इन संस्थानों को प्रामाणिकता प्रदान की गई है।
- सिंधिया ने कहा कि इससे इन पाठ्यक्रमों में उत्तीर्ण छात्र-छात्राओं को देश के प्रतिष्ठित कंपनियों में प्लेसमेंट मिलने की संभावना प्रबल हो गई है। इस एक्रिडेशन से दोनों महाविद्यालयों को विश्वविद्यालय अनुदान आयोग एवं अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद नई दिल्ली से प्राप्त होने वाले अनुदानों और सुविधाओं में वृद्धि होगी।