मध्य प्रदेश Switch to English
एमपी टूरिज़्म को प्रतिष्ठित e4m गोल्डन माइक्स अवार्ड
चर्चा में क्यों?
3 अगस्त, 2022 को मध्य प्रदेश के प्रमुख सचिव (पर्यटन और संस्कृति) एवं प्रबंध संचालक (टूरिज़्म बोर्ड) शिव शेखर शुक्ला ने बताया कि एमपी टूरिज़्म को वेलनेस रेडियो कैंपेन के लिये प्रतिष्ठित e4m गोल्डन माइक्स अवार्ड-2022 मिला है।
प्रमुख बिंदु
- ताज होटल, मुंबई में आयोजित अवार्ड के 10वें संस्करण में उप-संचालक दीपिका राय चौधरी ने पर्यटन विभाग की ओर से यह पुरस्कार ग्रहण किया।
- प्रमुख सचिव शुक्ला ने बताया कि मध्य प्रदेश पर्यटन को रेडियो कैंपेन ‘खुशियाँ तेरे पीछे चले’ को क्रिएटिव श्रेणी में ब्राँज अवार्ड मिला है।
- गौरतलब है कि गोल्डन माइक पुरस्कार एक्सचेंज 4 मीडिया ग्रुप द्वारा दिया जाने वाला प्रमुख रेडियो विज्ञापन पुरस्कार है। यह क्रिएटिविटी, प्रमोशन, इनोवेशन, ब्रॉडकास्टर, रीजनल लैंग्वेज रेडियो सहित श्रेणियों में दिया जाता है।
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इंदौर के सिरपुर तालाब को मिला रामसर साइट का दर्जा
चर्चा में क्यों?
3 अगस्त, 2022 को केंद्रीय वन, पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा पाँच राज्यों के 10 जल-स्थलों को रामसर साइट का दर्जा दिया गया, जिसमें मध्य प्रदेश के इंदौर ज़िले का सिरपुर तालाब भी शामिल है।
प्रमुख बिंदु
- इसके साथ ही मध्य प्रदेश में अब तीन रामसर साइट हो गई हैं। 26 जुलाई, 2022 को शिवपुरी ज़िले की माधव राष्ट्रीय उद्यान में स्थित सांख्य सागर झील को रामसर साइट का दर्जा मिला था, जबकि भोपाल की बड़ी झील (बड़ा तालाब/भोज ताल) पहले से ही रामसर साइट घोषित है।
- केंद्रीय वन, पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय द्वारा नामित किये गए 10 नए रामसर साइट्स में तमिलनाडु के छह और गोवा, कर्नाटक, मध्य प्रदेश तथा ओडिशा के एक-एक स्थल शामिल हैं। इनको मिलाकर भारत में अंतर्राष्ट्रीय महत्त्व के रामसर साइट्स की संख्या 64 हो गई हैं। ये आर्द्रभूमियाँ स्थल देश में 12,50,361 हेक्टेयर क्षेत्र में फैली हैं।
- इससे पहले 26 जुलाई, 2022 को केंद्रीय वन, पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्रालय ने देश में पाँच स्थलों को रामसर साइट्स घोषित किया था। इनमें तमिलनाडु के तीन, मिजोरम में एक और मध्य प्रदेश में एक आर्द्रभूमि स्थल शामिल थे। इनको मिलाकर देश में रामसर स्थलों की कुल संख्या 49 से बढ़कर 54 हो गई थी।
- उल्लेखनीय है कि झील संरक्षण के संबंध में ईरान के रामसर नगर में वर्ष 1971 में हुई एक अंतर्राष्ट्रीय संधि के आधार पर अंतर्राष्ट्रीय महत्त्व की वेटलैंड साइट्स की सूची संधारित की जाती है। विश्व में हो रहे जलवायु असंतुलन और परिवर्तन के दौर में रामसर साइट की भूमिका विश्व के पर्यावरण सुधार में अति महत्त्वपूर्ण है।
रामसर स्थलों के रूप में नामित 10 आर्द्रभूमि |
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राज्य |
आर्द्रभूमि का नाम |
क्षेत्रफल (हेक्टेयर) |
तमिलनाडु |
कूनथनकुलम पक्षी अभयारण्य |
72.04 |
मन्नार की खाड़ी समुद्री बायोस्फीयर रिज़र्व |
52671.88 |
|
वेम्बन्नूर वेटलैंड कॉम्प्लेक्स |
19.75 |
|
वेलोड पक्षी अभयारण्य |
77.19 |
|
वेदान्थंगल पक्षी अभयारण्य |
40.35 |
|
उदयमार्थंदपुरम पक्षी अभयारण्य |
43.77 |
|
ओडिशा |
सतकोसिया गॉर्ज |
98196.72 |
कर्नाटक |
रंगनाथिट्टू बी एस |
517.70 |
मध्य प्रदेश |
सिरपुर आर्द्रभूमि |
161 |
गोवा |
नंदा झील |
42.01 |
|
10 आर्द्रभूमि का कुल क्षेत्रफल |
1,51,842.41 |
|
भारत में 64 रामसर स्थलों का कुल क्षेत्रफल (उपर्युक्त 10 और स्थलों के पदनाम के बाद) |
12,50,361 |
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