झारखंड Switch to English
रागी उत्पादन में गुमला पूरे झारखंड राज्य में अव्वल
चर्चा में क्यों?
30 नवंबर, 2022 को झारखंड के गुमला ज़िला प्रशासन द्वारा ज़िले में संचालित रागी मिशन तथा पोषण लड्डू योजना की समीक्षा बैठक में डीसी सुशांत गौरव ने बताया कि इस वर्ष गुमला ज़िले में 3500 हेक्टेयर जमीन में रागी की खेती की गई थी, जिसमें 4500 मिट्रिक टन रागी का उत्पादन करते हुए गुमला ने राज्य में अव्वल स्थान प्राप्त किया है।
प्रमुख बिंदु
- डीसी सुशांत गौरव ने बताया कि गुमला ज़िले ने 4500 मिट्रिक टन रागी का उत्पादन किया है, जिसमें 200 मिट्रिक टन उत्पादित रागी का क्लस्टर स्तर पर संकलन किया जा चुका है।
- उन्होंने राज्य में किसान मेला का भव्य रूप से आयोजन करने का निर्देश दिया ताकि दूरदराज से भी लोग आकर रागी तथा इससे बने चीजों को खरीद सकें। मेले में कोई संस्था, संगठन अथवा कंपनी रागी की खरीद करने या इसकी मार्केटिंग करने हेतु ज़िला प्रशासन के साथ जुड़ना चाहे तो उनका स्वागत किया जाएगा।
- उन्होंने ज़िले से एक टीम को रागी से बनने वाले खाद्य-पदार्थों, रागी से संबंधित वैज्ञानिक दृष्टिकोण आदि को समझने और सीखने के लिये अन्य राज्यों के यूनिवर्सिटी अथवा संस्थानों में जाने हेतु तैयारी करने का निर्देश दिया ताकि उनके द्वारा लिये गए प्रशिक्षण से गुमला ज़िले में और बेहतर कार्य किया जा सके।
- सुशांत गौरव ने ज़िला समाज कल्याण पदाधिकारी को ज़िले के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों में पढ़ रहे बच्चों की सूची देने और केंद्रों के बच्चों के लिये रागी के आटे तैयार कर भेजे जाने का निर्देश दिया। रागी के आटे को नियमित रूप से बच्चों के भोजन में मिलाकर दिया जाएगा, जिससे बच्चे कुपोषण से बचेंगे।
- ज़िले में कुपोषण को खत्म करने का सबसे बेहतर उपाय रागी है और इसके साथ ही यह आर्थिक आमदनी का भी स्रोत है।
Switch to English