विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप | 25 Jul 2022
चर्चा में क्यों?
24 जुलाई, 2022 को यूएसए के ओरेगन प्रांत के यूजीन में संपन्न वर्ल्ड एथलेटिक्स चैंपियनशिप के जैवलिन थ्रो (भाला फेंक) के फाइनल में हरियाणा के गोल्डन बॉय और ओलंपिक चैंपियन नीरज चोपड़ा ने रजत पदक जीतकर इतिहास रच दिया।
प्रमुख बिंदु
- नीरज चोपड़ा ने चैंपियनशिप के फाइनल के चौथे राउंड में 88.13 मीटर दूर भाला फेंककर रजत पदक अपने नाम किया। जबकि ग्रेनाडा के एंडरसन पीटर्स ने दूसरे राउंड में 90.46 मीटर दूर भाला फेंककर स्वर्ण पदक अपने नाम किया।
- नीरज चोपड़ा का पहला प्रयास फाउल रहा, जबकि दूसरे प्रयास में उन्होंने 82.39 मीटर का थ्रो किया। दूसरी ओर, ग्रेनाडा के एंडरसन पीटर्स ने अपने पहले और दूसरे प्रयास में क्रमश: 90.21 और 90.46 मीटर का थ्रो करते हुए अपना मेडल पक्का कर लिया।
- नीरज ने तीसरे प्रयास में अपने प्रदर्शन में सुधार करते हुए 86.37 मीटर का थ्रो जबकि चौथे राउंड में 88.13 मीटर का थ्रो करते हुए दूसरा स्थान प्राप्त किया। नीरज का यह ओलिंपिक से भी बेहतर प्रदर्शन था। उन्होंने टोक्यो ओलिंपिक में 87.58 मीटर का थ्रो करते हए गोल्ड मेडल जीता था।
- इसके साथ ही नीरज चोपड़ा विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप में पदक जीतने वाले भारत के पहले पुरुष खिलाड़ी बन गए हैं। इससे पहले साल 2003 में अंजू बॉबी जॉर्ज ने लॉन्ग जंप प्रतियोगिता में काँस्य पदक जीतकर विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप में पदक जीतने वाली एकमात्र भारतीय खिलाड़ी बनीं थीं।
- गौरतलब है कि हाल ही में हुई स्टॉकहोम डायमंड लीग में नीरज और एंडरसन की टक्कर हुई थी, तब एंडरसन ने 90.31 मीटर का थ्रो करते हुए गोल्ड मेडल अपने नाम किया था, जबकि नीरज चोपड़ा ने 89.94 मीटर का थ्रो करते हुए नेशनल रिकॉर्ड बनाया और सिल्वर मेडल जीता था।
- इसी साल दोहा डायमंड लीग में तो एंडरसन पीटर्स ने 93.07 मीटर दूर तक भाला फेंककर सबको चौंका दिया था। एंडरसन इस बार वर्ल्ड एथलेटिक्स चैंपियनशिप में डिफेंडिंग चैंपियन के रूप में उतरे थे। उन्होंने पिछली बार 2019 में 86.89 मीटर दूर थ्रो करते हुए गोल्ड जीता था।
- गौरतलब है कि हरियाणा अपने खिलाड़ियों को कॉमनवेल्थ, एशियाड और ओलंपिक में पदक जीतने पर देश में सबसे ज्यादा पुरस्कार और सुविधाएँ देता है।
- हरियाणा सरकार ने उत्कृष्ट खिलाडियों के लिये सुरक्षित रोज़गार सुनिश्चित करने हेतु ‘हरियाणा प्रतिभाशाली खिलाड़ी नियम-2018’ बनाए हैं।
- हरियाणा में खेलों को बढ़ावा देने और खिलाड़ियों के सर्वांगीण विकास हेतु खेल एवं युवा मामले विभाग ने खिलाड़ियों को प्रशिक्षित करने के लिये 10 डे-बोर्डिंग और 8 आवासीय अकादमियाँ शुरू की हैं।