पीएम ने मध्य प्रदेश में परियोजनाओं का उद्घाटन किया | 12 Feb 2024
चर्चा में क्यों?
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मध्य प्रदेश के झाबुआ ज़िले में 7,500 करोड़ रुपए की विकासात्मक परियोजनाओं की आधारशिला रखी और आदिवासी समुदायों के एक सम्मेलन को संबोधित किया।
मुख्य बिंदु:
- कार्यक्रम के दौरान, प्रधानमंत्री ने:
- राज्य की आहार अनुदान योजना के तहत लगभग दो लाख महिला लाभार्थियों को मासिक किश्तों का वितरण किया गया।
- योजना के तहत, विशेष रूप से पिछड़ी जनजातियों की महिलाओं को पौष्टिक भोजन के लिये 1,500 रुपए प्रति माह प्रदान किये जाते हैं।
- स्वामित्व (SVAMITVA) योजना के तहत 1.75 लाख 'अधिकार अभिलेख' (भूमि अधिकारों का रिकॉर्ड) वितरित किये गए, जो लोगों को उनकी भूमि के अधिकार हेतु दस्तावेज़ी साक्ष्य प्रदान करेगा।
- प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना के तहत 559 गाँवों को 55.9 करोड़ रुपए की धनराशि हस्तांतरित की गई, जिसका उपयोग आंगनवाड़ी भवन, उचित मूल्य की दुकानों, स्वास्थ्य केंद्रों, स्कूलों में अतिरिक्त कमरे, आंतरिक सड़कों सहित विभिन्न प्रकार की निर्माण गतिविधियों के लिये किया जाएगा।
- राज्य की आहार अनुदान योजना के तहत लगभग दो लाख महिला लाभार्थियों को मासिक किश्तों का वितरण किया गया।
- शिलान्यास:
- टंट्या मामा भील विश्वविद्यालय जो राज्य के आदिवासी बहुल ज़िलों के युवाओं को शिक्षा प्रदान करेगा।
- झाबुआ में 'सीएम राइज स्कूल' जो छात्रों को स्मार्ट क्लास, ई-लाइब्रेरी जैसी आधुनिक सुविधाएँ प्रदान करने के लिये प्रौद्योगिकी को एकीकृत करेगा।
- 'तलावड़ा परियोजना', जो धार एवं रतलाम के एक हजार से अधिक गाँवों के लिये पेयजल आपूर्ति योजना है तथा कायाकल्प और शहरी परिवर्तन के लिये अटल मिशन (AMRUT) 2.0 के तहत 14 शहरी जल आपूर्ति योजनाएँ, जिससे मध्य प्रदेश के कई ज़िलों में 50,000 से अधिक शहरी परिवार लाभान्वित हो रहे हैं।
- झाबुआ की 50 ग्राम पंचायतों के लिये 'नल जल योजना', जिससे लगभग 11,000 घरों को नल का जल मिलेगा।
- राष्ट्र को समर्पित की जाने वाली रेल परियोजनाओं में इंदौर-देवास-उज्जैन सी केबिन रेलवे लाइन के दोहरीकरण, यार्ड रिमॉडलिंग के साथ इटारसी-उत्तर-दक्षिण ग्रेड सेपरेटर और बरखेड़ा-बुदनी-इटारसी को जोड़ने वाली तीसरी लाइन की परियोजनाएँ शामिल हैं।
- प्रधानमंत्री मध्य प्रदेश में 3,275 करोड़ रुपए से अधिक की लागत वाली कई सड़क विकास परियोजनाएँ भी राष्ट्र को समर्पित करेंगे।
अमृत 2.0
- अमृत मिशन को हर घर में जल की सुनिश्चित आपूर्ति और सीवरेज कनेक्शन के साथ सभी की नल तक पहुँच को सुनिश्चित करने के लिये जून 2015 में शुरू किया गया था।
- अमृत 2.0 का लक्ष्य लगभग 4,700 ULB (शहरी स्थानीय निकाय) में सभी घरों में जल की आपूर्ति के मामले में 100% कवरेज प्रदान करना है।
- इसका उद्देश्य स्टार्टअप्स और एंटरप्रेन्योर्स (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) को प्रोत्साहित करके आत्मनिर्भर भारत पहल को बढ़ावा देना है।
प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना (PMAGY)
- इसे वर्ष 2009-10 के दौरान लॉन्च किया गया था। इस योजना का लक्ष्य अनुसूचित जाति बहुल गाँवों का एकीकृत विकास करना है।
- इस योजना का उद्देश्य 50% से अधिक अनुसूचित जाति आबादी वाले चयनित गाँवों का एकीकृत विकास सुनिश्चित करना है:
- मुख्य रूप से प्रासंगिक केंद्र और राज्य/केंद्र शासित प्रदेश सरकार की योजनाओं के अभिसरण कार्यान्वयन के माध्यम से और
- प्रति गाँव 20,00,000 रुपय की सीमा तक केंद्रीय सहायता के रूप में प्रदान की गई 'गैप-फिलिंग' निधि के माध्यम से ऐसी चिन्हित गतिविधियों को शुरू करना जो मौजूदा केंद्र और राज्य सरकार की योजनाओं के अंतर्गत शामिल नहीं हैं।