ऑपरेशन समानता | 06 Apr 2022
चर्चा में क्यों?
5 अप्रैल, 2022 को राजस्थान के राज्य अनुसूचित जाति आयोग के अध्यक्ष खिलाड़ी लाल बैरवा ने बूंदी ज़िले में ज़िलास्तरीय अधिकारियों की बैठक में ‘ऑपरेशन समानता’ की तर्ज़ पर अनुसूचित जाति वर्ग के अन्य मामलों में अभियान स्तर पर कार्य किये जाने का निर्देश दिया।
प्रमुख बिंदु
- 24 जनवरी से शुरू हुआ ऑपरेशन समानता बूंदी पुलिस का नवाचार है, जिसे अब पूरे प्रदेश में क्रियान्वित किया जा रहा है।
- इसके तहत थानास्तर पर बीट कॉन्स्टेबलों को अपने क्षेत्र में ऐसे गाँवों को चिह्नित करना होता है, जहाँ अब तक दलित दूल्हे घोड़ी पर नहीं बैठे हों या घोड़ी पर बैठने पर अप्रिय घटना हुई हो या उन्हें घोड़ी से उतार दिया गया हो।
- चिह्नित करने के बाद ऐसे गाँवों में समानता समितियाँ बनाई जाती हैं ताकि घोड़ी पर दलित समाज के दूल्हे, दुल्हनों की बिंदौरियाँ बिना किसी विवाद और अप्रिय घटना के निकाली जा सकें।
- गौरतलब है कि संविधान के भाग 3 के तहत प्रदत्त समानता के अधिकार (अनुच्छेद 14-18) के बावजूद SC/ST समुदायों के साथ अश्पृश्यता सहित विभिन्न प्रकार के भेदभाव किये जाते हैं। ऐसे में राजस्थान पुलिस का यह कदम अत्यंत सराहनीय है।