उत्तर प्रदेश
नक्सली साजिश मामले में NIA ने 12 जगहों पर छापेमारी की
- 08 Apr 2024
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चर्चा में क्यों?
भारत विरोधी साजिश मामले में राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (NIA) ने उत्तर प्रदेश और बिहार में 12 जगहों पर छापेमारी की।
मुख्य बिंदु:
- कुल में से, उत्तर प्रदेश के बलिया ज़िले में 11 स्थानों और बिहार के कैमूर ज़िले में एक स्थान की तलाशी मूल रूप से उत्तर प्रदेश के आतंकवाद विरोधी दस्ते (ATS) द्वारा दर्ज मामले के संबंध में की गई थी।
- तलाशी अभियान के दौरान, मोबाइल फोन, सिम कार्ड और मेमोरी कार्ड सहित कई डिजिटल उपकरणों के साथ-साथ प्रतिबंधित नक्सली संगठन के पर्चे जैसे आपत्तिजनक दस्तावेज़ ज़ब्त किये गए।
- NIA की अब तक की जाँच के अनुसार, प्रतिबंधित संगठन उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और हिमाचल प्रदेश सहित उत्तरी क्षेत्रीय ब्यूरो में अपनी उपस्थिति को फिर से सक्रिय करने के लिये सक्रिय प्रयास कर रहा है।
राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (NIA)
- NIA भारत की केंद्रीय आतंकवाद-रोधी कानून प्रवर्तन एजेंसी है जो भारत की संप्रभुता, सुरक्षा और अखंडता को प्रभावित करने वाले सभी अपराधों की जाँच करने के लिये अधिकृत है। इसमें शामिल है:
- विदेशी राष्ट्रों के साथ मैत्रीपूर्ण
- परमाणु और नाभिकीय सुविधाओं के
- हथियारों, नशीली दवाओं और नकली भारतीय मुद्रा की तस्करी तथा सीमा पार से घुसपैठ।
- संयुक्त राष्ट्र, इसकी एजेंसियों और अन्य अंतर्राष्ट्रीय संगठनों की अंतर्राष्ट्रीय संधियों, समझौतों, सम्मेलनों व प्रस्तावों को लागू करने के लिये बनाए गए वैधानिक कानूनों के तहत अपराध।
- इसका गठन राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (NIA) अधिनियम, 2008 के तहत किया गया था।
- एजेंसी को गृह मंत्रालय की लिखित उद्घोषणा के तहत राज्यों की विशेष अनुमति के बिना राज्यों में आतंकवाद से संबंधित अपराधों की जाँच से निपटने का अधिकार है।
- मुख्यालय: नई दिल्ली
भारत में नक्सलवाद
- नक्सलवाद शब्द का नाम पश्चिम बंगाल के गाँव नक्सलबाड़ी से लिया गया है।
- इसकी शुरुआत स्थानीय ज़मींदारों के खिलाफ विद्रोह के रूप में हुई, जिन्होंने भूमि विवाद पर एक किसान की पिटाई की थी। विद्रोह की शुरुआत वर्ष 1967 में कानू सान्याल और जगन संथाल के नेतृत्व में मेहनतकश किसानों को भूमि के उचित पुनर्वितरण के उद्देश्य से की गई थी।
- पश्चिम बंगाल में शुरू हुआ यह आंदोलन पूरे पूर्वी भारत: छत्तीसगढ़, ओडिशा के अतिरिक्त आंध्र प्रदेश जैसे राज्यों के कम विकसित क्षेत्रों में भी फैल गया है।
- ऐसा माना जाता है कि नक्सली माओवादी राजनीतिक भावनाओं और विचारधारा का समर्थन करते हैं।