चुनाव में ज़मानत राशि गँवाना | 09 Oct 2024
चर्चा में क्यों?
हाल ही में हरियाणा में काफी प्रयास के बावजूद, एक राजनीतिक दल स्थानीय चुनावों में कोई भी सीट जीतने में असफल रहा, जिसके परिणामस्वरूप आवश्यक वोट प्रतिशत हासिल न कर पाने के कारण उम्मीदवारों की ज़मानत जब्त हो गई।
मुख्य बिंदु
- ज़मानत राशि अधिदेश :
- जन प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1951 के अनुसार, चुनाव लड़ते समय उम्मीदवारों को ज़मानत राशि जमा करनी होती है।
- संसदीय चुनाव के लिये: 25,000 रुपए; विधानसभा चुनाव के लिये: 10,000 रुपए।
- इससे यह सुनिश्चित होता है कि केवल वास्तविक रूप से प्रतिबद्ध उम्मीदवार ही नामांकन प्रस्तुत किया जाए।
- ज़मानत राशि की ज़ब्ती :
- किसी उम्मीदवार को ज़मानत बचाने के लिये डाले गए कुल वैध मतों का कम से कम छठा हिस्सा (16.67%) प्राप्त करना आवश्यक है, अन्यथा ज़मानत राशि निर्वाचन आयोग द्वारा ज़ब्त कर ली जाती है।
- उदाहरण गणना:
- 200,000 वोटों वाली एक विधानसभा सीट पर, उम्मीदवारों को अपनी ज़मानत ज़ब्त होने से बचने के लिये 33,332 से अधिक वोट प्राप्त करने होंगे।
जन प्रतिनिधित्व अधिनियम (RPA),1951
- यह चुनावों और उप-चुनावों के वास्तविक संचालन को नियंत्रित करता है।
- जन प्रतिनिधित्व कानून, 1951 चुनाव संचालन के लिये प्रशासनिक तंत्र प्रदान करता है।
- यह राजनीतिक दलों के पंजीकरण से संबंधित है।
- इसमें सदनों की सदस्यता के लिये योग्यताएं और अयोग्यताएँ निर्दिष्ट की गई हैं।
- इसमें भ्रष्ट आचरण और अन्य अपराधों पर अंकुश लगाने के प्रावधान हैं।
- यह चुनावों से उत्पन्न होने वाले संदेहों और विवादों को निपटाने की प्रक्रिया निर्धारित करता है।