राजस्थान विधानसभा में बाल सत्र का आयोजन | 15 Nov 2021
चर्चा में क्यों?
14 नवंबर, 2021 को बाल दिवस के अवसर पर राजस्थान विधानसभा में ऐतिहासिक बाल सत्र का आयोजन किया गया, जहाँ बच्चों ने ही विधानसभा अध्यक्ष, मुख्यमंत्री और मंत्री बनकर सत्र चलाया तथा सदस्य बने बच्चों के प्रश्नों का जवाब दिया। विधानसभा के इस अनूठे सत्र में शून्यकाल और प्रश्नकाल का आयोजन किया गया।
प्रमुख बिंदु
- इस बाल सत्र में लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला, राजस्थान विधानसभाध्यक्ष डॉ. सी. पी. जोशी, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, मंत्रिगण और विधायक उपस्थित थे। समारोह का शुभारंभ लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने दीप प्रज्ज्वलित कर किया।
- विधानसभा अध्यक्ष ने बताया कि राष्ट्रमंडल संसदीय संघ की राजस्थान शाखा के तत्वावधान में 75वें आज़ादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर विधानसभा में बाल सत्र का संचालन किया गया। ऐसा सत्र देश में पहली बार हुआ है।
- उन्होंने कहा कि यह बाल सत्र संसदीय लोकतंत्र को मज़बूती प्रदान करेगा और लोकतंत्र को लेकर बच्चों के मन की जिज्ञासाओं को भी हम सब समझ सकेंगे। भावी पीढ़ी को सदन चलाने, प्रश्न पूछने और अनुशासन के साथ अपनी बात रखने का मौका दिया गया है। उन्होंने बताया कि बाल सत्र के लिये पंद्रह राज्यों के पाँच हज़ार पाँच सौ बच्चों ने ऑनलाइन आवेदन किया था, जिसमें से दो सौ बच्चों का चयन किया गया।
- इस अवसर पर लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला ने कहा कि यह एक अद्भुत नवाचार है, जो अन्य राज्यों में भी होना चाहिये, राजस्थान विधानसभा में बाल सत्र का आयोजन अविस्मरणीय रहेगा। देश की भावी पीढ़ी ने जिस सुव्यवस्थित तरीके और अनुशासन के साथ सत्र का संचालन किया है, उससे देश के नौजवानों को भी संदेश मिलेगा कि लोकतंत्र में उनकी क्या भूमिका हो सकती है।