बिहार में दो हज़ार नए आंगनबाड़ी केंद्र खुलेंगे, केंद्र सरकार ने दी मंज़ूरी | 01 Aug 2022
चर्चा में क्यों?
31 जुलाई, 2022 को बिहार के समाज कल्याण मंत्री मदन साहनी ने बताया कि केंद्र सरकार ने बिहार में दो हज़ार नए आंगनबाड़ी केंद्रों की स्थापना के प्रस्ताव को मंज़ूरी दे दी है।
प्रमुख बिंदु
- मदन साहनी ने बताया कि केंद्र सरकार से मंज़ूरी प्राप्त दो हज़ार नए आंगनबाड़ी केंद्र स्थापित करने की कार्रवाई प्रक्रियाधीन है। जल्द ही इन्हें ग्रामीण क्षेत्रों में खोला जाएगा। इनके माध्यम से कुपोषित बच्चों व महिलाओं के पोषण स्तर में सुधार लाया जाएगा।
- समाज कल्याण विभाग के सूत्रों ने बताया कि आंगनबाड़ी केंद्र 400 से 800 की जनसंख्या पर बनाए जाते हैं। जनसंख्या के आधार पर ग्राम पंचायत क्षेत्र में एक अथवा एक-से-अधिक आंगनबाड़ी केंद्र हो सकते हैं। आंगनबाड़ी कायकर्त्ता तथा सहायिका केंद्र को चलाते हैं।
- जानकारी के अनुसार समाज कल्याण विभाग ने राज्य में 20 हज़ार नए आंगनबाड़ी केंद्रों की स्थापना और उसके अनुसार केंद्रीय सहायता प्रदान करने का प्रस्ताव केंद्र सरकार को भेजा था, जिसकी मंज़ूरी नहीं मिली है।
- गौरतलब है कि आंगनबाड़ी केंद्रों के संचालन में केंद्र व राज्य सरकार मिलकर वित्तीय सहायता देती हैं।
- आंगनबाड़ी केंद्र सुदूर ग्रामीण इलाकों में वंचित व गरीब तबकों तक सरकारी योजनाओं को पहुँचाने का सशक्त माध्यम हैं।
- समेकित बाल विकास सेवाएँ निदेशालय (आईसीडीएस) के तहत वर्तमान में राज्य में 1 लाख 12 हज़ार 94 आंगनबाड़ी केंद्र संचालित हैं। इनमें वास्तविक रूप से अभी 10 लाख आंगनबाड़ी केंद्र ही क्रियाशील हैं।
- राज्य में वर्तमान में संचालित आंगनबाड़ी केंद्रों में 99 लाख 23 हज़ार 915 लाभार्थी हैं। इनमें 0 से 6 साल के बच्चे, किशोरी व गर्भवती एवं शिशुवती महिलाएँ शामिल हैं। शिशुओं के प्रसवपूर्व और प्रसवोत्तर स्वास्थ्य, बाल पोषण, विद्यालय शिक्षा तथा बच्चों के टीकाकरण में आंगनबाड़ी महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।