Rapid Fire (करेंट अफेयर्स): 28 दिसंबर, 2020
भारत की पहली ड्राइवर-रहित मेट्रो
28 दिसंबर, 2020 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राजधानी दिल्ली में देश की पहली ड्राइवर-रहित मेट्रो रेल का उद्घाटन किया है। देश में ड्राइवर-रहित इस पहली मेट्रो रेल का संचालन दिल्ली मेट्रो की 38 किलोमीटर लंबी लाइन-8 यानी मैजेंटा लाइन पर किया जाएगा। नई प्रणाली के तहत मेट्रो रेल को ‘दिल्ली मेट्रो रेल काॅर्पोरेशन’ (DMRC) के तीन कमांड सेंटरों से बिना किसी मानवीय हस्तक्षेप के नियंत्रित किया जा सकता है। इसके तहत मानवीय हस्तक्षेप की आवश्यकता केवल रेल हार्डवेयर को बदलने के समय ही होगी। दिल्ली मेट्रो जो कि मौजूदा समय में देश की सबसे बड़ी शहरी रैपिड ट्रांजिट प्रणाली है, ने 24 दिसंबर, 2002 को शाहदरा और तीस हजारी स्टेशन के बीच 8.4 किलोमीटर लंबे मार्ग पर परिचालन शुरू किया था। वर्तमान में दिल्ली मेट्रो के पास राजधानी दिल्ली और आसपास के शहरों जैसे- नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाज़ियाबाद और बहादुरगढ़ में 390 किलोमीटर लंबा नेटवर्क है। यद्यपि वर्ष 2002 के बाद से दिल्ली मेट्रो ने रेल संचालन के क्षेत्र में बहुत महत्त्वपूर्ण प्रगति हासिल की है, किंतु हालिया ड्राइवर-रहित मेट्रो, तकनीक के क्षेत्र में दिल्ली मेट्रो का सबसे नवीनतम और आधुनिक प्रयास है।
तानसेन समारोह
मध्य प्रदेश के ग्वालियर में 26 दिसंबर, 2020 को पाँच दिवसीय बहुप्रतीक्षित तानसेन-समारोह के 96वें संस्करण का उद्घाटन किया गया है। उद्घाटन समारोह के दौरान बहुचर्चित संतूर वादक पंडित सतीश व्यास को प्रतिष्ठित तानसेन सम्मान से नवाजा गया। प्रतिवर्ष दिसंबर माह में आयोजित किये जाने वाले इस समारोह के दौरान सुप्रसिद्ध संगीत सम्राट तानसेन को श्रद्धांजलि देने के लिये दुनिया भर के कलाकार और संगीत प्रेमी ग्वालियर पहुँचते हैं। यह कार्यक्रम मध्य प्रदेश सरकार के संस्कृति विभाग द्वारा आयोजित किया जाता है। मियाँ तानसेन या रामतनु एक प्रमुख भारतीय संगीतकार, गायक और संगीत रचयिता थे, जिन्हें उनकी अद्भुत संगीत रचनाओं और संगीत कौशल के लिये जाना जाता है, साथ ही वे वाद्य संगीत रचनाओं के लिये भी काफी प्रसिद्ध हैं। रामतनु को ‘तानसेन’ का शीर्षक ग्वालियर के राजा विक्रमजीत ने दिया था। ज्ञात हो कि तानसेन, सम्राट अकबर के दरबार के नवरत्नों में से एक थे और अकबर ने ही उन्हें सम्मान के तौर पर ‘मियाँ’ की उपाधि दी थी। उन्होंने भगवान गणेश, शिव, पार्वती और राम पर कई ध्रुपदों की रचना की।
‘झटपट प्रोसेसिंग’ पहल
वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिये आयकर दाखिल करने की अंतिम तिथि को देखते हुए आयकर विभाग ने त्वरित ITR प्रसंस्करण के लिये ‘झटपट प्रोसेसिंग’ पहल की शुरुआत की है। ‘झटपट प्रोसेसिंग’ पहल करदाताओं को सहज तरीके से कर रिटर्न दाखिल करने में सहायता प्रदान करेगी। ज्ञात हो कि सामान्य परिस्थितियों में करदाताओं को 31 जुलाई तक ITR दाखिल करना होता है। हालाँकि कोरोना वायरस महामारी को देखते हुए सरकार ने मई माह में ITR दाखिल करने की समयसीमा 31 जुलाई से बढ़ाकर 30 नवंबर कर दी थी, जिसके बाद इसे 31 दिसंबर तक और बढ़ा दिया गया था। वहीं उन करदाताओं, जिनके खातों को ऑडिट किये जाने की आवश्यकता है, के लिये ITR दाखिल करने की अंतिम तिथि 31 जनवरी, 2021 तय की गई है। आयकर विभाग की मानें तो 24 दिसंबर, 2020 तक वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिये 3.97 करोड़ करदाताओं ने आयकर रिटर्न दाखिल कर दिया है।