एनआईए को और अधिक शक्तियाँ दी जाएंगी : केंद्र
चर्चा में क्यों?
राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (National Investigation Agency-NIA) को और अधिक शक्तियाँ देने का प्रयास, जिसमें विदेशों में भारतीयों और उनकी संपत्तियों पर आतंकवादी हमलों की समानांतर जाँच शुरू करने की अनुमति देना शामिल है, संबंधी मामले में केंद्रीय गृह मंत्रालय (MHA) द्वारा गैरकानूनी गतिविधियाँ (रोकथाम) अधिनियम, 1967 (UAPA) तथा राष्ट्रीय जाँच एजेंसी अधिनियम, 2008 में संसद के आगामी सत्र से पहले संशोधन किया जाएगा।
महत्त्वपूर्ण बिंदु
- प्रस्तावित संशोधन NIA के डायरेक्टर जनरल को "आतंकवाद का वित्तपोषण करने वाली संपत्ति को जब्त और कुर्क" करने के लिये सशक्त बनाएगा।
- वर्तमान में एनआईए को इस तरह की जब्ती के लिये राज्य डीजीपी की मज़ूरी की ज़रूरत होती है। मानव तस्करी से संबंधित मामलों की जाँच के लिये भी एनआईए को अधिकार दिया जाएगा।
- मसौदा विधेयक पर पिछले दो सालों से चर्चा चल रही है। केंद्रीय मंत्रालय और राज्य सरकारों सहित सभी हितधारकों के साथ विचार-विमर्श के बाद, गृह मंत्रालय संसद के आगामी सत्र में संशोधित विधेयक पेश होने से पहले केंद्रीय मंत्रिमंडल से अनुमोदन की योजना बना रहा है।
- इसमें एनआईए को अफगानिस्तान के जलालाबाद और मजार-ए-शरीफ में भारतीय दूतावासों पर बार-बार हमलों के बाद विदेशों में भारतीयों और उनकी संपत्तियों पर आतंकवादी हमलों की जाँच करने की अनुमति देने का प्रस्ताव शामिल है।
- यूएस फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (FBI) को ऐसी शक्तियाँ प्राप्त हैं, जिनका इस्तेमाल 2008 के मुंबई हमलों (जिसमें छह अमेरिकी मारे गए थे) के बाद समानांतर जाँच करने के लिये किया गया था।
- UAPA एक अन्य प्रस्तावित संशोधन के अंतर्गत सरकार को आतंकवादियों से संबंध रखने वाले संदेहास्पद व्यक्ति के नाम का खुलासा करने की अनुमति देगा। यह निर्णय इस्लामिक स्टेट में युवाओं के शामिल होने की सूचना के बाद लिया गया था।
- एनआईए ने आईएस के साथ कथित संबंधों के चलते पूरे भारत से 75 युवाओं को गिरफ्तार किया है, लेकिन इन सभी को सीधे आतंकवादी संगठन से संबद्ध नहीं पाया गया है।
- वर्तमान में UAPA की धारा 35 के तहत प्रतिबंधित आतंकवादी संगठनों की सूची में 39 समूह शामिल हैं। खोरासन प्रांत में इस्लामिक स्टेट (ISKP) या आईएसआईएस विलायत खोरासन और भारतीय उपमहाद्वीप में अल-कायदा (AQIS) इस समूह में जुड़े नए नाम हैं।
- मसौदा संशोधन एनआईए निरीक्षकों को UAPA के तहत अपराधों की जाँच करने की अनुमति भी देता है। वर्तमान में UAPA मामलों की जाँच का अधिकार उप पुलिस अधीक्षक रैंक या इससे ऊपर के एक अधिकारी को दिया गया है।
राष्ट्रीय जाँच एजेंसी
- राष्ट्रीय जाँच एजेंसी (National Investigation Agency-NIA) भारत में आतंकवाद का मुकाबला करने के लिये भारत सरकार द्वारा स्थापित एक संघीय जाँच एजेंसी है। यह केंद्रीय आतंकवाद विरोधी कानून प्रवर्तन एजेंसी के रूप में कार्य करती है।
- एजेंसी 31 दिसंबर 2008 को भारत की संसद द्वारा पारित अधिनियम राष्ट्रीय जाँच एजेंसी विधेयक, 2008 के लागू होने के साथ अस्तित्व में आई थी।
- राष्ट्रीय जाँच एजेंसी को 2008 के मुंबई हमले के पश्चात् गठित किया गया, क्योंकि इस घटना के पश्चात् आतंकवाद का मुकाबला करने के लिये एक केंद्रीय एजेंसी की ज़रूरत महसूस की गई।