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इतिहास प्रैक्टिस प्रश्न

  • जैन धर्म ने प्राचीन भारतीय कला एवं स्थापत्य को किस प्रकार प्रभावित किया? विवेचना कीजिये।

    20 May, 2020

    उत्तर :

    ईसा के जन्म से 600 साल पूर्व उत्तरी भारत के मैदानों में श्रमण परंपरा के रूप में बौद्ध एवं जैन सामाजिक-धार्मिक सुधार आंदोलनों का जन्म हुआ। जैन धर्म ने तत्कालीन सामाजिक व्यवस्था को प्रभावित करने के साथ-साथ उस समय की कला एवं स्थापत्य को भी गहरे स्तर पर प्रभावित किया।

    प्राचीन भारत में जैन कला व स्थापत्य के प्रमुख उदाहरण

    • मौर्यकाल में जैन स्थापत्य के निर्माण की शुरुआत के साथ जैन मठों के रूप में कई स्तूपों, विहारों और चैत्यों का निर्माण हुआ।
    • जैनियों ने हिंदुओं की तरह बड़े-बड़े मंदिरों का निर्माण करवाया, जैसे-
      • मध्य भारत में देवगढ़, खजुराहो, चंदेरी और ग्वालियर में जैन मंदिरों के उत्कृष्ट उदाहरण मिलते हैं।
      • कर्नाटक में जैन मंदिरों की समृद्ध धरोहर सुरक्षित है, जेसे- श्रवणबेलगोला का जैन मंदिर।
      • राजस्थान में माऊंट आबू एवं रणकपुर के जैन मंदिर, संगमरमर के प्रयोग, भारी मूर्तिकलात्मकता और साज-सज्जा के अलंकरण के कारण विशिष्ट है।
      • काठियावाड़ (गुजरात) में शत्रुंजया की पहाड़ियों में एक विशाल जैन तीर्थस्थल है, जिसमें कई मंदिर दर्शनीय है।
    • जैनियों द्वारा महावीर और अन्य तीर्थंकरों की पूजा करने के कारण कई क्षेत्रों, विशेषकर कर्नाटक, गुजरात, राजस्थान और मध्य प्रदेश में विशाल प्रतिमाओं का निर्माण करवाया गया, जेसे- गोमतेश्वर में भगवान बाहुबली की ग्रेनाइट पत्थर की विशाल मूर्ति।
    • जैन धर्म से संबंधित मौर्योत्तर काल में गुहा स्थापत्य का विशेष महत्त्व है जो अपने अभियांत्रिकी कौशल और कला के कारण प्रसिद्ध है, जैसे-
      • महाराष्ट्र के औरंगाबाद में स्थित ऐलोरा में गुफा संख्या 30 से 34 जैन धर्म से संबंधित है। सभी जैन गुफाएँ दिगंबर संप्रदाय से संबंध रखती है।
      • उदयगिरि-खंडगिरि ओडिशा में शैलकृत गुहा स्थापत्य का प्रमुख उदाहरण है, जिनमें खारवेल जैन राजाओं के शिलालेख पाए जाते हैं।
    • जैनियों ने मुख्यत: ब्राह्मणों द्वारा संपोषित संस्कृत भाषा का परित्याग किया और धर्मोंपदेश के लिये आम बोलचाल की भाषा प्राकृत को अपनाया, जिसके कारण प्राकृत भाषा और साहित्य समृद्ध हुआ।  

    इस प्रकार प्राचीन भारतीय कला और स्थापत्य में जैन धर्म का प्रमुख योगदान है। आगे चलकर मध्यकाल में इसके कला और स्थापत्य को  और भी गहरे स्तर पर प्रभावित किया।

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