सार्वजनिक वितरण प्रणाली में केंद्र और राज्यों की भूमिका को विलगित करते हुए इस प्रणाली से संबंधित छत्तीसगढ़ मॉडल और राजस्थान मॉडल को स्पष्ट करें।
31 Jul, 2017 सामान्य अध्ययन पेपर 3 अर्थव्यवस्थासार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) सरकार द्वारा प्रायोजित उचित मूल्य की दुकानों की शृंखला है, जिनसे ज़रूरतमंद लोग आवश्यक वस्तुओं को उचित मूल्य पर प्राप्त कर सकते हैं। इस प्रकार यह प्रणाली भारत में खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने का कार्य करती है।
सार्वजनिक वितरण प्रणाली को केंद्र सरकार और राज्य सरकारों द्वारा समवर्ती सूची के अंतर्गत सामूहिक रूप से संचालित किया जाता है। इस संदर्भ में केंद्र सरकार की भूमिका आवश्यक वस्तुओं की खरीद (Food Corporation of India के माध्यम से), उनका भंडारण तथा ‘स्थूल वितरण’ (Bulky Distribution) की होती है। राज्य सरकारों की भूमिका आवश्यक वस्तुओं को उठाने (offtake), राशन की दुकानों तक पहुँचाने तथा उपभोक्ताओं तक वितरण की होती है।
सार्वजनिक वितरण प्रणाली का छत्तीसगढ़ मॉडल
छत्तीसगढ़ ने सार्वजनिक वितरण प्रणाली में व्यापक सुधारों के माध्यम से इसमें व्याप्त लीकेज़ और भारी अनियमितताओं को उल्लेखनीय स्तर तक कम कर अन्य राज्यों के सामने उदाहरण प्रस्तुत किया है। इस मॉडल की प्रमुख विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
सार्वजनिक विरण प्रणाली पर राजस्थान मॉडल
राजस्थान में PDS प्रणाली में सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) को लागू किया गया। इस मॉडल में राजस्थान सरकार द्वारा ‘फ्यूचर ग्रुप’ के साथ अनुबंध किया गया तथा यह ग्रुप राजस्थान में ‘अन्नपूर्णा भंडार’ नाम से उचित मूल्य की दुकानें संचालित कर रहा है। इन भंडारों में फ्यूचर ग्रुप PDS सामानों के साथ-साथ अपने उत्पाद भी बेच सकता है।
इस प्रकार जहाँ छत्तीसगढ़ ने PDS में सुधार को तकनीक के माध्यम से सुनिश्चित किया वहीं, राजस्थान ने इसे सार्वजनिक-निजी भागीदारी के माध्यम से अंजाम दिया।