जलवायु परिवर्तन के कृषि पर पड़ने वाले प्रभावों का आलोचनात्मक परीक्षण
23 Jan, 2018 सामान्य अध्ययन पेपर 3 पर्यावरण
उत्तर की रूपरेखा:
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जलवायु परिवर्तन ने मानव जीवन के प्रत्येक पहलू को प्रभावित किया है और कृषि भी इससे अछूता नहीं है। इस संबंध में हुए शोध दर्शाते हैं कि फसलीय अवधि में मौसमी पैरामीटर, अन्य पैरामीटरों (यथा- मृदा, पोषक तत्त्व आदि) की तुलना में कृषि उपज को सर्वाधिक प्रभावित करते हैं। जलवायु परिवर्तन का कृषि पर पड़ने वाले प्रभावों को हम निम्नलिखित रूपों में देख सकते हैं-
उपरोक्त चर्चा के आधार पर स्पष्टतः यह कहा जा सकता है कि जलवायु परिवर्तन कृषि व खाद्य सुरक्षा के लिये एक कठिन चुनौती उत्पन्न कर रहा है। यह भारत के लिये और बड़ी चुनौती है क्योंकि देश की लगभग दो तिहाई जनसंख्या कृषि पर प्रत्यक्ष-परोक्ष रूप से आश्रित है। अतः भारत में कृषि को लाभकारी बनाए बिना देश का समावेशी विकास संभव नहीं है।
जलवायु परिवर्तन की समस्या से लड़ने हेतु कृषि को सक्षम बनाने के लिये सरकार द्वारा भी कई महत्त्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं, जैसे- राष्ट्रीय सतत् कृषि मिशन, राष्ट्रीय जल मिशन, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना आदि। तथापि इस दिशा में और भी कई महत्त्वपूर्ण कदम उठाए जाने की आवश्यकता है जिनमें क्लीन डेवलपमेंट मैकेनिज्म और क्लीन टेक्नोलॉजी को अपनाना महत्त्वपूर्ण है।