वर्तमान में भूजल उपयोग की स्थिति को स्पष्ट करते हुए अटल भूजल योजना के महत्त्वपूर्ण प्रावधानों पर प्रकाश डालें।
15 May, 2020 सामान्य अध्ययन पेपर 1 भूगोल
हल करने का दृष्टकोण: • भूमिका • भूजल से जुड़े आंकड़े • अटल भूजल योजना • निष्कर्ष |
जल और संबंद्धित सांख्यिकी 2019 द्वारा प्रस्तुत आँकड़ों के अनुसार भारत में वार्षिक पुन: आपूर्ति योग्य भूजल संसाधन 432 बिलियन घन मीटर है जिसमें से वार्षिक निकासी योग्य भूजल संसाधन 393 बिलियन घन मीटर है, जबकि भूजल की कुल वार्षिक निकासी 249 बिलियन घन मीटर है।
उपलब्ध भूजल के द्वारा 60 प्रतिशत सिंचाई आवश्यकताओं की पूर्ति की जाती है, इसके अलावा 50 प्रतिशत शहरी पेयजल आवश्यकताओं तथा 85 प्रतिशत ग्रामीण पेयजल आवश्यकताओं की पूर्ति हो रही है।
केंद्रीय जल आयोग की रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2025 में देश में प्रति व्यक्ति जल उपलब्धता जहाँ 1434 घन मीटर होगी वहीं 2050 में यह घटकर 1219 घन मीटर रह जाएगी।
उपरोत स्थितियों को देखते हुए अटल भूजल योजना की शुरुआत की गई जिसके अंतर्गत सर्वप्रथम प्राथमिकता वाले क्षेत्रों को चिह्नित किया जाएगा, चिह्नित प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में सामुदायिक भागीदारी के माध्यम से भूजल प्रबंधन को बेहतर बनाने के लिये भारत सरकार के जलशक्ति मंत्रालय द्वारा केंद्रीय क्षेत्रक योजना के रूप में ‘अटल भूजल योजना’ आरंभ की गई है। इस योजना पर व्यय होने वाली धनराशि का 50 प्रतिशत विश्व बैंक द्वारा वहन किया जाएगा। इस योजना के दो प्रमुख घटकों को चिह्नित किया गया है-