क्या भारत की क्षेत्रीय अखंडता के समक्ष गंभीर चुनौती बनते जा रहे जम्मू-कश्मीर राज्य में जारी हिंसक प्रदर्शनों के समाधान के लिये इस राज्य की विशेष स्थिति में संशोधन किये जाने की जरूरत है? भारत एवं जम्मू-कश्मीर राज्य के मध्य वर्तमान संवैधानिक संबंधों के आधार पर अपना मत प्रस्तुत करें।
13 Dec, 2018 सामान्य अध्ययन पेपर 2 राजव्यवस्थाजम्मू-कश्मीर भारत का सबसे संवेदनशील राज्य है। यह आए दिन आतंकवादी गतिविधियों एवं हिंसा के कारण चर्चा में रहता है, जो भारत की क्षेत्रीय अखंडता के समक्ष गंभीर चुनौती के रूप में सामने आता है। वस्तुतः भारतीय संविधान के अनुच्छेद 370 के तहत जम्मू-कश्मीर को विशेष राज्य का दर्जा प्रदान किया गया है जिसके तहत प्रतिरक्षा, विदेश मामले एवं संचार को छोड़कर शेष मामलों में इसे लगभग स्वायत्तता प्राप्त है।
♦ कश्मीरियत की पहचान पर संकट, जो कश्मीरियों की भावनाओं को भड़काने का काम करेगी। इससे हिंसा में और बढ़ोतरी होगी।
♦ अलगावदियों को अपना जनाधार बढ़ाने में मदद मिलेगी तथा जम्मू-कश्मीर की स्वतंत्रता की मांग जोर पकड़ेगी।
♦ विदेशी हस्तक्षेप का मौका मिलेगा। अतः जरूरत हिंसा के मूल कारणों की पहचान करते हुए उसके समाधान की है।
वस्तुतः जम्मू-कश्मीर की समस्या एक राजनीतिक समस्या है, अतः इसका समाधान बातचीत से ही संभव है। इस संदर्भ में हाल में कश्मीर समस्या के स्थायी समाधान के लिये सभी पक्षों से बातचीत करने के लिये दिनेश्वर शर्मा की नियुक्ति एक सराहनीय कदम है।